लोगो
यूनियनपीडिया
संचार
Google Play पर पाएं
नई! अपने एंड्रॉयड डिवाइस पर डाउनलोड यूनियनपीडिया!
इंस्टॉल करें
ब्राउज़र की तुलना में तेजी से पहुँच!
 

भूगोल और महासागरीय निक्षेप

शॉर्टकट: मतभेद, समानता, समानता गुणांक, संदर्भ

भूगोल और महासागरीय निक्षेप के बीच अंतर

भूगोल vs. महासागरीय निक्षेप

पृथ्वी का मानचित्र भूगोल (Geography) वह शास्त्र है जिसके द्वारा पृथ्वी के ऊपरी स्वरुप और उसके प्राकृतिक विभागों (जैसे पहाड़, महादेश, देश, नगर, नदी, समुद्र, झील, डमरुमध्य, उपत्यका, अधित्यका, वन आदि) का ज्ञान होता है। प्राकृतिक विज्ञानों के निष्कर्षों के बीच कार्य-कारण संबंध स्थापित करते हुए पृथ्वीतल की विभिन्नताओं का मानवीय दृष्टिकोण से अध्ययन ही भूगोल का सार तत्व है। पृथ्वी की सतह पर जो स्थान विशेष हैं उनकी समताओं तथा विषमताओं का कारण और उनका स्पष्टीकरण भूगोल का निजी क्षेत्र है। भूगोल शब्द दो शब्दों भू यानि पृथ्वी और गोल से मिलकर बना है। भूगोल एक ओर अन्य शृंखलाबद्ध विज्ञानों से प्राप्त ज्ञान का उपयोग उस सीमा तक करता है जहाँ तक वह घटनाओं और विश्लेषणों की समीक्षा तथा उनके संबंधों के यथासंभव समुचित समन्वय करने में सहायक होता है। दूसरी ओर अन्य विज्ञानों से प्राप्त जिस ज्ञान का उपयोग भूगोल करता है, उसमें अनेक व्युत्पत्तिक धारणाएँ एवं निर्धारित वर्गीकरण होते हैं। यदि ये धारणाएँ और वर्गीकरण भौगोलिक उद्देश्यों के लिये उपयोगी न हों, तो भूगोल को निजी व्युत्पत्तिक धारणाएँ तथा वर्गीकरण की प्रणाली विकसित करनी होती है। अत: भूगोल मानवीय ज्ञान की वृद्धि में तीन प्रकार से सहायक होता है: सर्वप्रथम प्राचीन यूनानी विद्वान इरैटोस्थनिज़ ने भूगोल को धरातल के एक विशिष्टविज्ञान के रूप में मान्यता दी। इसके बाद हिरोडोटस तथा रोमन विद्वान स्ट्रैबो तथा क्लाडियस टॉलमी ने भूगोल को सुनिइतिहासश्चित स्वरुप प्रदान किया। इस प्रकार भूगोल में 'कहाँ' 'कैसे 'कब' 'क्यों' व 'कितनें' प्रश्नों की उचित वयाख्या की जाती हैं। . महासागरीय नितल पर मिलने वाले अवसादों के आवरण को महासागरीय निक्षेप कहते हैं। ये अवसाद अघन रूप में महासागरीय तली पर जमे रहते हैं। इन अवसादों की प्राप्ति चट्टानों पर निरन्तर क्रियाशील प्रक्रमों के कारण उनके अपक्षय व अपरदन से प्राप्त होने वाले अवसादों तथा महारागरीय जीवों तथा वनस्पतियों के अपशेषों से निर्मित एवं विकसित होती हैं। इन अवसादों को प्राप्ति के आधार पर दो भागों में बांटा जा सकता है:- 1- स्थलजात निक्षेप, 2- सागरीय निक्षेप, 1- स्थलजात निक्षेप:- ये निक्षेप धरातल से नदियों, वायु, हिमानी आदि के अनाच्छादन एवं अपरदन द्वारा महासागरों में एकत्रित किये जाते हैं। बजरी, रेत, सिल्ट, मृतिका, पंक आदि प्रमुख स्थलजात निक्षेप हैं। 2- सागरीय निक्षेप:- इसे मुख्यत: दो भागों में बांटा जा सकता है- ¡- जैविक निक्षेप, ¡¡- अजैविक निक्षेप, श्रेणी:महासागरीय निक्षेप.

भूगोल और महासागरीय निक्षेप के बीच समानता

भूगोल और महासागरीय निक्षेप आम में 0 बातें हैं (यूनियनपीडिया में)।

सूची के ऊपर निम्न सवालों के जवाब

भूगोल और महासागरीय निक्षेप के बीच तुलना

भूगोल 71 संबंध है और महासागरीय निक्षेप 2 है। वे आम 0 में है, समानता सूचकांक 0.00% है = 0 / (71 + 2)।

संदर्भ

यह लेख भूगोल और महासागरीय निक्षेप के बीच संबंध को दर्शाता है। जानकारी निकाला गया था, जिसमें से एक लेख का उपयोग करने के लिए, कृपया देखें:

अरे! अब हम फेसबुक पर हैं! »