सामग्री की तालिका
9 संबंधों: चीन, तिब्बत, मंचूरिया, मंगोल लिपि, मंगोलिया की संस्कृति, मंगोलों का गुप्त इतिहास, सीरिलिक लिपि, अफ़ग़ानिस्तान, अल्ताई भाषा-परिवार।
- मंगोलिया की भाषाएँ
- रूस की भाषाएँ
चीन
---- right चीन विश्व की प्राचीन सभ्यताओं में से एक है जो एशियाई महाद्वीप के पूर्व में स्थित है। चीन की सभ्यता एवं संस्कृति छठी शताब्दी से भी पुरानी है। चीन की लिखित भाषा प्रणाली विश्व की सबसे पुरानी है जो आज तक उपयोग में लायी जा रही है और जो कई आविष्कारों का स्रोत भी है। ब्रिटिश विद्वान और जीव-रसायन शास्त्री जोसफ नीधम ने प्राचीन चीन के चार महान अविष्कार बताये जो हैं:- कागज़, कम्पास, बारूद और मुद्रण। ऐतिहासिक रूप से चीनी संस्कृति का प्रभाव पूर्वी और दक्षिण पूर्वी एशियाई देशों पर रहा है और चीनी धर्म, रिवाज़ और लेखन प्रणाली को इन देशों में अलग-अलग स्तर तक अपनाया गया है। चीन में प्रथम मानवीय उपस्थिति के प्रमाण झोऊ कोऊ दियन गुफा के समीप मिलते हैं और जो होमो इरेक्टस के प्रथम नमूने भी है जिसे हम 'पेकिंग मानव' के नाम से जानते हैं। अनुमान है कि ये इस क्षेत्र में ३,००,००० से ५,००,००० वर्ष पूर्व यहाँ रहते थे और कुछ शोधों से ये महत्वपूर्ण जानकारी भी मिली है कि पेकिंग मानव आग जलाने की और उसे नियंत्रित करने की कला जानते थे। चीन के गृह युद्ध के कारण इसके दो भाग हो गये - (१) जनवादी गणराज्य चीन जो मुख्य चीनी भूभाग पर स्थापित समाजवादी सरकार द्वारा शासित क्षेत्रों को कहते हैं। इसके अन्तर्गत चीन का बहुतायत भाग आता है। (२) चीनी गणराज्य - जो मुख्य भूमि से हटकर ताईवान सहित कुछ अन्य द्वीपों से बना देश है। इसका मुख्यालय ताइवान है। चीन की आबादी दुनिया में सर्वाधिक है। प्राचीन चीन मानव सभ्यता के सबसे पुरानी शरणस्थलियों में से एक है। वैज्ञानिक कार्बन डेटिंग के अनुसार यहाँ पर मानव २२ लाख से २५ लाख वर्ष पहले आये थे। .
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तिब्बत
तिब्बत का भूक्षेत्र (पीले व नारंगी रंगों में) तिब्बत के खम प्रदेश में बच्चे तिब्बत का पठार तिब्बत (Tibet) एशिया का एक क्षेत्र है जिसकी भूमि मुख्यतः उच्च पठारी है। इसे पारम्परिक रूप से बोड या भोट भी कहा जाता है। इसके प्रायः सम्पूर्ण भाग पर चीनी जनवादी गणराज्य का अधिकार है जबकि तिब्बत सदियों से एक पृथक देश के रूप में रहा है। यहाँ के लोगों का धर्म बौद्ध धर्म की तिब्बती बौद्ध शाखा है तथा इनकी भाषा तिब्बती है। चीन द्वारा तिब्बत पर चढ़ाई के समय (1955) वहाँ के राजनैतिक व धार्मिक नेता दलाई लामा ने भारत में आकर शरण ली और वे अब तक भारत में सुरक्षित हैं। .
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मंचूरिया
मंचूरिया (Manchu: Manju, सरलीकृत चीनी: 满洲; पारंपरिक चीनी: 滿洲; Mongolian: Манж) पूर्वी एशिया का एक विशाल क्षेत्र है जिसका विस्तार चीन, कोरिया तथा रूस के इलाकों में है। .
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मंगोल लिपि
मंगोल लिपि में गुयुक ख़ान का सन् १२४६ का राजचिह्न इस सिक्के पर मंगोल लिपि में लिखा है कि यह 'रिन्छिन्दोर्जी गएख़ातू ने ख़ागान के नाम पर ज़र्ब किया' मंगोल लिपि (मंगोल: ᠮᠣᠩᠭᠣᠯ ᠪᠢᠴᠢᠭ᠌, सिरिलिक लिपि: Монгол бичиг, मोंगयोल बिचिग), जिसे उईग़ुरजिन भी कहते हैं, मंगोल भाषा को लिखने की सर्वप्रथम लिपि और वर्णमाला थी। यह उईग़ुर भाषा के लिए प्रयोग होने वाली प्राचीन लिपि को लेकर विकसित की गई थी और बहुत अरसे तक मंगोल भाषा लिखने के लिए सब से महत्वपूर्ण लिपि का दर्जा रखती थी।, Urgunge Onon, Brill Archive, 1990, ISBN 978-90-04-09236-5,...
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मंगोलिया की संस्कृति
मंगोलिया की संस्कृति मंगोलों के घुमन्तू जीवनशैली से बहुत सीमा तक प्रभावित है। इसके अलावा मंगोलिया की संस्कृति पर तिब्बत एवं तिब्बती बौद्ध धर्म का गहरा प्रभाव है। २०वीं शताब्दी के पश्चात इस पर रूस एवं यूरोपीय संस्कृति का प्रभाव भी पड़ा है। .
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मंगोलों का गुप्त इतिहास
सन् १९०८ में चीनी भावचित्र लिपि में लिखी मंगोल भाषा में 'मंगोलों का गुप्त इतिहास' की एक प्रति मंगोलों का गुप्त इतिहास (प्राचीन मंगोल: 30px, मोंगग़्योल निग़ुचा तोबचियान; अंग्रेज़ी: Secret History of the Mongols) मंगोल भाषा की सबसे पुरानी साहित्य कृति है जो आधुनिक काल तक उपलब्ध है। चंगेज़ ख़ान की सन् १२२७ में हुई मृत्यु के बाद यह किसी अज्ञात लेखक द्वारा मंगोल शाही परिवार के लिए लिखी गई थी। माना जाता है कि इसे सबसे पहले प्राचीन मंगोल लिपि में लिखा गया था हालाँकि वर्तमान तक बची हुई इसकी प्रतियाँ सभी चीनी भावचित्रों में या उस से लिप्यान्तरण करके बनी हैं। यह चीनी लिपि में आधारित प्रतियाँ १४वीं शताब्दी में मिंग राजवंश द्वारा 'युआन राजवंश का गुप्त इतिहास' के नाम से मंगोल लिपि से लिप्यान्तरण करके बनवाई गई थी।, Herbert Franke, Cambridge University Press, 1994, ISBN 978-0-521-24331-5,...
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सीरिलिक लिपि
सीरिलिक लिपि (या, सीरिलीय लिपि / Cyrillic) पूर्वी यूरोप और मध्य एशिया के क्षेत्र की कई भाषओं को लिखने में प्रयुक्त होती है। इसे अज़्बुका भी कहते हैं, जो इस लिपि की वर्णमाला के शुरुआती दो अक्षरों के पुराने नामों को मिलाकर बनाया गया है, जैसे कि यूनानी वर्णमाला के दो शुरुआती अक्षरों - अल्फ़ा और बीटा - को मिलाकर अल्फ़ाबेट (Alphabet) यानि वर्णमाला बनता है। इस लिपि के वर्णों से जिन भाषओं को लिखा जाता है उसमें रूसी भाषा प्रमुख है। सोवियत संघ के पूर्व सदस्य ताजिकिस्तान में फ़ारसी भाषा का स्थानीय रूप (यानि ताजिक भाषा) भी इसी लिपि में लिखा जाता है। इसके अलावा बुल्गारियन, सर्बियन, कज़ाख़, मैसीडोनियाई, उज़बेक, यूक्रेनी तथा मंगोलियाई भाषा भी मुख्यतः इसी लिपि में लिखी जाती है। इस वर्णमाला को यूरोपीय संघ में आधिकारिक मान्यता प्राप्त है जहाँ केवल रोमन तथा यूनानी लिपि ही अन्य आधिकारिक लिपियाँ हैं। .
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अफ़ग़ानिस्तान
अफ़ग़ानिस्तान इस्लामी गणराज्य दक्षिणी मध्य एशिया में अवस्थित देश है, जो चारो ओर से जमीन से घिरा हुआ है। प्रायः इसकी गिनती मध्य एशिया के देशों में होती है पर देश में लगातार चल रहे संघर्षों ने इसे कभी मध्य पूर्व तो कभी दक्षिण एशिया से जोड़ दिया है। इसके पूर्व में पाकिस्तान, उत्तर पूर्व में भारत तथा चीन, उत्तर में ताजिकिस्तान, कज़ाकस्तान तथा तुर्कमेनिस्तान तथा पश्चिम में ईरान है। अफ़ग़ानिस्तान रेशम मार्ग और मानव प्रवास का8 एक प्राचीन केन्द्र बिन्दु रहा है। पुरातत्वविदों को मध्य पाषाण काल के मानव बस्ती के साक्ष्य मिले हैं। इस क्षेत्र में नगरीय सभ्यता की शुरुआत 3000 से 2,000 ई.पू.
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अल्ताई भाषा-परिवार
अल्ताई भाषा परिवार का फैलाव अल्ताई पर्वत क्षेत्र में शुरू हुईं अल्ताई (अंग्रेज़ी: Altaic languages, ऑल्टेइक लैन्गवेजिज़) एक भाषा-परिवार है जिसमें तुर्की भाषाएँ, मंगोल भाषाएँ, तुन्गुसी भाषाएँ, जापानी भाषाएँ और कोरियाई भाषा आती हैं। अल्ताई भाषाएँ यूरेशिया के बहुत ही विस्तृत क्षेत्र में बोली जाती हैं जो पूर्वी यूरोप से लेकर मध्य एशिया से होता हुआ सीधा जापान तक जाता है। इस परिवार में कुल मिलकर लगभग ७० जीवित भाषाएँ आती हैं और इन्हें बोलने वालों की तादाद वर्तमान विश्व में लगभग ५० करोड़ है। .
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यह भी देखें
मंगोलिया की भाषाएँ
- ओइरत भाषा
- कज़ाख़ भाषा
- तूवी भाषा
- मंगोल भाषा
- मंगोल भाषा-परिवार
रूस की भाषाएँ
- अज़ेरी भाषा
- अल्ताई भाषा
- आर्मीनियाई भाषा
- इनुपियाक भाषा
- उज़्बेक भाषा
- एस्टोनियाई भाषा
- ओइरत भाषा
- कज़ाख़ भाषा
- किर्गिज़ भाषा
- ख़कास भाषा
- गोथिक भाषा
- चुवाश भाषा
- जॉर्जियाई भाषा
- ताजिकी भाषा
- तातार भाषा
- तुर्कमेन भाषा
- तुर्कीयाई भाषा
- तूवी भाषा
- पूर्वोत्तर कॉकसी भाषाएँ
- फ़ारसी भाषा
- फ़िनिश भाषा
- बाश्किर भाषा
- मंगोल भाषा
- मंगोल भाषा-परिवार
- मरी भाषा
- मार्डविन भाषा
- यिद्दी भाषा
- यूराली भाषा-परिवार
- रूसी भाषा
- रोमानियाई भाषा
- रोमानी भाषा
- साख़ा भाषा
- सामी भाषाएँ (यूरोप)
मन्गोल भाषा, मंगोल भाषा और साहित्य, मंगोलियन भाषा, मंगोलियाई, मंगोलियाई भाषा, मोन्गोल भाषा के रूप में भी जाना जाता है।