सामग्री की तालिका
19 संबंधों: दीपिका पादुकोण, दीपिका पादुकोण फिल्मोग्राफी, माधुरी दीक्षित की फ़िल्में, मुक्काबाज़ (२०१८ फ़िल्म), रणवीर शौरी, रानी मुखर्जी की फ़िल्में, लुटेरा (२०१३ फ़िल्म), शाहरुख़ ख़ान की फिल्में, स्वानन्द किरकिरे, सोनम कपूर, ज़ोया अख़्तर, करिश्मा कपूर की फ़िल्में, काय पो छे!, कैटरीना कैफ़ की फ़िल्में, अनुराग कश्यप, अमित त्रिवेदी, अमिताभ बच्चन, अमिताभ भट्टाचार्य, अक्षय कुमार की फ़िल्में।
दीपिका पादुकोण
दीपिका पादुकोण (कोंकणी: दीपिका पडुकोण, कन्नड: ದೀಪಿಕಾ ಪಡುಕೋಣ್) एक भारतीय अभिनेत्री हैं, जिनका जन्म 5 जनवरी 1986 को हुआ और जो बॉलीवुड सिनेमा में एक नायिका के रूप में उभरी हैं। .
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दीपिका पादुकोण फिल्मोग्राफी
२०१३ में गोलियों की रासलीला रामलीला की एक स्क्रीनिंग पर पादुकोण दीपिका पादुकोण एक भारतीय अभिनेत्री है जो हिंदी फिल्मों में दिखाई देती है। हिमेश रेशमिया के संगीत वीडियो "नाम है तेरा" में उनकी पहली स्क्रीन उपस्थिति २००५ में हुई थी। पदुकोण ने कन्नड़ फिल्म ऐश्वर्या (२००६) में नामांकित भूमिका निभाकर अपनी पहली फिल्म बनाई। अगले साल फरहा खान के अतिनाटक ओम शांति ओम के साथ उनकी पहली हिंदी फिल्म रिलीज हुई, जिसमें उन्होंने शाहरुख खान के सामने दोहरी भूमिका निभाई। उनके प्रदर्शन के लिए, उन्होंने सर्वश्रेष्ठ महिला पदार्पण के लिए फिल्मफेयर पुरस्कार जीता और समारोह में सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का नामांकन भी प्राप्त किया। २००८ में बचना ए हसीनो, उनकी एकमात्र फिल्म भूमिका रणिर कपूर के प्रेम रुचि में से एक थी। २००९ की पादुकोण की पहली फिल्म रिलीज हुई थी। कंग फ़ू कॉमेडी चांदनी चौक टू चाइना अक्षय कुमार के विपरीत, बॉक्स ऑफिस फ्लॉप साबित हुआ। हालांकि, उनकी अगली रिलीज, इम्तियाज अली का रोमांस लव आज कल ने भारतीय रुपया १.२ अरब (यूएस $ १७.५२ मिलियन) दुनियाभर में कमाया,और फिल्मफेयर में उन्हें दूसरा सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का नामांकन मिला। २०१० में पादुकोण की पांच फिल्म रिलीज़ हुई थी। कॉमेडी हाउसफुल एक व्यावसायिक सफलता थी,, हालांकि उनके अन्य चार रिलीज़ बॉक्स ऑफिस पर विफल हुए। दुर्भाग्य से प्राप्त फिल्मों की श्रृंखला जारी रहती है , उनके दोनों 2011 में नाटक अरक शान और कॉमेडी देसी बॉयज़ रिलीज हुई थीं। होमी आदजानिया कॉकटेल (२०१२) में एक आवेगी पार्टी-लड़की की भूमिका पादुकोण के लिए एक सफलता साबित हुई। आलोचकों ने उनकी प्रदर्शन की प्रशंसा की और कई अभिनय उनकी नामांकन प्राप्त हुए। वर्ष २०१३ पादुकोण के लिए महत्वपूर्ण था, उस वर्ष की उनके सभी रिलीज बॉक्स ऑफिस हिट थे। इनमें से दो सबसे अधिक कमाई वाली बॉलीवुड फिल्मों में से हर समय रोमांटिक कॉमेडी ये जवानी है दीवानी और एक्शन कॉमेडी चेन्नई एक्सप्रेस हैं। उन्होंने संजय लीला भंसाली की दुर्भावनापूर्ण रोमांस गोलियों की रासलीला रामलीला (२०१३) में जूलियट पर आधारित एक चरित्र लीला को चित्रित करने के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का फिल्मफेयर अवॉर्ड जीता। २०१४ में, पादुकोण तमिल में एक एनीमेशन फिल्म कोचादैयायन में दिखाई दिया, जो कि गति कैप्चर तकनीक का उपयोग करके शूटिंग की गई थी, और भारतीय रुपया में ३.४ अरब (यूएस $ ४९.६४ मिलियन) - ग्रॉसिंग हैइस्ट फिल्म हैप्पी न्यू ईयर में एक बार डांसर के रूप में काम किया था। वर्ष २०१५ में उन्हें सुजीत सरकार के समीक्षकों द्वारा प्रशंसित कॉमेडी-नाटक पिकू में एक मस्तूल-रचनाकार का किरदार निभाया गया, जिसने फिल्मफेयर में पादुकोण को अपना दूसरा सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का पुरस्कार दिया। वर्ष की उनकी अंतिम रिहाई - भंसाली की ऐतिहासिक रोमांस बाजीराव मस्तानी - वह सबसे सफल रही, जिसमें उन्होंने रणवीर सिंह के बाजीराव आई के सामने योद्धा मस्तानी की भूमिका निभाई थी। हॉलीवुड में पादुकोण का पहला प्रोजेक्ट ट्रिपल एक्स: रिटर्न ऑफ एक्संडर कैज (२०१७) दुनिया भर में $ ३४५ मिलियन से अधिक की कमाई हुई। .
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माधुरी दीक्षित की फ़िल्में
माधुरी का 2012 का चित्र माधुरी दीक्षित भारतीय अभिनेत्री है जिन्हें बॉलीवुड की फिल्मों में उनके अभिनय के लिए जाना जाता है। 1984 की फिल्म अबोध में उन्होंने एक युवा दुल्हन की भूमिका के साथ अभिनय करियर की शुरुआत की थी। अगले चार वर्षों में माधुरी ने कई फिल्मों में काम किया, जिसमें आवारा बाप (1985), स्वाति (1986), उत्तर दक्षिण (1987) और दयावान (1988) शामिल थीं। हालांकि उनमें से कोई भी उन्हें ज्यादा पहचान नहीं दिला पाई। उनकी सफलता की शुरुआत 1988 में एन चन्द्रा की थ्रिलर तेज़ाब के साथ हुई, जो उस वर्ष की सबसे ज्यादा कमाई करने वाली फिल्म थी। उन्होंने व्यावसायिक रूप से सफल एक्शन-नाटकीय फ़िल्में राम लखन (1989), त्रिदेव (1989), और किशन कन्हैया (1990) में मुख्य भूमिका निभाई। 1990 की रूमानी नाटकीय फ़िल्म दिल में एक अमीर बिगड़ैल लड़की की भूमिका के लिये उन्होंने पहला सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का फिल्मफेयर पुरस्कार अर्जित किया। अगले वर्ष उन्होंने साजन में अभिनय किया जो 1991 की सबसे ज्यादा कमाई करने वाली फ़िल्म थी। 1992 में बेटा में अपनी चालाक सास के खिलाफ विद्रोह करने वाली महिला का किरदार निभाने के लिये उन्होंने अपना दूसरा फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री पुरस्कार जीता। माधुरी ने जैकी श्रॉफ और संजय दत्त के साथ एक्शन थ्रिलर खलनायक (1993) में अभिनय किया जो उस वर्ष की सबसे ज्यादा कमाई करने वाली फिल्मों में से एक थी। उसके बाद उन्होंने अंजाम (1994) में सकारात्मक समीक्षाओं के साथ प्रतिशोधी की भुमिका अदा की। माधुरी की अगली फ़िल्म सूरज बड़जात्या की परिवारिक नाटक हम आपके हैं कौन (1994) थी, जो उस बिंदु तक सबसे ज्यादा कमाई करने वाली बॉलीवुड फिल्म थी। उसने उन्हें बॉलीवुड की प्रमुख अभिनेत्री के रूप में स्थापित किया। अगले वर्ष उनकी राजा और याराना आई। दोनों फ़िल्में सफल रही। हालांकि 1996 की उनकी दोनों फ़िल्में, राजकुमार और प्रेम ग्रंथ वित्तीय विफलता थीं। यश चोपड़ा की 1997 की रोमांटिक फिल्म दिल तो पागल है, उनके लिए बड़ी सफलता थी। इस फिल्म में उनके अभिनय के लिये उन्हें सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री के लिए चौथा फिल्मफेयर पुरस्कार मिला। तीन साल बाद समीक्षकों द्वारा प्रशंसित फ़िल्म पुकार में, उन्हें अनिल कपूर के साथ देखा गया। जिसके बाद उन्होंने प्रयोगात्मक फिल्म गज गामिनी में पाँच भूमिकाएं चित्रित कीं। 2001 में महिलाओं के अधिकारों पर फ़िल्म, लज्जा में लिंग भेदभाव के खिलाफ लड़ने वाली महिला के रूप में उनकी सहायक भूमिका के लिए माधुरी की प्रशंसा की गई। वर्ष 2002 में दीक्षित ने दो रोमांटिक फ़िल्मों में अभिनय किया, जिसमें शाहरुख खान के विपरीत देवदास भी शामिल थी। इसमें उन्होंने चंद्रमुखी चरित्र निभाया था। जिसके लिये उन्होंने सर्वश्रेष्ठ सहायक अभिनेत्री श्रेणी में फिल्मफेयर पुरस्कार जीता था। फ़िल्मों से पांच साल की अनुपस्थिति के बाद, माधुरी ने नृत्य फिल्म आजा नचले (2007) में एक प्रमुख भूमिका निभाई। बॉक्स ऑफिस पर फिल्म की विफलता के बावजूद, उनके प्रदर्शन की सराहना की गई। अभिषेक चौबे की ब्लैक कॉमेडी फिल्म डेढ़ इश्किया (2014) में एक जालसाज महिला की भूमिका उनकी सात साल में पहली अभिनय भूमिका थी। उन्होंने आगे जूही चावला के साथ अपराध नाटकीय फ़िल्म गुलाब गैंग में एक नेता की भूमिका चित्रण की। उनके फिल्म के कार्य के अलावा, माधुरी ने नृत्य रियलिटी शो झलक दिखला जा के चार सत्रों के लिए प्रतिभा जज (judge) के रूप में कार्य किया है। .
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मुक्काबाज़ (२०१८ फ़िल्म)
मुक्काबाज़ २०१८ की एक हिंदी सोपर्ट्स-ड्रामा फिल्म है, जिसके निर्देशक अनुराग कश्यप हैं। विनीत कुमार सिंह, ज़ोया हुसैन, जिमी शेरगिल तथा रवि किशन फिल्म में मुख्य भूमिकाओं में हैं। फिल्म की कहानी स्वयं अनुराग कश्यप ने विनीत कुमार सिंह, मुक्ति सिंह श्रीनेत, के डी सत्यम, रंजन चंदेल तथा प्रसून मिश्रा के साथ मिलकर लिखी है। फैंटम फिल्म्स, रिलायंस इंटरटेनमेंट तथा कलर येलो प्रोडक्शंस के बैनर तले बनी इस फिल्म के निर्माता आनंद एल राय, विक्रमादित्य मोटवाने, मधु मंतेना तथा अनुराग कश्यप है। फिल्म की कहानी श्रवण सिंह (विनीत कुमार सिंह द्वारा अभिनीत) के इर्द गिर्द घूमती है, जो एक निचली जाति का मुक्केबाज है, और मुक्केबाजी की दुनिया में अपनी पहचान बनाने के लिए निरन्तर संघर्षरत है। फ़िल्म की कहानी विनीत कुमार सिंह ने २०१३ में मुक्ति सिंह श्रीनेत के साथ मिलकर लिखी थी। इसके बाद वह अपनी कहानी लेकर कई निर्माताओं के पास गए, परंतु उन सब ने इस पर काम करने से मना कर दिया। जुलाई २०१७ में घोषणा हुई थी कि अनुराग कश्यप आनंद एल राय के साथ मिलकर मुक्काबाज़ नामक एक फिल्म पर काम करेंगे। अनुराग ने फ़िल्म की कहानी फिर दोबारा लिखी। फ़िल्म की शूटिंग बरेली, लखनऊ तथा वाराणसी में २०१७ में हुई। फिल्म की कहानी उत्तर प्रदेश के बरेली जिले में सेट है। ७ जुलाई २०१७ को फिल्म का २१ सेकंड लम्बा ऑडियो टीज़र जारी किया गया, और फिर ७ दिसम्बर २०१७ को फिल्म का आधिकारिक पोस्टर तथा ट्रेलर जारी किया गया। इस फिल्म को सर्वप्रथम २०१७ के टोरंटो अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव और मुंबई फिल्म महोत्सव के विशेष प्रस्तुति अनुभाग में दिखाया गया था। इस फिल्म को समीक्षकों से सकारात्मक प्रतिक्रियाएं प्राप्त हुई, और समीक्षकों ने विशेषकर कश्यप के निर्देशन और विनीत कुमार सिंह के अभिनय की प्रशंशा करी। उसके बाद १२ जनवरी २०१८ को इसे विश्व भर के सिनेमाघरों में प्रदर्शित किया गया। ८.६ करोड़ के बजट पर बनी यह फ़िल्म बॉक्स ऑफिस पर केवल १० करोड़ रूपये ही कमा पायी, और इसे फ्लॉप घोषित कर दिया गया। .
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रणवीर शौरी
रणवीर हिन्दी फ़िल्मों के एक प्रसिद्ध अभिनेता हैं। .
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रानी मुखर्जी की फ़िल्में
''दिल बोले हड़ीप्पा'' के प्रचार के दौरान २००९ में रानी मुखर्जी। रानी मुखर्जी एक भारतीय अभिनेत्री हैं जिन्हें बॉलीवुड फ़िल्मों में उनके अभिनय के लिए जाना जाता है। उन्होंने बांग्ला फ़िल्म बियर फूल (१९९२) से फ़िल्मी दुनिया में पदार्पण किया था। इस फ़िल्म का निर्देशन उनके पिता राम मुखर्जी ने किया था तथा रानी ने इस फ़िल्म में सहायक अभिनेत्री का अभिनय किया था। उनकी प्रमुख अभिनय भूमिका के रूप में १९९७ की नाटक फ़िल्म राजा की आयेगी बारात पहली फ़िल्म थी जिसमें उन्होंने बलात्कार की शिकार युवती का अभिनय किया। फ़िल्म आर्थिक रूप से (टिकट खिड़की) पर असफल रही लेकिन उन्होंने स्टार स्क्रीन पुरस्कार समारोह में विशेष जूरी ट्राॅफी पुरस्कार जीता। सन् १९९८ में आमिर खान के साथ एक्शन फ़िल्म ग़ुलाम में अभिनय किया जिसने उन्हें एक नई पहचान दी। उसी वर्ष बाद में रानी मुखर्जी ने रूमानी नाटक फ़िल्म कुछ कुछ होता है में शाहरुख खान के रूमानी आकर्षण का अभिनय किया। इस फ़िल्म ने उन्हें सर्वश्रेष्ठ सहायक अभिनेत्री का फ़िल्मफ़ेयर पुरस्कार दिलाया। उनकी इस पहली सफलता के बाद उन्होंने हास्य फ़िल्म हैलो ब्रदर (१९९९), एक्शन थ्रिलर फ़िल्म बिच्छू (२०००) और नाटक फ़िल्म नायक (२००१) सहित विभिन्न फ़िल्मों में मुख्य अभिनेत्री का अभिनय किया लेकिन इनमें से कोई भी उनके फ़िल्मी जीवन को आगे बढ़ाने में सहायक नहीं रही। कमल हासन की द्विभाषी फ़िल्म हे राम में उन्होंने सहायक अभिनेत्री की भूमिका निभाई थी जिससे उन्हें और अधिक ख्याति प्राप्त हुई। यह फ़िल्म उस वर्ष ऑस्कर के लिए भारत की आधिकारिक प्रविष्टियों में शामिल हुई थी। मुखर्जी के फ़िल्मी जीवन को तब एक नया मोड़ मिला जब उन्होंने २००२ में यश राज फ़िल्म्स के बैनर तले बनी फ़िल्म साथिया में अग्रणी भूमिका में अभिनय किया। रूमानी नाटक फ़िल्म में उन्होंने एक मेडिकल छात्रा का अभिनय किया है जिससे उन्हें फ़िल्मफेयर क्रिटिक्स अवार्ड फॉर बेस्ट एक्ट्रेस मिला। उसी वर्ष उन्होंने अदनान सामी के संगीत विडियो के गीत "तेरा चेहरा" में विशेष अभिनय किया। वर्ष २००४ में रूमानी हास्य फ़िल्म हम तुम और युवा में अपने अभिनय के लिए, मुखर्जी एक ही वर्ष में क्रमशः फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री पुरस्कार और सहायक अभिनेत्री का पुरस्कार जीतने वाली एकमात्र अभिनेत्री बनीं। उसी वर्ष उन्होंने वर्ष की सर्वाधिक कमाई करने वाली बॉलीवुड फिल्मवीर-ज़ारा में भी अभिनय किया। वर्ष २००५ में उन्होंने ब्लैक में अंधी, बहरी और गूंगी महिला का अभिनय करके प्रशंसा प्राप्त की और समालोचकों द्वारा प्रशंसित फंतासी फ़िल्म पहेली में अभिनय किया। उन्होंने उसी वर्ष की सफलतम फ़िल्मों में से एक बंटी और बबली में एक महिला चोर का अभिनय भी किया। ब्लैक में अपने अभिनय के लिए उन्होंने उस वर्ष फिल्मफेयर पुरस्कार समारोह में सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री और सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री– क्रिटिक ट्रोफिज़ पुरस्कार जीता। अगले वर्ष, बॉलीवुड की विदेशों में सबसे अधिक कमाई वाली नाटक फ़िल्मकभी अलविदा ना कहना में विश्वासघाती पत्नी का अभिनय किया। आर्थिक रूप से सफल परिवार नाटक फ़िल्म ता रा रम पम (२००७) में अग्रणी भूमिका में अभिनय के बाद अगले दो वर्ष तक मुखर्जी ने यश राज फ़िल्म्स द्वारा निर्मित फ़िल्मों को वरियता देना आरम्भ कर दिया। इनमें से किसी भी फ़िल्म ने टिकट खिड़की पर अच्छा प्रदर्शन नहीं किया। उसके बाद उन्होंने सोनी एंटरटेनमेंट टेलीविजन के रियलिटी शो डांस प्रीमियर लीग (२००९) में प्रतिभा न्यायाधीश के लिए चुनी गईं। २०११ में जीवनी आधारित थ्रिलर फ़िल्म नो वन किल्ड जेसिका में हठी टेलीविजन रिपोर्टर मीरा गैटी के अभिनय से उन्हें पुनः फ़िल्मफेयर में सर्वश्रेष्ठ सहायक अभिनेत्री का पुरस्कार दिलाया और पिछले चार वर्षों में उनकी पहली सफल फ़िल्म बनी। उन्हें टेलीविज़न धारावाहिक सी॰आई॰डी॰ में पुनः गैटी का अभिनय मिला। वर्ष २०१२ में अलौकिक रोमांचक फ़िल्म ''तलाश'' में एक दुःखी माँ का अभिनय किया जिसे व्यावसायिक सफलता मिली, और वर्ष २०१३ में उन्होंने संकलन फ़िल्म ''बॉम्बे टॉकीज़'' की चार लघु कथाओं में से एक में अभिनय किया। .
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लुटेरा (२०१३ फ़िल्म)
लुटेरा 2013 की बॉलीवुड की प्रेमकहानी नाटक फ़िल्म है जो विक्रमादित्य मोटवानी द्वारा निर्देशित है और ओ हेनरी की लघुकथा द लास्ट लीफ पर आधारित है। इसे १९५० के दशक पर आधारित बनाया गया है। इस फ़िल्म में मुख्य भूमिका में रणवीर सिंह और सोनाक्षी सिन्हा हैं। इस फ़िल्म के निर्माता अनुराग कश्यप, एकता कपूर, शोभा कपूर और विकास बहल हैं। फ़िल्म का पार्श्व गीत और पृष्ठभूमि अमित त्रिवेदी द्वारा तथा सम्पूर्ण संगीत अमिताभ भट्टाचार्य द्वारा तैयार किया गया है तथा चलचित्रण महेन्द्र जे॰ शेट्ठी द्वारा निर्मित है। यह फ़िल्म वैश्विक स्तर पर 5 जुलाई 2013 को प्रदर्शित हुई। .
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शाहरुख़ ख़ान की फिल्में
शाहरुख खान की फिल्में .
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स्वानन्द किरकिरे
स्वानन्द किरकिरे (जन्म १९७०) एक भारतीय गीतकार, पार्श्वगायक एवं लेखक होने के साथ-साथ हिन्दी सिनेमा एवं दूरदर्शन सीरियल कहानीकार, सहायक निर्देशक एवं डयलॉग लेखक हैं। किरकिरे को दो बार.
देखें बॉम्बे टॉकीज़ (फ़िल्म) और स्वानन्द किरकिरे
सोनम कपूर
सोनम कपूर जिनका जन्म भारत में महाराष्ट्र राज्य के मुंबई शहर में 9 जून 1985 को हुआ था, भारतीय अभिनेत्री हैं जो बॉलीवुड की फिल्मों में दिखाई देती हैं। .
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ज़ोया अख़्तर
जोया अख्तर एक समकालीन भारतीय फिल्म निर्देशक हैं। उन्होंने सर्वप्रथम उन्होंने लक बाइ चांस (2009) नामक फ़िल्म से अपना निर्देशन का कार्य आरम्भ किया। 2011 में, उन्होंने समीक्षात्मक और वाणिज्यिक रूप से सफल फ़िल्म ज़िन्दगी न मिलेगी दोबारा का निर्देशन किया और फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ निर्देशक पुरस्कार जीता। .
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करिश्मा कपूर की फ़िल्में
श्रेणी:फ़िल्मों की सूची.
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काय पो छे!
काय पो छे! चेतन भगत के उपन्यास द ३ मिस्टेक्स ऑफ माई लाइफ पर आधारित अभिषेक कपूर द्वारा निर्देशित 2013 की भारतीय नाटक फ़िल्म है। .
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कैटरीना कैफ़ की फ़िल्में
कैटरीना कैफ़ फिल्म ''फैंटम'' के कार्यक्रम में कैटरीना कैफ़ ब्रितानी भारतीय अभिनेत्री और मॉडल हैं जो मुख्य रूप से हिंदी फिल्म जगत में काम करती हैं। 2003 में कैटरीना ने व्यावसायिक रूप से असफल फ़िल्म बूम में एक भूमिका के साथ अपने अभिनय करियर की शुरुआत की थी। कैफ ने बाद में रोमांटिक कॉमेडी ''मैंने प्यार क्यूँ किया'' के साथ बॉलीवुड में व्यावसायिक सफलता अर्जित की। २००६ में कैटरीना की जोड़ी अक्षय कुमार के साथ ''हमको दीवाना कर गये'' में बनाई गई जो आगे जाकर काफ़ी सफल रही। २००७ कैटरीना के लिए काफ़ी अच्छा रहा, इस साल उनकी चार फ़िल्म आई जो सब बड़ी हिट हुई। कैटरीना द्वारा ''न्यू यॉर्क'' में निभाया गए किरदार ने उन्हें अभिनय स्तर पर पहचान दिलाई। राजकुमार सन्तोषी की अजब प्रेम की ग़ज़ब कहानी उनकी अगली फ़िल्म थी जिसमें उनकी जोड़ी रणबीर कपूर के साथ बनाई गई थी। २०११ में वो ऋतिक रोशन, फरहान अख्तर, अभय देयोल और कल्की केकलां के साथ ज़ोया अख्तर की ज़िंदगी न मिलेगी दोबारा में दिखी। 2012 में उन्हें कबीर खान की जासूसी रोमांच फ़िल्म एक था टाइगर में देखा गया जो साल की सबसे बड़ी हिट रही। उसी वर्ष, कैटरीना ने यश चोपड़ा की रोमांस फिल्म जब तक है जान में अभिनय किया। 2013 में, कैटरीना विजय कृष्ण आचार्य द्वारा निर्देशित एक्शन रोमांच फिल्म धूम 3 में आमिर खान, अभिषेक बच्चन और उदय चोपड़ा के साथ एक सर्कस कलाकार की भूमिका में नज़र आईं। .
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अनुराग कश्यप
अनुराग सिंह कश्यप (जन्म 10 सितम्बर 1972) एक भारतीय फ़िल्म निर्देशक, निर्माता और पटकथा लेखक हैं। उनका जन्म उत्तर प्रदेश कें गोरखपुर जिले में हुआ और वह विभिन्न शहरों में पले-बढे। उन्होनें अपनी शिक्षा देह्ररादून और ग्वालियर में की और उनकी कुछ फिल्मों में इन शहरों की छाप देखने को मिलती हैं, विशेष रूप से गैग्स ऑफ वासेपुर, जहाँ उन्होनें उस घर का प्रयोग किया जहाँ वह पले-बढे। फिल्में देखने का शौक उनहें बचपन से ही था, पर यह स्कूली शिक्षा के के द्वारान छूट गाया। यह शौक दोबरा कॉलेज में जागृत हुआ। यहाँ एक थिएटर टोली से संगठित होकर जब वह एक अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव में उपस्थित हुए तो उनमें फिल्मे' बनाने की चेतान जागी। यहीँ से उनकी कैरियर की शुरुआत हुई। टेलीविजन सीरियल के लिए लिखने के बाद, अनुराग को रामगोपाल वर्मा के अपराध नाटक फिल्म सत्या में सह-लेखन का कार्य मिला। उन्होंने अपने निर्देशन का कार्य फिल्म पाँच से शुरुआत की। जो कि केन्द्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड के कारण प्रदर्शित नहीं हो सकी। इसके बाद उन्होंने 1993 के मुंबई पर बम विस्फोट के बारे में हुसैन जैदी लिखित पुस्तक पर आधारित एक फिल्म ब्लैक फ्राइडे (2007) का निर्देशन किया। लेकिन इसका प्रदर्शन केन्द्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड द्वारा लंबित किए जाने के कारण 2 साल बाद हो सका, लेकिन 2007 में प्रदर्शित होने के बाद इसे काफी सराहना प्राप्त हुई। इसके बाद अनुराग ने नो स्मोकिंग (2007) बनाई जिसने बॉक्स ऑफिस पर खराब प्रदर्शन किया। इसके बाद उन्होंने देवदास के आधुनिक संस्करण पर आधारित पर फिल्म देव डी (2009) बनाई जिसे काफी व्यवसायिक सफलता प्राप्त हुई। उसके बाद उन्होंने एक राजनीतिक नाटक फिल्म गुलाल (2009) और दैट गर्ल इन यैलो बूट्स (2011) फिल्मों का भी निर्देशन किया। 2012 में आई उनकी फिल्म गैंग्स ऑफ वासेपुर-भाग १ और भाग २ ने इनके निर्देशन का नया किर्तीमान बनाया। इस फिल्म ने न केवल व्यवसायिक रुप से सफल रही बल्कि समीक्षकों ने भी इसे काफी सराहा। .
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अमित त्रिवेदी
अमित त्रिवेदी बॉलीवुड फ़िल्मों में कार्यरत एक भारतीय वादक, रिकार्ड निर्माता, गायक, संगीतकार, गीतकार। थिएटर, विज्ञापनों, एवं गैर-फ़िल्मी एल्बमों में संगीतकार के रूप में कार्य करने के बाद हिंदी फिल्मों में संगीतकार के रूप में उनकी शुरुआत २००८ में फिल्म 'आमिर' से हुई। वर्ष २००९ में 'देव डी' में संगीत देने के लिए उन्हें अपार ख्याति के साथ ही उन्हें २०१० के 'सर्वश्रेष्ठ संगीतकार' का राष्ट्रीय पुरस्कार भी प्राप्त हुआ। .
देखें बॉम्बे टॉकीज़ (फ़िल्म) और अमित त्रिवेदी
अमिताभ बच्चन
अमिताभ बच्चन (जन्म-११ अक्टूबर, १९४२) बॉलीवुड के सबसे लोकप्रिय अभिनेता हैं। १९७० के दशक के दौरान उन्होंने बड़ी लोकप्रियता प्राप्त की और तब से भारतीय सिनेमा के इतिहास में सबसे प्रमुख व्यक्तित्व बन गए हैं। बच्चन ने अपने करियर में कई पुरस्कार जीते हैं, जिनमें तीन राष्ट्रीय फ़िल्म पुरस्कार और बारह फ़िल्मफ़ेयर पुरस्कार शामिल हैं। उनके नाम सर्वाधिक सर्वश्रेष्ठ अभिनेता फ़िल्मफेयर अवार्ड का रिकार्ड है। अभिनय के अलावा बच्चन ने पार्श्वगायक, फ़िल्म निर्माता और टीवी प्रस्तोता और भारतीय संसद के एक निर्वाचित सदस्य के रूप में १९८४ से १९८७ तक भूमिका की हैं। इन्होंने प्रसिद्द टी.वी.
देखें बॉम्बे टॉकीज़ (फ़िल्म) और अमिताभ बच्चन
अमिताभ भट्टाचार्य
अमिताभ भट्टाचार्य बॉलीवुड फ़िल्मों में कार्यरत एक भारतीय गीतकार और पार्श्व गायक हैं। उनके गीतों को "फ्रिलफ्री" और "स्मार्टली वर्डेड" के रूप में वर्णित किये गए हैं। .
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अक्षय कुमार की फ़िल्में
अक्षय कुमार (जन्म ९ सितम्बर १९६७ को राजीव हरि ओम भाटिया) भारतीय अभिनेता फ़िल्म निर्माता और युद्ध कला का कलाकार हैं। उन्होंने अब तक १२५ से भी अधिक फ़िल्मों में अभिनय किया है। उन्हें कई बार फ़िल्मफ़ेयर पुरस्कारों के लिए नामित किया गया और ३ बार उन्होंने ये पुरस्कार जीता। १९९० के दशक में जब उन्होंने अभिनय की दुनिया में कदम रखा तो शुरुआत में केवल एक्शन फ़िल्मों में अभिनय करते थे और उन्हें सामान्यतः "खिलाड़ी शृंखला" जिसमें खिलाड़ी (1992), मैं खिलाड़ी तू अनाड़ी (1994), सबसे बड़ा खिलाड़ी (1995), खिलाड़ियों का खिलाड़ी (1996), मिस्टर एंड मिसेज़ खिलाड़ी (1997), इन्टरनेशनल खिलाड़ी (1999) और खिलाड़ी ४२० (2000), खिलाड़ी ७८६ (2012), शामिल हैं, सहित अन्य एक्शन फ़िल्मों जैसे वक्त हमारा है (1993), मोहरा (1994), एलान (1994), सुहाग (1994), सपूत (1996), अंगारे (1998), कीमत (1998) और संघर्ष (1999) में उनके अभिनय के लिए जाना जाता था। बाद में उन्होंने नाटकीय, रोमांस और हास्य अभिनयों में भी ख्याति प्राप्त की। उन्होंने रूमानी फ़िल्मों जैसे ये दिल्लगी (1994), दिल तो पागल है (1997), धड़कन (2000), हमको दीवाना कर गये (2006), जानेमन (2006) और नमस्ते लंदन (2007) आदि में अपनी प्रस्तुति से शोहरत प्राप्त की और इसी प्रकार नाटकीय फ़िल्मों जैसे जानवर (1999), दोस्ती (2005), वक़्त (2005) और पटियाला हाउस (2011) में भी प्रसिद्धि प्राप्त की। उन्होंने अपने हास्य फ़िल्मों हेरा फेरी (2000), मुझसे शादी करोगी (2004), गरम मसाला (2005), भूल भुलैया (2007), सिंह इज़ किंग (2008) और हाउसफुल २ (2012) में अपनी हास्य भूमिका से प्रशंसा प्राप्त की। उनकी सफलता में २००७ में तब चार चाँद लग गये जब उन्होंने लगातार चार वाणिज्यिक रूप से सफल फ़िल्में दी। २०१२ में उनकी सफलता में हाउसफुल २ (2012) और रावड़ी राठौर (2012) दोनों फ़िल्मों में ₹ 100 करोड़ (यूएस$18.2 मिलियन) और इसी तरह ओ माय गॉड जिसके वो निर्माता भी हैं, आदि फ़िल्में शामिल है। इसी तरह उन्होंने खिलाड़ी शृंखला की आठवीं फ़िल्म खिलाड़ी ७८६ भी बॉक्स-ऑफ़िस पर सफल रही। .