लोगो
यूनियनपीडिया
संचार
Google Play पर पाएं
नई! अपने एंड्रॉयड डिवाइस पर डाउनलोड यूनियनपीडिया!
मुक्त
ब्राउज़र की तुलना में तेजी से पहुँच!
 

सीमित देयता भागीदारी अधिनियम, 2008

सूची सीमित देयता भागीदारी अधिनियम, 2008

सीमित देयता भागीदारी (एलएलपी) को सीमित देयता भागीदारी अधिनियम, 2008 के प्रावधानों द्वारा नियंत्रित किया जाता है, इसकी प्रमुख विशेषताएं इस प्रकार हैं: -.

2 संबंधों: निजी कंपनी, कंपनी अधिनियम, 1956

निजी कंपनी

निजी कंपनी कम से कम दो और अधिकतम पचास सदस्‍यों का स्‍वैच्छिक संघ है, जिनका दायित्‍व सीमित होता है, जिनके शेयरों का अंतरण इसके सदस्‍यों तक सीमित होता है, जो साधारण जनता को इसके शेयर या डिबेन्‍चरों का ग्राहक बनने के लिए आमंत्रित करने के निमित अनुमन नहीं है। कंपनी अधिनियम, 2013 के अनुसार निजी कंपनी मैं कम से कम 2 तथा अधिकतम 200 व्यक्तियों तक सदस्य हो सकते हैं। .

नई!!: सीमित देयता भागीदारी अधिनियम, 2008 और निजी कंपनी · और देखें »

कंपनी अधिनियम, 1956

कंपनी अधिनियम वह अति महत्‍वपूर्ण विधान है जो केन्‍द्र सरकार को कम्‍पनी के गठन और कार्यों को विनियमित करने की शक्ति प्रदान करता है। भारत की संसद द्वारा १९५६ में पारित किया गया था। इसमें समय-समय पर संशोधन किया गया। ये अधिनियम कम्पनियों के गठन को पंजीकृत करने तथा उनके निर्देशकों और सचिवो की जिम्मेदारी का निर्धारण करता है। कंपनियों अधिनियम, 1956 भारत के संघीय सरकार द्वारा कारपोरेट मामलों के मंत्रालय, कंपनियों के रजिस्ट्रार के कार्यालय, आधिकारिक परिसमापक, सार्वजनिक न्यासी, कंपनी लॉ बोर्ड आदि के माध्यम से प्रशासित किया जाता है। यह अधिनियम सरकार को कम्‍पनी के गठन को विनियमित करने और कम्‍पनी के प्रबंधन को नियंत्रित करने की शक्ति प्रदान करता है। कम्‍पनी अधिनियम केन्‍द्र सरकार द्वाराकम्‍पनी कार्य मंत्रालय और कम्‍पनी पंजीयक के कार्यालयों, शासकीय परिसमापक, सार्वजनिक न्‍यासी, कम्‍पनी विधि बोर्ड, निरीक्षण निदेशक आदि के माध्‍यम से प्रवृत्त किया जाता है। कम्‍पनी कार्य मंत्रालय जो पहले वित्त मंत्रालय के अधीन कम्‍पनी कार्य विभाग के रूप में जाना जाता था का प्राथमिक कार्य कम्‍पनी अधिनियम, 1956 का प्रशासन है, अन्‍य अधीनस्‍थ अधिनियम और नियम एवं विनियम जो उसके अधीन बनाए गए हैं कानून के अनुसार कारपोरेट क्षेत्र के कार्यों को विनियमित करने के लिए। कम्‍पनी अधिनियम, 1956 में कहा गया है कि कम्‍पनी का अभिप्राय, अधिनियम के अधीन गठित और पंजीकृत कम्‍पनी या विद्यमान कम्‍पनी अर्थात किसी भी पिछला कम्‍पनी कानून के तहत गठित या पंजीकृत कम्‍पनी। कानून में निहित मूल उद्देश्‍य निम्‍नलिखित हैं.

नई!!: सीमित देयता भागीदारी अधिनियम, 2008 और कंपनी अधिनियम, 1956 · और देखें »

यहां पुनर्निर्देश करता है:

लिमिटेड लायबिलिटी पार्टनरशिप एक्ट 2008

निवर्तमानआने वाली
अरे! अब हम फेसबुक पर हैं! »