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इन्डस-२

सूची इन्डस-२

इण्डस-२ (Indus-2) भारत के राजा रामन्ना प्रगत प्रौद्योगिकी केन्द्र, इन्दौर द्वारा विकसित एलेक्ट्रॉन त्वरक है। .

3 संबंधों: राजा रामन्ना प्रगत प्रौद्योगिकी केन्द्र, सिन्क्रोट्रॉन प्रकाश स्रोत, सिंक्रोट्रॉन

राजा रामन्ना प्रगत प्रौद्योगिकी केन्द्र

राजा रामन्ना प्रगत प्रौद्योगिकी केन्द्र स्थित '''इण्डस-दो''' (INDUS-2) राजा रामन्ना प्रगत प्रौद्योगिकी केन्द्र (RRCAT) मध्य प्रदेश के इन्दौर के बाहरी हिस्से में सुखनिवास गांव के पास स्थित है। यह भारत सरकार के परमाणु उर्जा विभाग के अन्तरगत स्थापित एक अनुसंधान एवं विकास केन्द्र है। इसकी स्थापना १९८५ में तत्कालीन राष्ट्रपति ज्ञानी जैल सिंह ने की थी। यहाँ पर मुख्यतः दो क्षेत्रों में कार्य होता है - कणों के त्वरक (particle accelerator) तथा लेजर (LASER)। इस समय इण्डस्-१ व इन्डस्-२ नामक दो इलेक्ट्रान त्वरक यहां काम कर रहे हैं। इनसे निकलने वाले विकिरण का नाम सिंक्रोट्रान् रेडिएशन (Synchrotron radiation) है जिसका उपयोग अनेक क्षेत्रों में होता है। इसके अतिरिक्त यहां पर औद्योगिक व मेडिकल त्वरक बनाने का कार्य भी हांथ में लिया गया है। .

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सिन्क्रोट्रॉन प्रकाश स्रोत

पेरिस स्थित '''SOLEIL''' (सूर्य) नामक सिन्क्रोट्रॉन प्रकाश स्रोत का योजनामूलक चित्र सिन्क्रोट्रॉन प्रकाश स्रोत (synchrotron light source) वह मशीन है जो वैज्ञानिक तथा तकनीकी उद्देश्यों के लिये विद्युतचुम्बकीय विकिरण (जैसे एक्स-किरण, दृष्य प्रकाश आदि) उत्पन्न करती है। यह प्रायः एक भण्डारण वलय (स्टोरेज रिंग) के रूप में होती है। सिन्क्रोट्रॉन प्रकाश सबसे पहले सिन्क्रोट्रॉन में देखी गयी थी। आजकल सिन्क्रोट्रॉन प्रकाश, भण्डारण वलयों तथा विशेष प्रकार के अन्य कण त्वरकों द्वारा उत्पन्न की जाती है। सिन्क्रोट्रॉन प्रकाश प्रायः इलेक्ट्रॉन को त्वरित करके प्राप्त की जाती है। इसके लिये पहले उच्च ऊर्जा की इलेक्ट्रॉन पुंज पैदा की जाती है। इस इलेक्ट्रॉन किरण-पुंज को एक द्विध्रुव चुम्बक के चुम्बकीय क्षेत्र से गुजारा जाता है जिसका चुम्बकीय क्षेत्र इलेक्ट्रानों की गति की दिशा के लम्बवत होता है। इससे इलेक्ट्रानों पर उनकी गति की दिशा (तथा चुम्बकीय क्षेत्र) के लम्बवत बल लगता है जिससे वे सरल रेखा के बजाय वृत्तिय पथ पर गति करने लगते हैं। (दूसरे शब्दों में, इनका त्वरण होता है।)। इसी त्वरण के फलस्वरूप सिन्क्रोट्रॉन प्रकाश उत्पन्न होता है जो अनेक प्रकार से उपयोगी है। चुम्बकीय द्विध्रुव के अलावा, अनडुलेटर, विगलर तथा मुक्त इलेक्ट्रॉन लेजर द्वारा भी सिन्क्रोट्रॉन प्रकाश पैदा किया जाता है। .

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सिंक्रोट्रॉन

BEP 900 MeV बूस्टर सिन्क्रोट्रॉन सिंक्रोट्रॉन (synchrotron) एक प्रकार का कण त्वरक है। इसमें आवेशित कण-पुंज एक चक्रीय बन्द पथ पर चलते हैं। उदाहरण के लिये भारत में राजा रामन्ना प्रगत प्रौद्योगिकी केन्द्र, इन्दौर में इण्डस-एक और इण्डस-दो नामक दो सिन्क्रोट्रॉन कार्यरत हैं। श्रेणी:कण त्वरक.

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यहां पुनर्निर्देश करता है:

इण्डस-दो, इन्डस्-२

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