हम Google Play स्टोर पर Unionpedia ऐप को पुनर्स्थापित करने के लिए काम कर रहे हैं
🌟हमने बेहतर नेविगेशन के लिए अपने डिज़ाइन को सरल बनाया!
Instagram Facebook X LinkedIn

अग्नाशय कैंसर और फेफड़ा

शॉर्टकट: मतभेद, समानता, समानता गुणांक, संदर्भ

अग्नाशय कैंसर और फेफड़ा के बीच अंतर

अग्नाशय कैंसर vs. फेफड़ा

पैंक्रिएटिक कैंसर अग्नाश्य का कैंसर होता है। प्रत्येक वर्ष अमेरिका में ४२,४७० लोगों की इस रोग के कारण मृत्यु होती है। इस कैंसर को शांत मृत्यु (साइलेंट किलर) भी कहा जाता है, क्योंकि आरंभ में इस कैंसर को लक्षणों के आधार पर पहचाना जाना मुश्किल होता है और बाद के लक्षण प्रत्येक व्यक्ति में अलग-अलग होते हैं। सामान्यत: इस कैंसर के लक्षणों में एबडोमेन के ऊपरी हिस्से में दर्द होता है, भूख कम लगती है, तेजी से वजन कम होने की दिक्कतें, पीलिया, नाक में खून आना, उल्टी होना जैसी शिकायत होती है। बड़ी उम्र (60 से ऊपर), पुरुष, धूम्रपान, खाने में सब्जियों और फल की कमी, मोटापा, मधुमेह, आनुवांशिकता भी कई बार पैंक्रिएटिक कैंसर की वजह होते हैं। पैंक्रिएटिक कैंसर से पीड़ित ज्यादातर रोगियों को तेज दर्द, वजन कम होना और पीलिया जैसी बीमारियां होती हैं। डायरिया, एनोरेक्सिया, पीलिया वजन कम होने की मुख्य वजह होती है। अमेरिकन कैंसर सोसाइटी ने इसके लिए किसी भी तरह के दिशा-निर्देश नहीं बनाए हैं, हालांकि धूम्रपान को इस कैंसर के लिए 20 से 30 प्रतिशत तक जिम्मेदार माना जाता है। सितंबर, 2006 में हुए एक अध्ययन में कहा गया था कि विटामिन डी का सेवन करने से इस कैंसर के होने की संभावना कम हो जाती है। इलाज पैंक्रिएटिक कैंसर का इलाज, इस बात पर निर्भर करता है कि कैंसर की अवस्था कौन सी है। रोगी की सजर्री की जाती है या फिर उसे रेडियोथेरेपी या कीमोथेरेपी दी जाती है। अमेरिकन कैंसर सोसाइटी के अनुसार अब तक इस कैंसर का पूरी तरह से इलाज संभव नहीं है। कैंसर सोसाइटी का कहना है कि 20 से 30 प्रतिशत पैंक्रिएटिक कैंसर की वजह ज्यादा धूम्रपान करना होता है। गौर करने वाली बात ये है कि यह कैंसर महिलाओं की अपेक्षा पुरुषों में ज्यादा होता है। . ग्रे की मानव शारीरिकी'', 20th ed. 1918. हवा या वायु में सांस लेने वाले प्राणियों का मुख्य सांस लेने के अंग फेफड़ा या फुप्फुस (जैसा कि इसे वैज्ञानिक या चिकित्सीय भाषा मे कहा जाता है) होता है। यह प्राणियों में एक जोडे़ के रूप मे उपस्थित होता है। फेफड़े की दीवार असंख्य गुहिकाओं की उपस्थिति के कारण स्पंजी होती है। यह वक्ष-गुहा में स्थित होता है। इसमें लहू का शुद्धीकरण होता है। प्रत्येक फेफड़ा में एक फुफ्फुसीय शिरा हिया से अशुद्ध लहू लाती है। फेफड़े में लहू का शुद्धीकरण होता है। लहू में ऑक्सीजन का मिश्रण होता है। फेफडो़ का मुख्य काम वातावरण से प्राणवायु लेकर उसे लहू परिसंचरण मे प्रवाहित (मिलाना) करना और लहू से कार्बन डाइऑक्साइड को अवशोषित कर उसे वातावरण में छोड़ना है। गैसों का यह विनिमय असंख्य छोटे छोटे पतली-दीवारों वाली वायु पुटिकाओं जिन्हें अल्वियोली कहा जाता है मे होता है। यह शुद्ध लहू फुफ्फुसीय धमनी द्वारा हिया में पहुँचता है, जहां से यह फिर से शरीर के विभिन्न अवयवों मे पम्प किया जाता है। .

अग्नाशय कैंसर और फेफड़ा के बीच समानता

अग्नाशय कैंसर और फेफड़ा आम में 0 बातें हैं (यूनियनपीडिया में)।

सूची के ऊपर निम्न सवालों के जवाब

अग्नाशय कैंसर और फेफड़ा के बीच तुलना

अग्नाशय कैंसर 2 संबंध है और फेफड़ा 3 है। वे आम 0 में है, समानता सूचकांक 0.00% है = 0 / (2 + 3)।

संदर्भ

यह लेख अग्नाशय कैंसर और फेफड़ा के बीच संबंध को दर्शाता है। जानकारी निकाला गया था, जिसमें से एक लेख का उपयोग करने के लिए, कृपया देखें: