सामग्री की तालिका
15 संबंधों: चौदहवीं लोकसभा, पल्लव राजवंश, बयालुसीमा, भारत में रेलवे स्टेशनों की सूची, भारत के सर्वाधिक जनसंख्या वाले शहरों की सूची, भार्गवी राव, मद्रास स्टेट, रायलसीमा, सत्यात्म तीर्थ, जगदेकमल्ल तृतीय, जगदेकमल्ल द्वितीय, जे. शांता, कर्नाटक, कर्नाटक में राष्ट्रीय राजमार्गों की सूची, कर्नाटका प्रीमियर लीग।
चौदहवीं लोकसभा
भारत में चौदहवीं लोकसभा का गठन अप्रैल-मई 2004 में होनेवाले आमचुनावोंके बाद हुआ था। .
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पल्लव राजवंश
पल्लव राजवंश प्राचीन दक्षिण भारत का एक राजवंश था। चौथी शताब्दी में इसने कांचीपुरम में राज्य स्थापित किया और लगभग ६०० वर्ष तमिल और तेलुगु क्षेत्र में राज्य किया। बोधिधर्म इसी राजवंश का था जिसने ध्यान योग को चीन में फैलाया। यह राजा अपने आप को क्षत्रिय मानते थे। .
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बयालुसीमा
बयालुसीमा(कन्नड़ ಬಯಲುಸೀಮೆ) दक्षिण भारत के कर्नाटक राज्य के मालनाड क्षेत्र के पूर्वी ओर के क्षेत्र को कहा जाता है। यह फैला हुआ खुला मैदानी क्षेत्र है जिसमें कुछ टीले मिल जाते हैं। इसमें धारवाड़, बेलगाम, गडग, हवेरी, बीजापुर, बागलकोट, गुलबर्ग, रायचूर, कोप्पल, बेल्लारी, चित्र दुर्ग, देवनगिरी, तुमकुर, हस्सन और मांड्या जिले आते हैं। यह नाम संभवतः कन्नड़ भाषा से व्युत्पन्न है, जिसका अर्थ है समतल भूमि या खुली भूमि, क्योंकि यहां से पड़ोसी क्षेत्रों का निर्बाध दृश्य सुलभ होता है। इसी कारण से इसे कई बार मैदान भी कहा जाता है। बयालसीमा की स्थिति दक्खिन पठार में मालनाड क्षेत्र के पूर्वी ओर पश्चिमी घाट के पूर्वी छोर पर है। बयालुसीमा के खानपान, बोलियां और शैलियाम भिन्न स्थानों पर बदलते रहते हैं। बयालसीमा की स्थिति दक्खिन पठार में मालनाड क्षेत्र के पूर्वी ओर पश्चिमी घाट के पूर्वी छोर पर है। श्रेणी:कर्नाटक के क्षेत्र.
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भारत में रेलवे स्टेशनों की सूची
शिकोहाबाद तहसील के ग्राम नगला भाट में श्री मुकुट सिंह यादव जो ग्राम पंचायत रूपसपुर से प्रधान भी रहे हैं उनके तीन पुत्र हैं गजेंद्र यादव नगेन्द्र यादव पुष्पेंद्र यादव प्रधान जी का जन्म सन १९५० में हुआ था उन्होंने अपना सारा जीवन ग़रीबों के लिए क़ुर्बान कर दिया था और वो ५ भाईओ में सबसे छोटे थे और अपने परिवार को बाँधे रखा ११ मार्च २०१५ को उनका देहावसान हो गया ! वो आज भी हमारे दिलों में ज़िंदा हैं इस लेख में भारत में रेलवे स्टेशनों की सूची है। भारत में रेलवे स्टेशनों की कुल संख्या 7,000 और 8,500 के बीच अनुमानित है। भारतीय रेलवे एक लाख से अधिक लोगों को रोजगार देने के साथ दुनिया में चौथा सबसे बड़ा नियोक्ता है। सूची तस्वीर गैलरी निम्नानुसार है। .
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भारत के सर्वाधिक जनसंख्या वाले शहरों की सूची
यह सूचियों भारत के सबसे बड़े शहरों पर है। .
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भार्गवी राव
भार्गवी प्रभंजन राव (14 अगस्त 1944 – 23 मई 2008), तेलुगू भाषा की प्रख्यात अनुवादक थी, जिन्हें साहित्य अकादमी पुरस्कार प्राप्त था। अपने जीवन कल में वे सक्रिय रूप से लेखक और नाटककार गिरीश कर्नाड के विभिन्न कार्यों के अनुवाद में शामिल रही थीं। उनके सृजन कर्म के अंतर्गत प्रकाशित नूरेला पांटा उनकी सर्वाधिक चर्चित कृतियों में से एक है, जो बीसवीं सदी की महिला लेखिकाओं की सौ छोटी कहानियों का तेलगु भाषा में एक संकलन है। .
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मद्रास स्टेट
मद्रास स्टेट भारत के वर्तमान राज्य तमिल नाडु को २६ जनवरी, १९५० से १९६८ तक बुलाया जाने वाला नाम था। मूल रूप में इस राज्य में वर्तमान आंध्र प्रदेश के तटीय क्षेत्र, उत्तरी केरल (मालाबार) और कर्नाटक से बेल्लारी, दक्षिण कन्नड़ आदि क्षेत्र आते थे। इस राज्य को १९५६ में वर्तमान स्थिति में घटा दिया गया था। १९५३ में इस राज्य का भाषा कारण विभाजन किया गया। राज्य पुनर्संगठन अधिनियम, १९५६ के अन्तर्गत केरल और मैसूर राज्यों को इससे अलग निकाल लिया गया था। १९६८ में इसे तमिल नाडु क वर्तमान नाम मिला। इन्हें भी देखें: चेन्नई का इतिहास, मद्रास प्रेसिडेंसी श्रेणी:चेन्नई का इतिहास श्रेणी:तमिल नाडु का इतिहास श्रेणी:भारत का इतिहास.
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रायलसीमा
रायलसीमा भारत का एक "अनाधिकारिक" भौगोलिक क्षेत्र है जो आंध्र प्रदेश प्रान्त का एक हिस्सा है, इस क्षेत्र में मुख्य रूप से आंध्र प्रदेश के कर्नूल, कुडप्पा, अनंतपुर और चित्तूर जिले आते हैं। 2011 की भारत की जनगणना के अनुसार, चार जिलों वाले क्षेत्र में 15,184,908 की आबादी थी और 67,526 किमी 2 (26,072 वर्ग मील) का क्षेत्र शामिल था। रायलसीमा का अधिकांश हिस्सा तेलंगाना और आंध्र प्रदेश के अन्य तटीय इलाकों के मुक़ाबले अविकसित या अर्धविकसित है। तेलंगाना के अलग राज्य के रूप में माँग की जोर पकड़ने के कारण रायलसीमा के दु:खों पर केन्द्रित कई आंदोलन भी खड़े हुये हैं। इन सारे आंदोलनों का प्रमुख ध्येय रायलसीमा की समस्याओं पर ध्यान आकर्षित करना होता है। खासकर कृष्णा नदी और गोदावरी के पानी इनकी सबसे बड़ी समस्या है जिसके न होने से यहाँ हर साल लगभग अकाल जैसी स्थिति होती है। इस ईलाके के ज्यादातर लोग तेलंगाना की तर्ज पर अलग प्रान्त की माँग, या आंध्र प्रदेश की राजधानी को रायलसीमा में स्थानांतरित करने की माँग पर सहमत दिखते हैं। .
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सत्यात्म तीर्थ
श्री Satyatma तीर्थ के माध्यम से, Uttaradi गणित, प्रोत्साहित किया, जल संरक्षण और प्रबंधन विशेषज्ञ, डांडी के भारत और रेमन मैगसेसे पुरस्कार विजेता राजेंद्र सिंह को देने के लिए व्याख्यान पर जल संरक्षण और अन्य विषयों.
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जगदेकमल्ल तृतीय
जगदेकमल्ल तृतीय, पश्चिमी भारत के प्रतीच्य चालुक्य राजवंश का राजा था। ११४६ से ११८१ ई. तक के काल में कल्याणी पर कलचुरि लोगों का अधिकार रहा। किंतु ११६३ में तैल द्वितीय की मृत्यु के बाद भी चालुक्यों ने अपना दावा नहीं छोड़ा। जगदेकमल्ल तृतीय इसी समय हुआ। उसके अभिलेखों की तिथि ११६४ से ११८३ तक है। कदाचित् वह तैल तृतीय का पुत्र था। संभवत: परिस्थिति के अनुकूल वह कभी कलचुरि नरेश का आधिपत्य स्वीकार करता था और कभी स्वतंत्र शासक के रूप में राज्य करता था। उसके अभिलेख चितलदुर्ग, बेल्लारी और दूसरे जिलों से प्राप्त हुए हैं। एक अभिलेख में तो उसे कल्याण से राज्य करता हुआ कहा गया है। विजय पांड्य उसका सामन्त था। श्रेणी:भारत के राजा श्रेणी:भारत का इतिहास.
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जगदेकमल्ल द्वितीय
सोमेश्वर तृतीय के पश्चात् उसका ज्येष्ठ पुत्र कल्याणी के सिंहासन पर बैठा। अभिलेखों में उसके नाम का निर्देश नहीं है। अपने विरुद (यश या प्रर्शसासुचक पदवी) 'जगदेकमल्ल' के नाम से ही उसका उल्लेख आता है अतएव उसे जगदेकमल्ल द्वितीय (1138-55 ई.) कहा गया है। उसके अन्य विरुद थे- प्रेमप्रताप, चक्रवर्तिन् और त्रिभुवनमल्ल। अपने पितामह विक्रमादित्य षष्ठ के समय में ही उसे शासन में विशेष महत्व का पद प्राप्त हो गया था। चालुक्य वंश की क्षीण होती हुई शक्ति का लाभ उठाकर विष्णुवर्धन् होयसल ने अपन राज्य का विस्तार धारवाड़ में बंकारपुर तक कर लिया था, फिर भी वह चालुक्यों की अधीनता स्वीकार करता था। उसने नरसिंह होयसल के साथ 1143 ई.
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जे. शांता
जे.
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कर्नाटक
कर्नाटक, जिसे कर्णाटक भी कहते हैं, दक्षिण भारत का एक राज्य है। इस राज्य का गठन १ नवंबर, १९५६ को राज्य पुनर्गठन अधिनियम के अधीन किया गया था। पहले यह मैसूर राज्य कहलाता था। १९७३ में पुनर्नामकरण कर इसका नाम कर्नाटक कर दिया गया। इसकी सीमाएं पश्चिम में अरब सागर, उत्तर पश्चिम में गोआ, उत्तर में महाराष्ट्र, पूर्व में आंध्र प्रदेश, दक्षिण-पूर्व में तमिल नाडु एवं दक्षिण में केरल से लगती हैं। इसका कुल क्षेत्रफल ७४,१२२ वर्ग मील (१,९१,९७६ कि॰मी॰²) है, जो भारत के कुल भौगोलिक क्षेत्र का ५.८३% है। २९ जिलों के साथ यह राज्य आठवां सबसे बड़ा राज्य है। राज्य की आधिकारिक और सर्वाधिक बोली जाने वाली भाषा है कन्नड़। कर्नाटक शब्द के उद्गम के कई व्याख्याओं में से सर्वाधिक स्वीकृत व्याख्या यह है कि कर्नाटक शब्द का उद्गम कन्नड़ शब्द करु, अर्थात काली या ऊंची और नाडु अर्थात भूमि या प्रदेश या क्षेत्र से आया है, जिसके संयोजन करुनाडु का पूरा अर्थ हुआ काली भूमि या ऊंचा प्रदेश। काला शब्द यहां के बयालुसीम क्षेत्र की काली मिट्टी से आया है और ऊंचा यानि दक्कन के पठारी भूमि से आया है। ब्रिटिश राज में यहां के लिये कार्नेटिक शब्द का प्रयोग किया जाता था, जो कृष्णा नदी के दक्षिणी ओर की प्रायद्वीपीय भूमि के लिये प्रयुक्त है और मूलतः कर्नाटक शब्द का अपभ्रंश है। प्राचीन एवं मध्यकालीन इतिहास देखें तो कर्नाटक क्षेत्र कई बड़े शक्तिशाली साम्राज्यों का क्षेत्र रहा है। इन साम्राज्यों के दरबारों के विचारक, दार्शनिक और भाट व कवियों के सामाजिक, साहित्यिक व धार्मिक संरक्षण में आज का कर्नाटक उपजा है। भारतीय शास्त्रीय संगीत के दोनों ही रूपों, कर्नाटक संगीत और हिन्दुस्तानी संगीत को इस राज्य का महत्त्वपूर्ण योगदान मिला है। आधुनिक युग के कन्नड़ लेखकों को सर्वाधिक ज्ञानपीठ सम्मान मिले हैं। राज्य की राजधानी बंगलुरु शहर है, जो भारत में हो रही त्वरित आर्थिक एवं प्रौद्योगिकी का अग्रणी योगदानकर्त्ता है। .
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कर्नाटक में राष्ट्रीय राजमार्गों की सूची
यह सूची कर्नाटक के राष्ट्रीय राजमार्गओं की है। श्रेणी:कर्नाटक श्रेणी:भारत के राष्ट्रीय राजमार्ग.
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कर्नाटका प्रीमियर लीग
कर्नाटक प्रीमियर लीग (केपीएल) एक भारतीय ट्वेंटी-20 क्रिकेट लीग अगस्त में कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ (केएससीए), 2009 द्वारा स्थापित किया गया है। घरेलू क्रिकेट प्रतियोगिता लोकप्रिय इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) की तर्ज पर मॉडलिंग की है। केपीएल, कार्बन स्मार्ट द्वारा प्रायोजित, केएससीए श्रीकांत नरसिंहराजा वोडेयार के दिवंगत राष्ट्रपति इस प्रकार लीग को आधिकारिक तौर पर कार्बन स्मार्ट कर्नाटक प्रीमियर लीग के रूप में जाना जाता है के लिए एक श्रद्धांजलि है। बस इंडियन प्रीमियर लीग, जिसका शीर्षक प्रायोजकों चीनी की तरह मोबाइल निर्माताओं विवो, कर्नाटक प्रीमियर लीग का खिताब प्रायोजक (केपीएल) बेंगलूर स्थित रियल एस्टेट डेवलपर, मंत्री डेवलपर्स था। मंत्री डेवलपर्स की राशि के लिए पांच वर्ष की अवधि के लिए इस घटना का शीर्षक प्रायोजक होने का अधिकार हासिल किया था। तब केपीएल 2011, 2012 और 2013 में आयोजित नहीं किया गया था। 3 साल के अंतराल के बाद कर्नाटक प्रीमियर लीग (केपीएल) के तीसरे संस्करण 28 अगस्त (गुरुवार) को मैसूर में शुरू किया गया। 2014 में, कार्बन मोबाइल्स अगले 3 साल के लिए ईपीएल का अधिकार हासिल किया। पहले सत्र 23 सितम्बर 2009 के लिए 9 सितंबर 2009 से आयोजित किया गया था।.