लोगो
यूनियनपीडिया
संचार
Google Play पर पाएं
नई! अपने एंड्रॉयड डिवाइस पर डाउनलोड यूनियनपीडिया!
डाउनलोड
ब्राउज़र की तुलना में तेजी से पहुँच!
 

गिलगित-बल्तिस्तान

सूची गिलगित-बल्तिस्तान

गिलगित-बल्तिस्तान (उर्दू:, बलती: གིལྒིཏ་བལྟིསྟན), पाक-अधिकृत कश्मीर के भीतर एक स्वायत्तशासी क्षेत्र है जिसे पहले उत्तरी क्षेत्र या शुमाली इलाक़े (शुमाली इलाक़ाजात) के नाम से जाना जाता था। यह पाकिस्तान की उत्तरतम राजनैतिक इकाई है। इसकी सीमायें पश्चिम में खैबर-पख़्तूनख्वा से, उत्तर में अफ़ग़ानिस्तान के वाख़ान गलियारे से, उत्तरपूर्व में चीन के शिन्जियांग प्रान्त से, दक्षिण में और दक्षिणपूर्व में भारतीय जम्मू व कश्मीर राज्य से लगती हैं। गिलगित-बल्तिस्तान का कुल क्षेत्रफल 72,971 वर्ग किमी (28,174 मील²) और अनुमानित जनसंख्या लगभग दस लाख है। इसका प्रशासनिक केन्द्र गिलगित शहर है, जिसकी जनसंख्या लगभग 2,50,000 है। 1970 में "उत्तरी क्षेत्र” नामक यह प्रशासनिक इकाई, गिलगित एजेंसी, लद्दाख़ वज़ारत का बल्तिस्तान ज़िला, हुन्ज़ा और नगर नामक राज्यों के विलय के पश्चात अस्तित्व में आई थी। पाकिस्तान इस क्षेत्र को विवादित कश्मीर के क्षेत्र से पृथक क्षेत्र मानता है जबकि भारत और यूरोपीय संघ के अनुसार यह कश्मीर के वृहत विवादित क्षेत्र का ही हिस्सा है। कश्मीर का यह वृहत क्षेत्र सन 1947 के बाद से ही भारत और पाकिस्तान के बीच विवाद का विषय है। .

156 संबंधों: चित्राल ज़िला, चिपोरसुन, चिलास, चोरबत घाटी, चोगोलीसा, चोंग्तर कांगरी, चीन-पाक आर्थिक गलियारा, चीन-पाकिस्तान समझौता, टग़ाफ़री, ट्रांस काराकोरम ट्रैक्ट, डोमाकी भाषा, ताशक़ुरग़ान​, ताशक़ुरग़ान​ ताजिक स्वशासित ज़िला, तिब्बताई भाषाएँ, त्रिवोर, तोल्ती, दरकोट दर्रा, दार्द लोग, दासु, दिसम्बर २०१५ हिंदू कुश भूकंप, दिस्तग़िल सर, दिआमेर ज़िला, दीरन, नगर (गिलगित-बल्तिस्तान), नगर रियासत, नगर वादी, नंगा पर्वत, नीलम ज़िला, पनमाह मुज़ताग़, पसू सर, पामीर पर्वतमाला, पाक अधिकृत कश्मीर, पाकिस्तान, पाकिस्तान पीपल्स पार्टी, पाकिस्तान यादगार, पाकिस्तान का राजप्रतीकचिन्ह, पाकिस्तान के ज़िले, पाकिस्तान के वर्तमान मुख्यमंत्रियों की सूची, पाकिस्तान के वर्तमान राज्यपालों की सूची, पाकिस्तान की न्यायपालिका, पाकिस्तान की प्रशासनिक इकाइयाँ, पुनियाल, पुमरी छिश, पुंछ ज़िला, पाकिस्तान, बलती भाषा, बलवारिस्तान (राज्य), बल्तिस्तान, बातूरा मुज़ताग़, बातूरा सर, बाबूसर दर्रा, ..., बाल्तोरो मुज़ताग़, बाल्तोरो हिमानी, बाल्तोरो कांगरी, बाग़ ज़िला, बाइंथा ब्राक, बुबली मोतीन, बुरज़िल दर्रा, बुरुशस्की, ब्रिटिशकालीन भारत के रियासतों की सूची, ब्रॉड पीक, भारत में इस्लाम, भिम्बेर ज़िला, भोटी भाषाएँ, मलंगुत्ती सर, मालूबितिंग, माशेरब्रुम, मुज़ताग़ टावर, मुज़फ़्फ़राबाद ज़िला, मुख्यमंत्री (पाकिस्तान), मोमहिल सर, मीरपुर ज़िला, यासीन वादी, युतमरु सर, युकशिन गर्दन सर, राकापोशी, राकापोशी-हरामोश पर्वतमाला, लुपग़र सर, शन्दूर दर्रा, शिमशाल, शिस्पर, शिगर ज़िला, शक्सगाम नदी, शीना भाषा, सरिकोली भाषा, साल्तोरो पर्वतमाला, सिन्धु नदी, सिआ कांगरी, संगेमरमर सर, स्कर्दू, स्कर्दू हवाई अड्डा, स्कर्दू ज़िला, स्किल ब्रुम, स्क्यांग कांगरी, सॆयद मेहंदी शाह, सोस्त, हरामोश, हाफ़िज़ हफ़ीज़ुर्रहमान, हिस्पर मुज़ताग़, हवेली ज़िला, हुन्ज़ा, हुन्ज़ा नदी, हुन्ज़ा घाटी, हुन्ज़ा-नगर ज़िला, घेंट कांगरी, विश्व के सर्वोच्च पर्वतों की सूची, विंशाधारी, वेस्म पर्वतमाला, खपलू, ख़रमंग, ख़ुंजराब दर्रा, खुनयंग छिश, खोवार भाषा, गलगत हवाई अड्डा, ग़िज़र ज़िला, गान्चे ज़िला, गाशरब्रुम, गाशरब्रुम १, गाशरब्रुम २, गाशरब्रुम ३, गाशरब्रुम ४, गाशरब्रुम ५, गाशरब्रुम ६, गाहकूच, गिलगित, गिलगित नदी, गिलगित ज़िला, गिलगित वादी, गिलगित-बल्तिस्तान के मुख्यमंत्री, गिलगित-बल्तिस्तान के राज्यपाल, गुरेज़, गुलमित, गोरीकोट वादी, गोजाल, ऑपरेशन मेघदूत, ओवैस अहमद गनी, आज़ाद कश्मीर, इर्शाद दर्रा, इश्कोमन, इंदिरा कोल, कनजुत सर, करम अली शाह, कश्मीर हिमालय, काराकोरम, काराकोरम राजमार्ग, किशनगंगा नदी, के२, के६ पर्वत, कोटली ज़िला, कोयो ज़ुम, अलियाबाद, अस्तोर, अस्तोर ज़िला, अस्तोर घाटी, अक्टूबर २०१५ हिन्दू कुश भूकंप, उल्तर सर, 2014 भारत - पाकिस्तान बाढ़ सूचकांक विस्तार (106 अधिक) »

चित्राल ज़िला

चित्राल (उर्दू:, अंग्रेज़ी: Chitral) पाकिस्तान के ख़ैबर-पख़्तूनख़्वा प्रांत के सबसे उत्तरी भाग में स्थित एक ज़िला है। यह उस प्रान्त का सबसे बड़ा ज़िला है। इसका क्षेत्रफल १४,८५० वर्ग किमी है और १९९८ की जनगणना में इसकी आबादी ३,१८,६८९ थी। ७,७०८ मीटर ऊँचा तिरिच मीर, जो दुनिया के सबसे ऊंचे पहाड़ों में से है, इस ज़िले में स्थित है। चित्राल ज़िले की राजधानी चित्राल शहर है।, Sarina Singh, Lindsay Brown, Paul Clammer, Rodney Cocks, John Mock, Lonely Planet, 2008, ISBN 978-1-74104-542-0 .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और चित्राल ज़िला · और देखें »

चिपोरसुन

चिपोरसुन (Chiporsun) या चपुरसन (Chapursan) पाक-अधिकृत कश्मीर के के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले की गोजाल तहसील में स्थित एक वादी है। इस घाटी में आठ गाँव हैं, जिनमें अधिकतर वाख़ी भाषा बोलने वाले इस्माइली शिया रहते हैं। यह इलाक़ा इर्शाद दर्रे द्वारा अफ़ग़ानिस्तान के वाख़ान गलियारे से जुड़ता है और चीन की सरहद के भी काफ़ी समीप है।, H. W. Tilman, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और चिपोरसुन · और देखें »

चिलास

चिलास तक जाने के लिए पुल चिलास या चलास (उर्दू: چلاس), पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के दिआमेर ज़िले में स्थित एक छोटा-सा क़्स्बा है जो उस ज़िले की राजधानी भी है। यह काराकोरम राजमार्ग के द्वारा रेशम मार्ग से जुड़ता है साथ ही यह राजमार्ग इसे दक्षिण मे इस्लामाबाद से जोड़ता है। काराकोरम राजमार्ग पर चिलास से इस्लामाबाद के रास्ते में दासु, मनसेहरा, ऐबटाबाद और हरिपुर नगर आते हैं जबकि, इसके उत्तर में यह गिलगित और सोस्त के रास्ते चीनी शहरों कशगार और ताशकुरगन से जुड़ता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और चिलास · और देखें »

चोरबत घाटी

चोरबत घाटी (Chorbat Valley) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के गान्चे ज़िले की खपलू तहसील में स्थित एक पर्वतीय घाटी है। इसका कुछ भाग भारत द्वारा नियंत्रित क्षेत्र में आता है और प्रशासनिक रूप से जम्मू व कश्मीर राज्य के लेह ज़िले का भाग है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और चोरबत घाटी · और देखें »

चोगोलीसा

चोगोलीसा पाक अधिकृत कश्मीर के बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित काराकोरम पर्वतों के माशेरब्रुम पर्वत समूह का एक ऊँचा पर्वत है। माशेरब्रुम समूह बाल्तोरो हिमानी से दक्षिण में स्थित है। इस पर्वत के कई शिखर हैं, जिनमें दक्षिण-पश्चिमी और उत्तर-पूर्वी मुख्य हैं। इसके दक्षिण-पश्चिमी मुख वाला शिखर, जिसे चोगोलीसा-१ (Chogolisa I) भी कहते हैं, सबसे ऊँचा है और ७,६६५ मीटर (२५,१४८ फ़ुट) की बुलंदी रखता है। इसका दूसरा सबसे ऊँचा मुख पूर्वोत्तर वाला है, जिसे चोगोलीसा-२ (Chogolisa II) भी कहते हैं और जिसकी ऊँचाई ७,६५४ मीटर है। मार्टिन कॉनवे ने सन् १८९२ में चोगोलीसा-२ को दुल्हन पर्वत (Bride Peak) का नाम भी दिया था। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और चोगोलीसा · और देखें »

चोंग्तर कांगरी

चोंग्तर कांगरी (Chongtar Kangri) काराकोरम पर्वतमाला की बाल्तोरो मुज़ताग़ उपश्रेणी का एक ऊँचा पर्वत है। यह चीन द्वारा अधिकृत शक्सगाम घाटी क्षेत्र में आता है और पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र के समीप है। यह के२ से लगभग १० किमी दूर है। चीन इसे प्रशासनिक रूप से शिंजियांग प्रान्त में डालता है लकिन भारत के अनुसार यह क्षेत्र उसकी सम्प्रभुता में आता है। यह विश्व का ८१वाँ सर्वोच्च पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और चोंग्तर कांगरी · और देखें »

चीन-पाक आर्थिक गलियारा

नक़्शा चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारा या उर्दू में पाकिस्तान-चीन इक़तिसादी राहदारी (चीनी: 中国 - 巴基斯坦 经济 走廊) एक बहुत बड़ी वाणिज्यिक परियोजना है, जिसका उद्देश्य दक्षिण-पश्चिमी पाकिस्तान से चीन के उत्तर-पश्चिमी स्वायत्त क्षेत्र शिंजियांग तक ग्वादर बंदरगाह, रेलवे और हाइवे के माध्यम से तेल और गैस की कम समय में वितरण करना है। आर्थिक गलियारा चीन-पाक संबंधों में केंद्रीय महत्व रखता है, गलियारा ग्वादर से काशगर तक लगभग 2442 किलोमीटर लंबा है। यह योजना को सम्पूर्ण होने में काफी समय लगेगा। इस योजना पर 46 बिलियन डॉलर लागत का अनुमान किया गया है। यह गलियारा पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर, गिलगित-बाल्टिस्तान और बलूचिस्तान होते हुए जायेगा। विविध सूचनाओं के अनुसार ग्वादर बंदरगाह को इस तरह से विकसित किया जा रहा है, ताकि वह 19 मिलियन टन कच्चे तेल को चीन तक सीधे भेजने में सक्षम होगा। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और चीन-पाक आर्थिक गलियारा · और देखें »

चीन-पाकिस्तान समझौता

शक्स्गाम वादी कश्मीर के इस नक़्शे के मध्य उत्तर में देखी जा सकती है चीन-पाकिस्तान समझौता (Sino-Pakistan Agreement), जिसे चीन-पाकिस्तान सीमा समझौता (Sino-Pak Boundary Agreement) भी कहा जाता है, चीन और पाकिस्तान के बीच 1963 में हस्ताक्षरित करा गया एक दस्तावेज़ है जो उन दोनों देशों द्वारा कश्मीर में नियंत्रित क्षेत्रों के बीच की सीमा निर्धारित करता है। भारत इस समझौते का खण्डन करता है और उसके अनुसार पूरा जम्मू और कश्मीर राज्य भारत का अटूट अंग है और किसी भी अन्य देश को उसे बांटने का अधिकार नहीं। भारत के अनुसार पाकिस्तान और चीन में आधिकारिक रूप से कोई सीमा है ही नहीं क्योंकि भारतीय क्षेत्र बीच में आता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और चीन-पाकिस्तान समझौता · और देखें »

टग़ाफ़री

राकापोशी (7788 मी) टग़ाफ़री आधार शिविर सेटग़ाफ़री या टगाफ़री, नगर की ओर से राकापोशी शिखर का आधार शिविर है। राकापोशी पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र की काराकोरम पर्वतमाला में स्थित एक पहाड़ है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और टग़ाफ़री · और देखें »

ट्रांस काराकोरम ट्रैक्ट

शक्स्गाम वादी कश्मीर के इस नक़्शे के मध्य उत्तर में देखी जा सकती है काराकोरम-पार क्षेत्र (अंग्रेज़ी: Trans-Karakoram Tract, ट्रांस काराकोरम ट्रैक्ट) या शक्सगाम वादी एक लगभग ५,८०० वर्ग किमी का इलाक़ा है जो कश्मीर के उत्तरी काराकोरम पर्वतों में शक्सगाम नदी के दोनों ओर फैला हुआ है। यह भारत के जम्मू और कश्मीर राज्य का हिस्सा हुआ करता था जिसे १९४८ में पाकिस्तान ने अपने नियंत्रण में ले लिया। १९६३ में एक सीमा समझौते के अंतर्गत पाकिस्तान ने इस क्षेत्र को चीन को भेंट कर दिया। पाकिस्तान की दलील थी कि इस से पाकिस्तान और चीन के बीच में मित्रता बन जाएगी और उनका कहना था की ऐतिहासिक रूप से इस इलाक़े में कभी अंतरराष्ट्रीय सीमा निर्धारित थी ही नहीं इसलिए इस ज़मीन को चीन के हवाले करने से पाकिस्तान का कोई नुक़सान नहीं हुआ। भारत इस बात का पुरज़ोर खंडन करता है और शक्सगाम को अपनी भूमि का अंग बताता है। उसके अनुसार यह पुरा क्षेत्र भारतीय जम्मू एवं कश्मीर राज्य का अभिन्न भाग है।, Routledge, 2009, ISBN 978-1-134-07956-8,...

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ट्रांस काराकोरम ट्रैक्ट · और देखें »

डोमाकी भाषा

डोमाकी (Domaaki) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में कुछ सैंकड़ों लोगों द्वारा बोली जाने वाली एक दार्दी भाषा है। यह डूमा समुदाय के सदस्यों द्वारा बोली जाती है जिनकी लोकमान्यता है कि वे कहीं दक्षिण में मध्य भारत से आकर कश्मीर घाटी से गुज़रते हुए नगर और हुन्ज़ा की घाटियों में पहुंचकर बस गए थे। यहाँ से वे आगे काश्गर तक भी पहुँच गए। अधिकतर डूमा लोगों ने अपनी मातृभाषा छोड़कर शीना भाषा बोलना शुरू कर दिया और केवल नगर व हुन्ज़ा वादियों में ही डोमाकी चलती आ रही है। डूमा लोग पेशे से लोहार और मरासी (संगीतकार) हुआ करते थे लेकिन आजकल यह भिन्न व्यवसायों में लग गए हैं। १९८९ में केवल ५०० लोग डोमाकी मातृभाषी गिने गए थे और इनकी गिनती कम होती जा रही थी। इनमें से अधिकतर हुन्ज़ा में और कुछ नगर में हैं। हुन्ज़ा की डोमाकी और नगर की डोमाकी में कुछ अंतर हैं लेकिन इनके बोलने वाले एक-दूसरे को समझ सकते हैं। सभी डोमाकी बोलने वाले अपने आसपास के बहुसंख्यक बुरुशसकी या शीना लोगों की ज़बाने भी बोल लेते हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और डोमाकी भाषा · और देखें »

ताशक़ुरग़ान​

ताशक़ुरग़ान​ (सरिकोली:, तॉशक़ुरग़ॉन​; उइग़ुर:, ताशक़ूरग़ान बाज़िरी; चीनी: 塔什库尔干镇, ताशिकु'एरगन; अंग्रेज़ी: Tashkurgan) मध्य एशिया में चीन द्वारा नियंत्रित शिनजियांग प्रान्त के ताशक़ुरग़ान​ ताजिक स्वशासित ज़िले की राजधानी है। पाकिस्तान से पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र से आने वाले काराकोरम राजमार्ग पर यह पहला महत्वपूर्ण चीनी पड़ाव है। इस राजमार्ग पर सरहद पर स्थित ख़ुंजराब दर्रे की चीनी तरफ़ ताशक़ुरग़ान​ है और पाकिस्तानी तरफ़ सोस्त है।, Andrew Burke, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ताशक़ुरग़ान​ · और देखें »

ताशक़ुरग़ान​ ताजिक स्वशासित ज़िला

ताशक़ुरग़ान​ ताजिक स्वशासित ज़िला जनवादी गणतंत्र चीन द्वारा नियंत्रित शिंजियांग प्रान्त के काश्गर विभाग का एक ज़िला है। इसकी ८०% से अधिक आबादी ताजिक समुदाय की है। इस ज़िले की राजधानी ताशक़ुरग़ान​ शहर है जहाँ से पाक-अधिकृत कश्मीर से गुज़रकर पाकिस्तान व चीन को जोड़ने वाला काराकोरम राजमार्ग निकलता है।, Andrew Burke, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ताशक़ुरग़ान​ ताजिक स्वशासित ज़िला · और देखें »

तिब्बताई भाषाएँ

तिब्बताई भाषाएँ (तिब्बती: བོད་སྐད།, अंग्रेज़ी: Tibetic languages) तिब्बती-बर्मी भाषाओं का एक समूह है जो पूर्वी मध्य एशिया के तिब्बत के पठार और भारतीय उपमहाद्वीप के कई उत्तरी क्षेत्रों में तिब्बती लोगों द्वारा बोली जाती हैं। यह चीन द्वारा नियंत्रित तिब्बत, चिंगहई, गान्सू और युन्नान प्रान्तों में, भारत के लद्दाख़, हिमाचल प्रदेश, सिक्किम व उत्तरी अरुणाचल प्रदेश क्षेत्रों में, पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र में तथा भूटान देश में बोली जाती हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और तिब्बताई भाषाएँ · और देखें »

त्रिवोर

त्रिवोर काराकोरम पर्वत शृंखला की हिस्पर मुज़ताग़ उपशृंखला का चौथा सबसे ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित है, जिसे भारत अपना हिस्सा बताता है। त्रिवोर विश्व का ३९वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और त्रिवोर · और देखें »

तोल्ती

तोल्ती, पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर के क्षेत्र में पड़ने वाले पाकिस्तानी प्रांत, गिल्गित-बल्तिस्तान के ख़रमंग ज़िले में स्थित एक नगर है। यह नगर ख़रमंग ज़िले का प्रशासनिक मुख्यालय है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और तोल्ती · और देखें »

दरकोट दर्रा

दरकोट दर्रा (Darkot Pass), जो दरकूट दर्रा भी कहलाता है, हिन्दु कुश पर्वतों की हिन्दु राज शृंखला का एक पहाड़ी दर्रा है जो पाकिस्तान के ख़ैबर-पख़्तूनख़्वा प्रान्त के चित्राल ज़िले की बरोग़िल वादी को पाक अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र के ग़िज़र ज़िले की रावत वादी से जोड़ता है। भौगोलिक दृष्टि से यह यरख़ुन नदी घाटी क्षेत्र को यासीन घाटी क्षेत्र से जोड़ता है।, Jason Neelis, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और दरकोट दर्रा · और देखें »

दार्द लोग

दार्द या दारद उन समुदायों को कहा जाता है जो दार्दी भाषाएँ बोलते हैं। यह हिन्द-आर्य लोगों की एक उपशाखा है। दार्द लोग मुख्य रूप से उत्तर भारत के कश्मीर व लद्दाख़ क्षेत्र, पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र, पाकिस्तान के ख़ैबर-पख़्तूनख़्वा प्रान्त और पूर्वी अफ़ग़ानिस्तान के कुछ भागों में बसते हैं। अलग-अलग स्थनों के दार्द लोगों को 'ब्रोकपा', 'द्रोकपा' व 'शीन' जैसे नामों से भी जाना जाता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और दार्द लोग · और देखें »

दासु

दासु (Dassu या Dusso) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के स्कर्दू ज़िले का एक छोटा सा कस्बा है। यह 35°43'0N 75°31'0E' पर स्थित है और इसकी ऊँचाई 2440 मीटर (8008 फुट) है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और दासु · और देखें »

दिसम्बर २०१५ हिंदू कुश भूकंप

२५ दिसंबर २०१५ को हिंदू कुश के क्षेत्र में एक 6.3 परिमाण के भूकंप ने दक्षिण एशिया को प्रभावित किया। पाकिस्तान में एक महिला की मृत्यु हो गई। पाकिस्तान और अफगानिस्तान में कम से कम 100 लोग घायल हो गए। भूकंप को ज्यादातर ताजिकिस्तान और भारत में महसूस किया गया था। अफगानिस्तान-तजाकिस्तान के सीमा क्षेत्र में भूकंप का केंद्र 203.4 किलोमीटर की गहराई पर होने की सूचना मिली थी। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और दिसम्बर २०१५ हिंदू कुश भूकंप · और देखें »

दिस्तग़िल सर

दिस्तग़िल सर या दिस्तेग़िल सर काराकोरम पर्वत शृंखला की हिस्पर मुज़ताग़ उपशृंखला का सबसे ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान खंड के गोजल क्षेत्र में स्थित है। दिस्तग़िल सर विश्व का १९वाँ सबसे ऊँचा और पाकिस्तानी नियंत्रित क्षेत्रों का ७वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। इसके ऊपरी भाग में एक ३ किमी लम्बा और तंग क्षेत्र है जिसपर तीन मुख्य शिखर हैं। पश्चिम/पश्चिमोत्तर में ७,८८५ मी ऊँचा, मध्य में ७,७६० मी ऊँचा और पूर्व/पूर्वोत्तर में ७,६९६ मी ऊँचा। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और दिस्तग़िल सर · और देखें »

दिआमेर ज़िला

दिआमेर ज़िला​ पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र का एक ज़िला है। इसकी राजधानी चिलास है। २००४ में इसे विभाजित करके अलग अस्तोर ज़िला बनाया गया। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और दिआमेर ज़िला · और देखें »

दीरन

दीरन (Diran) काराकोरम पर्वतमाला की राकापोशी-हरामोश पर्वतमाला नामक उपश्रेणी का दूसरा सबसे ऊँचा पर्वत है। यह विश्व का 93वाँ सर्वोच्च पर्वत है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले की नगर वादी में स्थित है। यह राकापोशी से पूर्व में खड़ा हुआ है। इस से होने वाले हिमस्खलन में हर वर्ष मृत्युएँ होती हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और दीरन · और देखें »

नगर (गिलगित-बल्तिस्तान)

नगर (Nagar) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले में स्थित एक शहर है। यह हुन्ज़ा नदी के किनारे २,६८८ मीटर (८,८२२ फ़ुट) की ऊँचाई पर बसा हुआ है। चीन-द्वारा नियंत्रित शिंजियांग प्रान्त को ख़ुंजराब दर्रे के ज़रिये पाकिस्तान से जोड़ने वाला प्रसिद्ध काराकोरम राजमार्ग नगर से भी गुज़रकर निकलता है। यह जिस वादी में स्थित है उसका नाम भी नगर वादी है और यह किसी ज़माने में नगर रियासत का क्षेत्र हुआ करता था। नगर शहर को वादी से अलग बताने के लिये कभी-कभी नगर ख़ास भी कहते हैं। यहाँ के अधिकतर लोग बुरुशस्की बोलते हैं हालांकि स्थानीय लोगों को शीना भाषा भी आती है।, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और नगर (गिलगित-बल्तिस्तान) · और देखें »

नगर रियासत

नगर रियासत या रियासत-ए-नगर (Nagar state) जम्मू व कश्मीर राज्य के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र की नगर वादी में एक रियासत हुआ करती थी। इसकी राजधानी नगर शहर था। नगर रियासत का राजा 'मीर' कहलाता था और वह कश्मीर के महाराजा के अधीन हुआ करता था। १९४८ में इस पूरे क्षेत्र पर पाकिस्तान का क़ब्ज़ा हो गया और यह पाक-अधिकृत कश्मीर का भाग बन गया हालांकि १९७४ तक स्थानीय मीर ही नगर वादी पर राज करता रहा। जब पाकिस्तान में ज़ुल्फ़िकार अली भुट्टो प्रधानमंत्रि बने तो उन्होनें १९७४ में नगर रियासत ख़त्म करके इस क्षेत्र को उस समय 'शुमाली इलाक़े' कहलाने वाली प्रशासनिक ईकाई में डाल दिया जो अब गिलगित-बल्तिस्तान कहलाती है। नगर रियासत का क्षेत्र अब गिलगित-बल्तिस्तान के हुन्ज़ा-नगर ज़िले की तीन तहसीलों में सम्मिलित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और नगर रियासत · और देखें »

नगर वादी

हुन्ज़ा नदी के पार नगर वादी का दृश्य नगर वादी (Nagar Valley) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र की एक प्रमुख घाटी है। यह हुन्ज़ा-नगर ज़िले में स्थित है और प्रशासनिक रूप से दो तहसीलों में बंटी है जिन्हें नगर-१ और नगर-२ कहते हैं। यह वादी काराकोरम पर्वतक्षेत्र में २,४३८ मीटर (७,९९९ फ़ुट) की औसत ऊँचाई पर स्थित है और इस से राकापोशी और दीरन जैसे पर्वत देखे जा सकते हैं। इस घाटी में पहले नगर रियासत हुआ करती थी जो १९७४ में 'शुमाली इलाक़े' नामक प्रशासनिक इकाई में विलय कर दी गई। यही 'शुमाली इलाक़े' वर्तमान में गिलगित-बलतिस्तान कहलाते हैं। इस रियासत की राजधानी नगर ख़ास आज भी नगर वादी का प्रमुख शहर है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और नगर वादी · और देखें »

नंगा पर्वत

८,१२५ मीटर ऊंचा नंगा परबत नंगा पर्बत का रखिओट मुख नंगा पर्वत दुनिया की नौवी ऊंची चोटी है। इस की ऊँचाई ८,१२५ मीटर या २६,६५८ फ़ुट है। इसे दुनिया का "क़ातिल पहाड़" भी कहा जाते है क्योंकि इसपर चढ़ने वाले बहुत से लोगों की जाने जा चुकी हैं। बीसवी सदी के पहले हिस्से में आठ हज़ार मीटर से ऊंचे पहाड़ों में इस एक पहाड़ पर सब से ज्यादा मौतें हुई हैं। नंगा परबत पाकिस्तान द्वारा नियंत्रित गिलगित-बल्तिस्तान के क्षेत्र में आता है, जिसे भारत अपना हिस्सा भी मानता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और नंगा पर्वत · और देखें »

नीलम ज़िला

नीलम ज़िला (अंग्रेज़ी: Neelam District, उर्दु: ضلع نیلم) आज़ाद कश्मीर एक ज़िला है। पाक-अधिकृत कश्मीर दो भागों में विभाजित है: आज़ाद कश्मीर और गिलगित-बल्तिस्तान। नीलम ज़िला इनमें से आज़ाद कश्मीर नामक हिस्से में आता है। इसका प्रमुख नगर आठमुकाम है। भारत इसे अपना भाग मानता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और नीलम ज़िला · और देखें »

पनमाह मुज़ताग़

पनमाह मुज़ताग़ (Panmah Muztagh) काराकोरम पर्वतमाला की एक उपश्रेणी है। काराकोरम के कई अन्य पहाड़ों की तुलना में इसके पर्वत अधिक ऊँचे नहीं हैं लेकिन वे अपनी लम्बी शिलाओं की मीनारनुमा आकृतियों के लिए जाने जाते हैं।Andy Fanshawe and Stephen Venables, Himalaya Alpine-Style, Hodder and Stoughton, 1995, ISBN 0-340-64931-3.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पनमाह मुज़ताग़ · और देखें »

पसू सर

पसू सर (Passu Sar) या पस्सू सर या पसू १ विश्व का 54वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। यह काराकोरम पर्वतमाला की पश्चिमतम उपश्रेणी, बातूरा मुज़ताग़, का एक ऊँचा पहाड़ है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में आता है जिसपर भारत अपनी सम्प्रभुता का दावा करता है। यह पसू पुंजक का सर्वोच्च बिन्दु है, जिसमें पसू दियार (Passu Diar, जिसे पसू पूर्व और पसू २ भी कहते हैं) भी शामिल है। पसू सर बातूरा सर से ७ किमी पूर्व में स्थित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पसू सर · और देखें »

पामीर पर्वतमाला

पामीर (अंग्रेजी: Pamir Mountains, फ़ारसी), मध्य एशिया में स्थित एक प्रमुख पठार एवं पर्वत शृंखला है, जिसकी रचना हिमालय, तियन शान, काराकोरम, कुनलुन और हिन्दू कुश शृंखलाओं के संगम से हुआ है। पामीर विश्व के सबसे ऊँचे पहाड़ों में से हैं और १८वीं सदी से इन्हें 'विश्व की छत' कहा जाता है। इसके अलावा इन्हें इनके चीनी नाम 'कोंगलिंग' के नाम से भी जाना जाता है। यहाँ उगने वाले जंगली प्याज़ के नाम पर इन्हें प्याज़ी पर्वत भी कहा जाता था।, John Navazio, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पामीर पर्वतमाला · और देखें »

पाक अधिकृत कश्मीर

भारतीय कश्मीर है और अकसाई चिन चीन के अधिकार में है। इस क्षेत्र का अधिकार चीन को पाकिस्तान द्वारा सौंपा गया था। पाक अधिकृत कश्मीर मूल कश्मीर का वह भाग है, जिस पर पाकिस्तान ने १९४७ में हमला कर अधिकार कर लिया था। यह भारत और पाकिस्तान के बीच विवादित क्षेत्र है। इसकी सीमाएं पाकिस्तानी पंजाब एवं उत्तर पश्चिमी सीमांत प्रांत से पश्चिम में, उत्तर पश्चिम में अफ़गानिस्तान के वाखान गलियारे से, चीन के ज़िन्जियांग उयघूर स्वायत्त क्षेत्र से उत्तर और भारतीय कश्मीर से पूर्व में लगती हैं। इस क्षेत्र के पूर्व कश्मीर राज्य के कुछ भाग, ट्रांस-काराकोरम ट्रैक्ट को पाकिस्तान द्वारा चीन को दे दिया गया था व शेष क्षेत्र को दो भागों में विलय किया गया था: उत्तरी क्षेत्र एवं आजाद कश्मीर। इस विषय पर पाकिस्तान और भारत के बीच १९४७ में युद्ध भी हुआ था। भारत द्वारा इस क्षेत्र को पाक अधिकृत कश्मीर (पी.ओ.के) कहा जाता है।रीडिफ, २३ मई २००६ संयुक्त राष्ट्र सहित अधिकांश अंतर्राष्ट्रीय संस्थाएं एम.एस.एफ़, एवं रेड क्रॉस द्वारा इस क्षेत्र को पाक-अधिकृत कश्मीर ही कहा जाता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाक अधिकृत कश्मीर · और देखें »

पाकिस्तान

इस्लामी जम्हूरिया पाकिस्तान या पाकिस्तान इस्लामी गणतंत्र या सिर्फ़ पाकिस्तान भारत के पश्चिम में स्थित एक इस्लामी गणराज्य है। 20 करोड़ की आबादी के साथ ये दुनिया का छठा बड़ी आबादी वाला देश है। यहाँ की प्रमुख भाषाएँ उर्दू, पंजाबी, सिंधी, बलूची और पश्तो हैं। पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद और अन्य महत्वपूर्ण नगर कराची व लाहौर रावलपिंडी हैं। पाकिस्तान के चार सूबे हैं: पंजाब, सिंध, बलोचिस्तान और ख़ैबर​-पख़्तूनख़्वा। क़बाइली इलाक़े और इस्लामाबाद भी पाकिस्तान में शामिल हैं। इन के अलावा पाक अधिकृत कश्मीर (तथाकथित आज़ाद कश्मीर) और गिलगित-बल्तिस्तान भी पाकिस्तान द्वारा नियंत्रित हैं हालाँकि भारत इन्हें अपना भाग मानता है। पाकिस्तान का जन्म सन् 1947 में भारत के विभाजन के फलस्वरूप हुआ था। सर्वप्रथम सन् 1930 में कवि (शायर) मुहम्मद इक़बाल ने द्विराष्ट्र सिद्धान्त का ज़िक्र किया था। उन्होंने भारत के उत्तर-पश्चिम में सिंध, बलूचिस्तान, पंजाब तथा अफ़गान (सूबा-ए-सरहद) को मिलाकर एक नया राष्ट्र बनाने की बात की थी। सन् 1933 में कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय के छात्र चौधरी रहमत अली ने पंजाब, सिन्ध, कश्मीर तथा बलोचिस्तान के लोगों के लिए पाक्स्तान (जो बाद में पाकिस्तान बना) शब्द का सृजन किया। सन् 1947 से 1970 तक पाकिस्तान दो भागों में बंटा रहा - पूर्वी पाकिस्तान और पश्चिमी पाकिस्तान। दिसम्बर, सन् 1971 में भारत के साथ हुई लड़ाई के फलस्वरूप पूर्वी पाकिस्तान बांग्लादेश बना और पश्चिमी पाकिस्तान पाकिस्तान रह गया। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाकिस्तान · और देखें »

पाकिस्तान पीपल्स पार्टी

पाकिस्तान पीपल्ज़ पार्टी (उर्दू:, अंग्रेज़ी: Pakistan Peoples Party), जिसे पी॰पी॰पी॰ भी कहा जाता है, पाकिस्तान का एक प्रमुख राजनैतिक दल है। इसकी विचारधार गणतांत्रिक समाजवाद है। इसकी स्थापना ३० नवम्बर १९६७ में ज़ुल्फ़िकार अली भुट्टो ने नेतृत्व में हुई थी।, Sean Stewart Price, Heinemann-Raintree Library, 2009, ISBN 978-1-4329-3222-0,...

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाकिस्तान पीपल्स पार्टी · और देखें »

पाकिस्तान यादगार

पाकिस्तान यादगार(پاکستان یادگار) या पाकिस्तान माॅन्युमेन्ट(پاکستان مونومنٹ) (अर्थात पाकिस्तान स्मारक) पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद में स्थित, पाकिस्तान का राष्ट्रीय स्मारक एवं पाकिस्तानी क़ौम का स्मारकीय प्रतीक है। इसे मई २००४ से मार्च २००७ के बीच इस्लामाबाद के शकरपारियां पहाड़ी के पश्चिमी सिरे पर बनाया गया था। पुष्पाकार बनावट वाले इस स्मारक की बनावट को आरिफ़ मसूद नामक एक पाकिस्तानी विस्तुकार ने तईयार किया था। इसकी बनावट को पाकिस्तान की सभ्यत, संस्कृती, वैचारिक नीव एवं पाकिस्तान आन्दोलन की कहानी को बयां करती है। इसकी चार बडी पंखुड़ियां, पाकिस्तान के प्रांतों का, व छोटी पंखुड़ियां प्रदेशों का प्रतिनिधित्व करती हैं। यह मूलतः पाकिस्तान आनंदोलन के शहीदों को समर्पित है। File:Pakistan Monument at night, Islamabad (HDR).jpg| File:Ali Mujtaba WLM2015 PAKISTAN MONUMENT 01.jpg| .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाकिस्तान यादगार · और देखें »

पाकिस्तान का राजप्रतीकचिन्ह

पाकिस्तान के राजप्रतीकचिन्ह को सन १९५४ में पाकिस्तान सरकार द्वारा अपनाया गया था। इस चिन्ह को मूल रूप से कुल चिन्ह के रूप में वर्गित किया जा सकता है(उदाहरणस्वरूप: भारत का राष्ट्रप्रतीकचिन्ह एक ऐतिहासिक स्तम्भमुकुट है)। यह पाकिस्तानी गणराज्य के आदर्शों को, उस्की वैचाराक नीव को, उस्की अर्थव्यवस्था के मूल्यों को एवं पाकिस्तान की सांस्कृतिक धरोहर और मार्गदर्शक सिद्धांतों को दर्शाता है। इसे पाकिस्तान सरकार के चिन्ह के रूप में भी उपयोग किया जाता है। इस चिन्ह के मुख्य रूप से चार घटक अंग हैं.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाकिस्तान का राजप्रतीकचिन्ह · और देखें »

पाकिस्तान के ज़िले

पाकिस्तान के ज़िले पाकिस्तान के तीसरे दर्जे की प्रशासनिक इकाइयाँ हैं। पाकिस्तान में कुल 135 ज़िले और 7 आदिवासी क्षेत्र हैं। अगस्त 2000 से पूर्व ज़िले डिवीज़न के तहत होते थे लेकिन उस वक़्त डिवीज़न को ख़त्म करके ज़िलों को सीधे सूबों के अधीन कर दिया गया। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाकिस्तान के ज़िले · और देखें »

पाकिस्तान के वर्तमान मुख्यमंत्रियों की सूची

पाकिस्तान में मुख्यमंत्री(उर्दू: وزیر اعلى‎), पाकिस्तान के प्रांतीय सरकारों के प्रमुख एवं मुख्य निर्वाचित अधिकारी होते हैं। पाकिस्तान की प्रांतीय कार्य व्यवस्था में, मुख्यमंत्री, प्रांतीय सरकार के तथ्यस्वरुप प्रमुख होते हैं, जबकि राज्यपाल, जीन्हें कथास्वरूप प्रांताध्यक्ष होने की उपाधि हासिल है, का पद केवल एक पारंपरागत पद है जिस पर अधिक कार्यशक्तियाँ न्योछावर नहीं की गई हैं। मुख्यमंत्री को प्रांतीय विधायिका की बहुमत द्वारा निर्वाचित किया जाता है। वे विधायिका के सत्ता पक्ष के नेता होते हैं। पाकिस्तान की संसदीय व्यवस्था, वेस्टमिंस्टर प्रणाली पर आधारित है। अतः मुख्यमंत्री का चुनाव विधायिका के चुने गए सदस्य द्वारा किया जाता है, ना कि प्रत्यक्ष रूप से मतदाताओं द्वारा। पाकिस्तान में, मुख्यमंत्री का कार्यकाल 5 वर्ष होता है जिसके दौरान, प्रांतीय सरकार के सारे कार्य अधिकार मुख्यमंत्री के सीधे नियंत्रण में रहते हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाकिस्तान के वर्तमान मुख्यमंत्रियों की सूची · और देखें »

पाकिस्तान के वर्तमान राज्यपालों की सूची

राज्यपाल पाकिस्तान में सूबे का मुखिया होता है। सूबाई राज्यपाल पाकिस्तान की संघीय सरकार द्वारा नियुक्त किया जाता है। राज्यपाल का कार्यकाल पाँच साल के लिए रहता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाकिस्तान के वर्तमान राज्यपालों की सूची · और देखें »

पाकिस्तान की न्यायपालिका

पाकिस्तान की न्यायपालिका, एक श्रेणीबद्ध प्रणाली है जिसमें अदालतों के दो वर्गों है: श्रेष्ठतर (या उच्च) न्यायपालिका और अधीनस्थ (या निम्न) न्यायपालिका। श्रेष्ठतर न्यायपालिका, "सुप्रीम कोर्ट ने पाकिस्तान के", "संघीय शरीयत कोर्ट" और "पाँच उच्च न्यायालयों" से बना है, जिसके शीर्ष पर "सुप्रीम कोर्ट" विराजमान है। इसके अलावा, प्रत्येक चार प्रांतों एवं इस्लामाबाद राजधानी क्षेत्र के लिये एक उच्च न्यायालय है। पाकिस्तान का संविधान, न्यायपालिका पर संविधान की रक्षा, संरक्षण व बचाव का दायित्व सौंपता है। ना उच्चतम न्यायालय, ना हीं, उच्च न्यायालय, जनजातीय क्षेत्रों(फाटा) के संबंध में अधिकारिता का प्रयोग कर सकते हैं, सिवाय अन्यथा यदी प्रदान की जाय तो। आजाद कश्मीर और गिलगित-बाल्टिस्तान के विवादित क्षेत्रों के लिये अलग न्यायिक प्रणाली है। अधीनस्थ न्यायपालिका में, सिविल और आपराधिक जनपदीय न्यायालय व अन्य अनेक विशेष अदालतें शामिल हैं, जो, बैंकिंग, बीमा, सीमा शुल्क व उत्पाद शुल्क, तस्करी, ड्रग्स, आतंकवाद, कराधान, पर्यावरण, उपभोक्ता संरक्षण, और भ्रष्टाचार संबंधित मामलों में अधिकारिता का प्रयोग करती हैं। आपराधिक अदालतों को दंड प्रक्रिया संहिता, 1898 के तहत बनाया गया था और सिविल अदालतें, पश्चिमी पाकिस्तान सिविल न्यायालय अध्यादेश, 1964 द्वारा स्थापित किए गए थे। साथ ही, राजस्व अदालतें भी हैं, जो कि पश्चिमी पाकिस्तान भू-राजस्व अधिनियम, 1967 के तहत काम कर रहे हैं। इसके अलावा, सरकार, विशिष्ट मामलों में विशिष्ट अधिकार कार्यान्वित करने हेतु प्रशासनिक अदालतों और अधिकरणों की स्थापना कर सकती है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाकिस्तान की न्यायपालिका · और देखें »

पाकिस्तान की प्रशासनिक इकाइयाँ

पाकिस्तान की प्रशासनिक इकाइयां पाकिस्तान के प्रशासनिक ढांचे के अंतर्गत चार सूबे (प्रांत), एक संघीय राजधानी क्षेत्र और संघ-शासित जनजातीय क्षेत्रों का एक समूह आता है। इस शीर्ष स्तर के नीचे सरकार के चार स्तर और हैं, जिनमें 27 डिवीजनें, एक सौ पाँच जिले, चार सौ से अधिक तहसीलें और कई हजार संघ परिषदें शामिल हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पाकिस्तान की प्रशासनिक इकाइयाँ · और देखें »

पुनियाल

पुनियाल या पूनयाल (Punial या Punyal) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के ग़िज़र ज़िले की एक घाटी है। प्रशासनिक दृष्टि से यह ग़िज़र ज़िले की एक तहसील है। इसका प्रशासनिक मुख्यालय गाहकूच है, जो ग़िज़र ज़िले की राजधानी भी है। पुनियाल वादी की ऊँचाई ५,००० से ९,००० फ़ुट के बीच में है और यह कई पर्यटकों को आकर्षित करती है। पहले ज़माने में यह एक रियासत हुआ करती थी इसलिए इसे कभी-कभी आज भी 'पुनियाल रियासत' या 'पुनियाल जागीर' बुला दिया जाता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पुनियाल · और देखें »

पुमरी छिश

पुमरी छिश (Pumari Chhish) काराकोरम पर्वत शृंखला की हिस्पर मुज़ताग़ उपशृंखला का पाँचवा सबसे ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित है, जिसे भारत अपना हिस्सा बताता है। यह विश्व का ५३वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। यह खुनयंग छिश से ४ किमी पूर्व और हिस्पर हिमनद से उत्तर में स्थित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पुमरी छिश · और देखें »

पुंछ ज़िला, पाकिस्तान

पुंछ ज़िला (अंग्रेज़ी: Poonch District, उर्दु: ضلع پونچھ) आज़ाद कश्मीर का एक ज़िला है। पाक-अधिकृत कश्मीर दो भागों में विभाजित है: आज़ाद कश्मीर और गिलगित-बल्तिस्तान। पुंछ ज़िला इनमें से आज़ाद कश्मीर नामक हिस्से में आता है। इसका प्रमुख नगर रावला कोट है। भारत इसे अपना भाग मानता है और भारत के जम्मू व कश्मीर राज्य में भी एक पुंछ ज़िला है। पाक-अधिकृत कश्मीर के पुंछ क्षेत्र में सुधन और आवान समुदाय भारी संख्या में हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और पुंछ ज़िला, पाकिस्तान · और देखें »

बलती भाषा

बालती एक तिब्बताई भाषा है जो पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और भारत के जम्मू और कश्मीर राज्य के करगिल क्षेत्र में बोली जाती है। यह आधुनिक तिब्बती भाषा से काफ़ी भिन्न है। पुरानी तिब्बती की कई ध्वनियाँ जो आधुनिक तिब्बती में खोई जा चुकी हैं, आज भी बलती में प्रयोग होती हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बलती भाषा · और देखें »

बलवारिस्तान (राज्य)

बलवरिस्तान (Urdu:بلاورستان), गिलगित-बल्तिस्तान का ऐतिहासिक नाम है जो कुछ समय से सुर्खियों में है। इसका सबसे पुराना उल्लेख चीनी स्रोतों में मिलता है जो ८वीं शताब्दी ई के हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बलवारिस्तान (राज्य) · और देखें »

बल्तिस्तान

बल्तिस्तान (गहरा नीला एवं हल्का नीला) स्कर्दू नगर कारगिल की बलती बालिकायें बल्तिस्तानतान (बलती, लद्दाख़ी व तिब्बती: སྦལ་ཏི་སྟཱན) राजनैतिक रूप से विवादित क्षेत्र है जो काराकोरम के दक्षिण तथा सिन्धु नदी के उत्तर में स्थित है। यह अत्यन्त पर्वतीय क्षेत्र है और इस क्षेत्र की औसत ऊँचाई ३३५० मीटर से अधिक है। इसे 'लघु तिब्बत' भी कहते हैं। इसका क्षेत्रफल लगभग 27,400 किमी2 है। इस क्षेत्र में बलती भाषा बोली जाती है जो तिब्बती लिपि में लिखी जाती है। इस क्षेत्र के अधिकांश लोग मुसलमान हैं। स्कर्दू तथा कारगिल यहाँ के मुख्य कस्बे हैं। इस क्षेत्र का अधिकांश भाग पाकिस्तान के अधीन (गिलगित-बल्तिस्तान) है और कुछ भाग भारत के अधीन (जम्मू और कश्मीर)। यह क्षेत्र सिन्धु नदी की घाटियों से बना है। बल्तिस्तान के दक्षिण-पूर्व में भारत और पाकिस्तान के बीच की नियन्त्रण रेखा है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बल्तिस्तान · और देखें »

बातूरा मुज़ताग़

बातूरा मुज़ताग़ (Batura Muztagh) काराकोरम पर्वतमाला की एक उपश्रेणी है जो पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित है। इस क्षेत्र पर भारत अपनी सम्प्रभुता होने का दावा करता है। यहाँ कई पर्वत हैं जो विश्व के सर्वोच्च पर्वतों की सूची में शामिल हैं। बातूरा मुज़ताग़ गिलगित ज़िले की हुन्ज़ा घाटी के पश्चिम में स्थित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बातूरा मुज़ताग़ · और देखें »

बातूरा सर

बातूरा सर (Batura Sar), जो बातूरा १ (Batura I) भी कहलता है, विश्व का 25वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। यह काराकोरम पर्वतमाला की पश्चिमतम उपश्रेणी, बातूरा मुज़ताग़, का सबसे ऊँचा पहाड़ है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में आता है जिसपर भारत अपनी सम्प्रभुता का दावा करता है। बातूरा मुज़ताग़ में एक रीढ़ की तरह ऊँची दीवार-सी प्रतीत होने वाली "बातूरा दिवार" (जो एक-के-बाद-एक पर्वतों की कतार है) का सर्वोच्च बिन्दु भी बातूरा सर ही है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बातूरा सर · और देखें »

बाबूसर दर्रा

बाबूसर दर्रा (Babusar Pass, درہ بابوسر) पाकिस्तान के ख़ैबर-पख़्तूनख़्वा प्रान्त के मानसेहरा ज़िले में स्थित एक पहाड़ी दर्रा है जो काग़ान घाटी को पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र के चिलास शहर से जोड़ता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बाबूसर दर्रा · और देखें »

बाल्तोरो मुज़ताग़

बाल्तोरो मुज़ताग़ काराकोरम पर्वतमाला की एक उपश्रृंखला है। विश्व की दूसरी सबसे ऊंची चोटी के2 इसी श्रृंखला में ही स्थित है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में और चीन द्वारा नियंत्रित शिनजिआंग प्रान्त में आता है। भारत लगभग इस पूरे क्षेत्र को अपना भाग मानता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बाल्तोरो मुज़ताग़ · और देखें »

बाल्तोरो हिमानी

बाल्तोरो हिमानी पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के बल्तिस्तान उपक्षेत्र में काराकोरम पर्वतमाला में स्थित एक ६२ किमी लम्बी हिमानी (ग्लेशियर) है। यह पृथ्वी के ध्रुवीय क्षेत्रों से बाहर स्थित सबसे लम्बी हिमानियों में से एक है। इसके उत्तर और पूर्व में बाल्तोरो मुज़ताग़ के पर्वत हैं और इसके दक्षिण में माशेरब्रुम पर्वत शृंखला हैं। ८,६११ मीटर (२८,२५१ फ़ुट) ऊँचा के२ इस क्षेत्र का सबसे बुलंद पर्वत है। इसके अलावा यहाँ के बीस किलोमीटर के दायरे के अन्दर तीन और ८,००० मीटर से ऊँचे पहाड़ हैं।, Mike Searle, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बाल्तोरो हिमानी · और देखें »

बाल्तोरो कांगरी

बाल्तोरो कांगरी (Baltoro Kangri), जो सुनहरा सिंहासन या सुनहरा तख़्त (Golden Throne) भी कहलाता है, काराकोरम पर्वतमाला का एक ऊँचा पर्वत है जो विश्व का 82वाँ सर्वोच्च पर्वत भी है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र के स्कर्दू ज़िले में गाशरब्रुम उपश्रेणी से दक्षिण में और चोगोलीसा पर्वत से पूर्व में स्थित है। भारत इस पूरे क्षेत्र पर सम्प्रभुता का दावा करता है। प्रसिद्ध बाल्तोरो हिमानी (ग्लेशियर), जो पृथ्वी के ध्रुवीय क्षेत्रों के बाहर विश्व की पाँचवी सबसे लम्बी हिमानी है, इसी पर्वत की ढलानों से आरम्भ होती है। बाल्तोरो कांगरी की उत्तरी ढलान से अब्रूज़ी हिमानी उत्पन्न होती है। ध्यान दें कि मिलते-जुलते नाम के बावजूद यह पर्वत बाल्तोरो मुज़ताग़ का हिस्सा नहीं है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बाल्तोरो कांगरी · और देखें »

बाग़ ज़िला

बाग़ ज़िला (अंग्रेज़ी: Bagh District, उर्दु: ضلع باغ) आज़ाद कश्मीर का एक ज़िला है। पाकिस्तान ने पाक-अधिकृत कश्मीर को दो भागों में विभाजित करा दिया है: आज़ाद कश्मीर और गिलगित-बल्तिस्तान। बाग़ ज़िला इनमें से आज़ाद कश्मीर नामक हिस्से में आता है। इसका प्रमुख नगर बाग़ है। भारत इसे अपना भाग मानता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बाग़ ज़िला · और देखें »

बाइंथा ब्राक

बाइंथा ब्राक (Baintha Brakk), जिसे दानव (The Ogre, द ओगर) भी कहा जाता है, काराकोरम पर्वतमाला की पनमाह मुज़ताग़ उपश्रेणी का सबसे ऊँचा पर्वत है और विश्व का 87वाँ सर्वोच्च पर्वत भी है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में है जिसपर भारत अपनी सम्प्रभुता और अपने जम्मू और कश्मीर राज्य का अंग होने का दावा करता है। यह एक तीखी ढलान और पत्थरीली चट्टानों वाला पर्वत है जिसे चढ़ना बहुत कठिन माना जाता है। यह बियाफ़ो हिमानी की उत्तरी तरफ़ खड़ा हुआ है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बाइंथा ब्राक · और देखें »

बुबली मोतीन

बुबली मोतीन (Bublimotin) या लेडीफ़िंगर पीक (Ladyfinger Peak) काराकोरम पर्वतमाला की पश्चिमतम उपश्रेणी, बातूरा मुज़ताग़, का एक पहाड़ है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में आता है जिसपर भारत अपनी सम्प्रभुता का दावा करता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बुबली मोतीन · और देखें »

बुरज़िल दर्रा

बुरज़िल दर्रा (Burzil Pass) कश्मीर क्षेत्र का एक ऐतिहासिक दर्रा है जो श्रीनगर को पाक अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित गिलगित और स्कर्दू से जोड़ता है। यहाँ से यात्री और व्यापारी घोड़ों और टट्टुओं पर सवार यातायात करा करते थे लेकिन भारत के विभाजन के बाद यह पाकिस्तान द्वारा बन्द कर दिया गया। इसके शिखर पर एक चौकी हुआ करती थी जहाँ से भारत और चीन के दरम्यान डाक आया-जाया करती थी। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बुरज़िल दर्रा · और देखें »

बुरुशस्की

बुरुशस्की एक भाषा है जो पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र के उत्तरी भागों में बुरुशो समुदाय द्वारा बोली जाती है। यह एक भाषा वियोजक है, यानि विश्व की किसी भी अन्य भाषा से कोई ज्ञात जातीय सम्बन्ध नहीं रखती और अपने भाषा-परिवार की एकमात्र ज्ञात भाषा है। सन् २००० में इसे हुन्ज़ा-नगर ज़िले, गिलगित ज़िले के उत्तरी भाग और ग़िज़र ज़िले की यासीन व इश्कोमन घाटियों में लगभग ८७,००० लोग बोलते थे। इसे जम्मू और कश्मीर राज्य के श्रीनगर क्षेत्र में भी लगभग ३०० लोग बोलते हैं। भारत में बुरुशस्की के अलावा केवल मध्य प्रदेश व महाराष्ट्र के सीमावर्ती बुलढाणा क्षेत्र की निहाली भाषा ही दूसरी ज्ञात भाषा वियोजक है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और बुरुशस्की · और देखें »

ब्रिटिशकालीन भारत के रियासतों की सूची

सन १९१९ में भारतीय उपमहाद्वीप की मानचित्र। ब्रितिश साशित क्षेत्र व स्वतन्त्र रियासतों के क्षेत्रों को दरशाया गया है सन १९४७ में स्वतंत्रता और विभाजन से पहले भारतवर्ष में ब्रिटिश शासित क्षेत्र के अलावा भी छोटे-बड़े कुल 565 स्वतन्त्र रियासत हुआ करते थे, जो ब्रिटिश भारत का हिस्सा नहीं थे। ये रियासतें भारतीय उपमहाद्वीप के वो क्षेत्र थे, जहाँ पर अंग्रेज़ों का प्रत्यक्ष रूप से शासन नहीं था, बल्कि ये रियासत सन्धि द्वारा ब्रिटिश राज के प्रभुत्व के अधीन थे। इन संधियों के शर्त, हर रियासत के लिये भिन्न थे, परन्तु मूल रूप से हर संधि के तहत रियासतों को विदेश मामले, अन्य रियासतों से रिश्ते व समझौते और सेना व सुरक्षा से संबंधित विषयों पर ब्रिटिशों की अनुमति लेनी होती थी, इन विषयों का प्रभार प्रत्यक्ष रूप से अंग्रेजी शासन पर था और बदले में ब्रिटिश सरकार, शासकों को स्वतन्त्र रूप से शासन करने की अनुमती देती थी। सन १९४७ में भारत की स्वतंत्रता व विभाजन के पश्चात सिक्किम के अलावा अन्य सभी रियासत या तो भारत या पाकिस्तान अधिराज्यों में से किसी एक में शामिल हो गए, या उन पर कब्जा कर लिया गया। नव स्वतंत्र भारत में ब्रिटिश भारत की एजेंसियों को "दूसरी श्रेणी" के राज्यों का दर्जा दिया गया (उदाहरणस्वरूप: "सेंट्रल इण्डिया एजेंसी", "मध्य भारत राज्य" बन गया)। इन राज्यों के मुखिया को राज्यपाल नहीं राजप्रमुख कहा जाता था। १९५६ तक "राज्य पुनर्गठन अयोग" के सुझाव पर अमल करते हुए भारत सरकार ने राज्यों को पुनर्गठित कर वर्तमान स्थिती में लाया। परिणामस्वरूप सभी रियासतों को स्वतंत्र भारत के राज्यों में विलीन कर लिया गया। इस तरह रियासतों का अंत हो गया। सन १९६२ में प्रधानमंत्री इन्दिरा गांधी के शासनकाल के दौरान इन रियासतों के शासकों के निजी कोशों को एवं अन्य सभी ग़ैर-लोकतान्त्रिक रियायतों को भी रद्ध कर दिया गया .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ब्रिटिशकालीन भारत के रियासतों की सूची · और देखें »

ब्रॉड पीक

ब्रॉड पीक (Broad Peak, अर्थ: चौड़ा पर्वत), जिसे बलती में फ़ल्चन कांगड़ी (ཨིྰན་ཨངརི་) अनुवादित किया जाता है, विश्व का १२वाँ सर्वोच्च पर्वत है। यह काराकोरम के गाशरब्रुम पुंजक में स्थित है। राजनैतिक सीमाओं के अनुसार यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन के कब्ज़े वाली शक्सगाम घाटी की सीमा पर स्थित है। भारत के अनुसार गिलगित-बल्तिस्तान और शक्सगाम घाटी दोनों भारत का भाग हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ब्रॉड पीक · और देखें »

भारत में इस्लाम

भारतीय गणतंत्र में हिन्दू धर्म के बाद इस्लाम दूसरा सर्वाधिक प्रचलित धर्म है, जो देश की जनसंख्या का 14.2% है (2011 की जनगणना के अनुसार 17.2 करोड़)। भारत में इस्लाम का आगमन करीब 7वीं शताब्दी में अरब के व्यापारियों के आने से हुआ था (629 ईसवी सन्‌) और तब से यह भारत की सांस्कृतिक और धार्मिक विरासत का एक अभिन्न अंग बन गया है। वर्षों से, सम्पूर्ण भारत में हिन्दू और मुस्लिम संस्कृतियों का एक अद्भुत मिलन होता आया है और भारत के आर्थिक उदय और सांस्कृतिक प्रभुत्व में मुसलमानों ने महती भूमिका निभाई है। हालांकि कुछ इतिहासकार ये दावा करते हैं कि मुसलमानों के शासनकाल में हिंदुओं पर क्रूरता किए गए। मंदिरों को तोड़ा गया। जबरन धर्मपरिवर्तन करा कर मुसलमान बनाया गया। ऐसा भी कहा जाता है कि एक मुसलमान शासक टीपू शुल्तान खुद ये दावा करता था कि उसने चार लाख हिंदुओं का धर्म परिवर्तन करवाया था। न्यूयॉर्क टाइम्स, प्रकाशित: 11 दिसम्बर 1992 विश्व में भारत एकमात्र ऐसा देश है जहां सरकार हज यात्रा के लिए विमान के किराया में सब्सिडी देती थी और २००७ के अनुसार प्रति यात्री 47454 खर्च करती थी। हालांकि 2018 से रियायत हटा ली गयी है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और भारत में इस्लाम · और देखें »

भिम्बेर ज़िला

भिम्बेर ज़िला (अंग्रेज़ी: Bhimber District, उर्दु: ضلع بھمبر) आज़ाद कश्मीर का दक्षिणतम ज़िला है। पाकिस्तान ने अधिकृत कश्मीर को दो भागों में विभाजित करा है: आज़ाद कश्मीर और गिलगित-बल्तिस्तान। भिम्बेर ज़िला इनमें से "आज़ाद कश्मीर" नामक हिस्से में आता है। इसका प्रमुख नगर भिम्बेर है। भारत इसे अपना भाग मानता है। इस ज़िले की स्थापना सन् १९९६ में हुई और उस से पूर्व यह मीरपुर ज़िले का भाग था। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और भिम्बेर ज़िला · और देखें »

भोटी भाषाएँ

भोटी भाषाएँ (Bodish languages), जिनका नाम तिब्बत के पारम्परिक नाम "बोड" या "भोट" पर आधारित है, तिब्बती भाषाओं का सामूहिक नाम है। यह तिब्बत के अलावा उत्तर भारत, नेपाल, भूटान और पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में भी बोली जाती हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और भोटी भाषाएँ · और देखें »

मलंगुत्ती सर

मलंगुत्ती सर (Malangutti Sar) काराकोरम पर्वतमाला का एक पहाड़ है जो विश्व का 104वाँ सर्वोच्च पर्वत भी है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान में शिमशाल घाटी के पास खड़ा हुआ है। हालांकि यहाँ पाकिस्तान का नियंत्रण है, भारत इस क्षेत्र को अपने जम्मू और कश्मीर राज्य का भाग मानता है और इस इलाके में अपने सम्प्रभुत्व का दावा करता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और मलंगुत्ती सर · और देखें »

मालूबितिंग

मालूबितिंग (Malubiting), जो मालूबितिंग पश्चिम (Malubiting West) भी कहलाता है काराकोरम पर्वतमाला की राकापोशी-हरामोश पर्वतमाला नामक उपश्रेणी का दूसरा सबसे ऊँचा पर्वत है। यह विश्व का 58वाँ सर्वोच्च पर्वत है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र के गिलगित ज़िले में स्थित है। यह राकापोशी से 40 किमी पूर्व-दक्षिणपूर्व और गिलगित शहर से 50 किमी पूर्व में खड़ा हुआ है। चोगो लुंगमा हिमानी (ग्लेशियर) मालूबितिंग की ढलानों पर ही आरम्भ होता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और मालूबितिंग · और देखें »

माशेरब्रुम

माशेरब्रुम पाक अधिकृत कश्मीर के बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित काराकोरम पर्वतों के माशेरब्रुम पर्वत समूह का सबसे ऊँचा पर्वत है। ७,८२१ मीटर (२५,६५९ फ़ुट) की बुलंदी के साथ यह विश्व का २२वाँ सबसे ऊँचा और पाकिस्तान-नियंत्रित क्षेत्रों का ९वाँ सबसे ऊँचा पहाड़ है। इसे के१ (K1) भी बुलाया जाता है क्योंकि १९वीं सदी में काराकोरम शृंखला के निरिक्षण के दौरान यह पहला मापा गया पर्वत था। माशेरब्रुम समूह बाल्तोरो हिमानी से दक्षिण में स्थित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और माशेरब्रुम · और देखें »

मुज़ताग़ टावर

मुज़ताग़ टावर (Muztagh Tower) काराकोरम पर्वतमाला की बाल्तोरो मुज़ताग़ उपश्रेणी का एक ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन द्वारा अधिकृत शक्सगाम घाटी की सीमा पर स्थित है। भारत के अनुसार यह क्षेत्र उसकी सम्प्रभुता में आता है। यह विश्व का ९१वाँ सर्वोच्च पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और मुज़ताग़ टावर · और देखें »

मुज़फ़्फ़राबाद ज़िला

मुज़फ़्फ़राबाद ज़िला (अंग्रेज़ी: Muzaffarabad District, उर्दु: ضلع مُظفّر آباد) आज़ाद कश्मीर का एक ज़िला है। पाक अधिकृत कश्मीर दो भागों में विभाजित है: आज़ाद कश्मीर और गिलगित-बल्तिस्तान। मुज़फ़्फ़राबाद ज़िला इनमें से आज़ाद कश्मीर नामक हिस्से में आता है। इसका प्रमुख नगर मुज़फ़्फ़राबाद है। भारत इसे अपना भाग मानता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और मुज़फ़्फ़राबाद ज़िला · और देखें »

मुख्यमंत्री (पाकिस्तान)

पाकिस्तान में मुख्यमंत्री(وزیر اعلى‎), पाकिस्तान के प्रांतीय सरकारों के प्रमुख एवं मुख्य निर्वाचित अधिकारी होते हैं। पाकिस्तान की प्रांतीय कार्य व्यवस्था में, मुख्यमंत्री, प्रांतीय सरकार के तथ्यस्वरुप प्रमुख होते हैं, जबकि राज्यपाल, जीन्हें कथास्वरूप प्रांताध्यक्ष होने की उपाधि हासिल है, का पद केवल एक पारंपरागत पद है जिस पर अधिक कार्यशक्तियाँ न्योछावर नहीं की गई हैं। मुख्यमंत्री को प्रांतीय विधायिका की बहुमत द्वारा निर्वाचित किया जाता है। वे विधायिका के सत्ता पक्ष के नेता होते हैं। पाकिस्तान की संसदीय व्यवस्था, वेस्टमिंस्टर प्रणाली पर आधारित है। अतः मुख्यमंत्री का चुनाव विधायिका के चुने गए सदस्य द्वारा किया जाता है, ना कि प्रत्यक्ष रूप से मतदाताओं द्वारा। पाकिस्तान में, मुख्यमंत्री का कार्यकाल 5 वर्ष होता है जिसके दौरान, प्रांतीय सरकार के सारे कार्य अधिकार मुख्यमंत्री के सीधे नियंत्रण में रहते हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और मुख्यमंत्री (पाकिस्तान) · और देखें »

मोमहिल सर

मोमहिल सर (Momhil Sar) काराकोरम पर्वत शृंखला की हिस्पर मुज़ताग़ उपशृंखला एक पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित है, जिसे भारत अपना हिस्सा बताता है। यह विश्व का ६४वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और मोमहिल सर · और देखें »

मीरपुर ज़िला

मीरपुर ज़िला (अंग्रेज़ी: Mirpur District, उर्दु: ضلع میر پور) आज़ाद कश्मीर का एक ज़िला है। पाकिस्तान ने अधिकृत कश्मीर को दो भागों में विभाजित करा है: आज़ाद कश्मीर और गिलगित-बल्तिस्तान। भिम्बेर ज़िला इनमें से "आज़ाद कश्मीर" नामक हिस्से में आता है। इसका प्रमुख नगर मीरपुर है। भारत इसे अपना भाग मानता है। सन् १९९६ से पूर्व यह भिम्बेर ज़िला भी का भाग था। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और मीरपुर ज़िला · और देखें »

यासीन वादी

यासीन (Yasin) या वोरशीगूम (Worshigum) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के ग़िज़र ज़िले की एक घाटी है। प्रशासनिक दृष्टि से यह ग़िज़र ज़िले की एक तहसील भी है। यासीन वादी हिन्दु कुश पर्वतों में स्थित है और यहाँ से पूर्व में इश्कोमन वादी पहुँचने के लिए असम्बर दर्रे नामक एक पर्वतीय दर्रे से गुज़रना पड़ता है।, Robert W. Bradnock, Trade & Travel Publications, 1994,...

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और यासीन वादी · और देखें »

युतमरु सर

युतमरु सर (Yutmaru Sar) काराकोरम पर्वत शृंखला की हिस्पर मुज़ताग़ उपशृंखला एक पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित है, जिसे भारत अपना हिस्सा बताता है। यह विश्व का ८८वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और युतमरु सर · और देखें »

युकशिन गर्दन सर

युकशिन गर्दन सर (Yukshin Gardan Sar) काराकोरम पर्वत शृंखला की हिस्पर मुज़ताग़ उपशृंखला का छठा सबसे ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित है, जिसे भारत अपना हिस्सा बताता है। यह विश्व का ५५वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और युकशिन गर्दन सर · और देखें »

राकापोशी

राकापोशी (उर्दु:راکا پہشئ), पाक अधिकृत कश्मीर के गिलगित शहर से १०० किलोमीटर दूर स्थित नगर घाटी में स्थित एक 7788 मीटर (25550 फुट) ऊँचा पर्वत है। स्थानीय भाषा में 'राकापोशी' का अर्थ है - बर्फ से ढका हुआ। यह काराकोरम पर्वतश्रेणी में स्थित है। यह विश्व का 27वां सर्वोच्च पर्वत है। इस पर सबसे पहले चढ़ने वालों में दो ब्रिटिश पर्वतारोही माइक बैंक्स और टॉम पैटी हैं जिन्होने 1958 में, इस चोटी पर चढ़ने में सफलता पाई थी। राकापोशी को दुमानी (धुंध की माँ) भी कहते हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और राकापोशी · और देखें »

राकापोशी-हरामोश पर्वतमाला

राकापोशी-हरामोश पर्वतमाला (Rakaposhi-Haramosh Mountains) जम्मू और कश्मीर के काराकोरम पर्वतमाला की एक उपश्रेणी है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित बल्तिस्तान क्षेत्र के गिलगित ज़िले में स्थित है। इसके उत्तर में बरपु व चोगो लुंगमा हिमानियाँ (ग्लेशियर), पूर्व में शिगर नदी, दक्षिण में गिलगित व सिन्धु नदियाँ और पश्चिम में हुन्ज़ा नदी इसे घेरे हुए हैं।Jerzy Wala, Orographical Sketch Map of the Karakoram, Swiss Foundation for Alpine Research, Zurich, 1990.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और राकापोशी-हरामोश पर्वतमाला · और देखें »

लुपग़र सर

लुपग़र सर (Lupghar Sar) काराकोरम पर्वत शृंखला की हिस्पर मुज़ताग़ उपशृंखला एक पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित है, जिसे भारत अपना हिस्सा बताता है। यह विश्व का १०९वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और लुपग़र सर · और देखें »

शन्दूर दर्रा

शन्दूर दर्रा (Shandur Pass) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के ग़िज़र ज़िले में स्थित एक पहाड़ी दर्रा है जो ग़िज़र ज़िले को ख़ैबर-पख़्तूनख़्वा प्रान्त के चित्राल ज़िले से जोड़ता है। दर्रे के ऊपरी क्षेत्र में १२,२०० फ़ुट (३,७०० मीटर) की ऊँचाई पर एक पठारी इलाक़ा है जिसे शन्दूर टॉप (Shandur Top) के नाम से बुलाया जाता है। यहाँ शन्दूर झील स्थित है जो पास की हिमानी (ग्लेशियर) से भरती है और गिलगित नदी का स्रोत है।, S. Amjad Hussain, Literacy Circle of Toledo, 1998,...

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और शन्दूर दर्रा · और देखें »

शिमशाल

शिमशाल (Shimshal) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले की गोजाल तहसील में स्थित एक गाँव है। यह ३,१०० मीटर की ऊँचाई पर बसा हुआ है और हुन्ज़ा वादी की सबसे ऊँची बस्ती है। शिमशाल गाँव में वाख़ी भाषा बोलने वाले लगभग २,००० लोग रहते हैं जो शिया धर्म की इस्माइली शाखा के अनुयायी हैं। यहाँ पहुँचना बहुत कठिन हुआ करता था लेकिन अक्टूबर २००३ के बाद पस्सू से यहाँ सड़क बनाकर इसे काराकोरम राजमार्ग से जोड़ दिया गया।, Lindsay Brown, Paul Clammer, Rodney Cocks, John Mock, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और शिमशाल · और देखें »

शिस्पर

शिस्पर (Shispare), जो शिस्पर सर (Batura I) और शिस्पारे सर भी कहलता है, विश्व का 38वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। यह काराकोरम पर्वतमाला की पश्चिमतम उपश्रेणी, बातूरा मुज़ताग़, का एक ऊँचा पहाड़ है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में आता है जिसपर भारत अपनी सम्प्रभुता का दावा करता है। शिस्पर पर्वत बातूरा मुज़ताग़ में एक रीढ़ की तरह ऊँची दीवार-सी प्रतीत होने वाली "बातूरा दिवार" (जो एक-के-बाद-एक पर्वतों की कतार है) से पूर्व में स्थित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और शिस्पर · और देखें »

शिगर ज़िला

शिगर ज़िला, पाकिस्तान के गिल्गित बल्तिस्तान का एक ज़िला है। इसका प्रशासनिक मुख्यालय, शिगर शहर है। यहाँ बोले जाने वाली प्रमुख भाषा स्थानीय बाल्ती और कश्मीरी भाषाएँ हैं, जबकि उर्दू प्रायः हर जगह समझी जाती है। साथ ही अंग्रेज़ी भी अधिकांश शहरी केन्द्रों में समझी जाती है। प्रभुख प्रशासनिक भाषाएँ उर्दू और अंग्रेज़ी है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और शिगर ज़िला · और देखें »

शक्सगाम नदी

शक्सगाम नदी काराकोरम पर्वतों के यहाँ दिख रहे उत्तरपूर्वी क्षेत्र से उत्पन्न होती है शक्सगाम नदी (चीनी: 沙克斯干河, अंग्रेजी: Shaksgam River) सुदूर उत्तरी कश्मीर के काराकोरम पर्वतों से उभरने वाली एक नदी है जो यारकन्द नदी की एक उपनदी भी है। शक्सगाम नदी को केलेचिन नदी और मुज़ताग़ नदी के नामों से भी जाना जाता है। यह काराकोरम शृंखला की गाशेरब्रुम, उरदोक, स्ताग़र, सिन्ग़ी और क्याग़र हिमानियों (ग्लेशियरों) से शुरू होती है और फिर शक्सगाम वादी में काराकोरम शृंखला के साथ-साथ पश्चिमोत्तरी दिशा में चलती है। इसमें शिमशाल ब्रल्दु नदी और फिर ओप्रांग नदी का विलय होता है और इन दोनों संगमों के बीच में शक्सगाम नदी पाकिस्तान और चीन के आपसी समझौते के अनुसार उन दोनों देशों के बीच की अंतरराष्ट्रीय सीमा है। भारत इस बात से पूरा इनकार करता है और इस पूरे क्षेत्र को अपने जम्मू और कश्मीर राज्य का हिस्सा मानता है। सर्दियों में पास के शिमशाल गाँव के लोग इस क्षेत्र का प्रयोग अपने मवेशी चराने के लिए करते हैं और यह तारिम द्रोणी में स्थित इकलौता पाकिस्तान-नियंत्रित इलाक़ा है।, Sharad Singh Negi, Indus Publishing, 1991, ISBN 978-81-85182-61-2,...

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और शक्सगाम नदी · और देखें »

शीना भाषा

शीना एक दार्दी भाषा है जो पाकिस्तान-नियंत्रित गिलगित-बल्तिस्तान और भारत के लद्दाख़ और कश्मीर क्षेत्रों में बोली जाती है। जिन पाकिस्तान-नियंत्रित वादियों में यह बोली जाती है उनमें अस्तोर, चिलास, दरेल, तंगीर, गिलगित, ग़िज़र और बल्तिस्तान और कोहिस्तान के कुछ हिस्से शामिल हैं। जिन भारत-नियंत्रित वादियों में यह बोली जाती हैं उनमें गुरेज़, द्रास, करगिल और लद्दाख़ के कुछ पश्चिमी हिस्से शामिल हैं। अंदाजा लगाया जाता है के १९८१ में इसे कुल मिलकर क़रीब ३,२१,००० लोग बोलते थे। शीना एक सुरभेदी भाषा है जिसमे दो सुर हैं - उठता हुआ और समतल (यानि बिना किसी बदलाव वाला)। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और शीना भाषा · और देखें »

सरिकोली भाषा

शिंजियांग प्रान्त - हल्के नीले इलाक़ों में सरिकोली बोली जाती है सरिकोली भाषा, जिसे ताशक़ूरग़ानी भाषा भी कहते हैं, एक पामीरी भाषा-परिवार की बोली है जो चीन द्वारा नियंत्रित शिनजियांग प्रान्त के ताशक़ुरग़ान​ क्षेत्र में बोली जाती है। यह इलाक़े ताजिकिस्तान, अफ़ग़ानिस्तान के वाख़ान​ गलियारे और पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र के पास स्थित हैं। अन्य पामीरी भाषाओं की तरह यह भी एक पूर्वी ईरानी भाषा है। इसे चीन में अक्सर 'ताजिक भाषा' कहा जाता है हालांकि यह ताजीकिस्तान व अफ़ग़ानिस्तान में बोली जाने वाली ताजिक भाषा के काफ़ी भिन्न है। यह पूर्वी अफ़ग़ानिस्तान की वाख़ी भाषा में मिलती-जुलती है हालांकि इन दोनों भाषाओं के बोलने वाले आसानी से एक-दूसरे को समझ नहीं पाते।Outline of the Tajik language (塔吉克语简志/Tǎjíkèyǔ Jiǎnzhì), Gawarjon (高尔锵/Gāo Ěrqiāng), Nationalities Publishing House, Beijing, 1985 .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और सरिकोली भाषा · और देखें »

साल्तोरो पर्वतमाला

साल्तोरो पर्वतमाला (Saltoro Mountains) या साल्तोरो मुज़ताग़ (Saltoro Muztagh) जम्मू और कश्मीर में स्थित काराकोरम पर्वतमाला की एक उपश्रेणी है। यह काराकोरम के हृदय में सियाचिन हिमानी से दक्षिणपश्चिम में स्थित है, जो पृथ्वी के ध्रुवीय क्षेत्रों के बाहर स्थित सबसे बड़ी दो हिमानियों में से एक है (सबसे बड़ी ताजिकिस्तान की फ़ेदचेन्को हिमानी है)। साल्तोरो पर्वतमाला पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र की सीमा पर स्थित है, जहाँ पर्वतमाला की पश्चिमी तरफ़ साल्तोरो घाटी स्थित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और साल्तोरो पर्वतमाला · और देखें »

सिन्धु नदी

पाकिस्तान में बहती सिन्घु सिन्धु नदी (Indus River) एशिया की सबसे लंबी नदियों में से एक है। यह पाकिस्तान, भारत (जम्मू और कश्मीर) और चीन (पश्चिमी तिब्बत) के माध्यम से बहती है। सिन्धु नदी का उद्गम स्थल, तिब्बत के मानसरोवर के निकट सिन-का-बाब नामक जलधारा माना जाता है। इस नदी की लंबाई प्रायः 2880 किलोमीटर है। यहां से यह नदी तिब्बत और कश्मीर के बीच बहती है। नंगा पर्वत के उत्तरी भाग से घूम कर यह दक्षिण पश्चिम में पाकिस्तान के बीच से गुजरती है और फिर जाकर अरब सागर में मिलती है। इस नदी का ज्यादातर अंश पाकिस्तान में प्रवाहित होता है। यह पाकिस्तान की सबसे लंबी नदी और राष्ट्रीय नदी है। सिंधु की पांच उपनदियां हैं। इनके नाम हैं: वितस्ता, चन्द्रभागा, ईरावती, विपासा एंव शतद्रु.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और सिन्धु नदी · और देखें »

सिआ कांगरी

सिआ कांगरी (Sia Kangri) काराकोरम पर्वतमाला की बाल्तोरो मुज़ताग़ उपश्रेणी का एक ऊँचा पर्वत है जो जम्मू और कश्मीर में भारत-नियंत्रित क्षेत्र, पाक-अधिकृत कश्मीर और चीन-अधिकृत शक्सगाम घाटी के मिलन बिन्दु के पास स्थित है। इसे भारत पूर्णतः अपना इलाका मानता है। यह विश्व का ६३वाँ सर्वोच्च पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और सिआ कांगरी · और देखें »

संगेमरमर सर

संगेमरमर सर (Sangemarmar Sar) काराकोरम पर्वतमाला की पश्चिमतम उपश्रेणी, बातूरा मुज़ताग़, का एक पहाड़ है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में आता है जिसपर भारत अपनी सम्प्रभुता का दावा करता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और संगेमरमर सर · और देखें »

स्कर्दू

250pxस्कर्दू, गिलगित-बल्तिस्तान, पाकिस्तान, का एक प्रमुख शहर और जिला है। स्कर्दू शहर काराकोरम पर्वतमाला के पहाड़ों में घिरा हुआ एक ख़ूबसूरत शहर है। श्रेणी:स्कर्दू ज़िला श्रेणी:गिलगित-बल्तिस्तान श्रेणी:आज़ाद कश्मीर.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और स्कर्दू · और देखें »

स्कर्दू हवाई अड्डा

(IATA: KDU – ICAO: OPSD) स्कर्दू हवाई अड्डा पाकिस्तानी के राज्य गलगत बलतस्तान शहर स्कर्दू में स्थित है। यह एक छोटा सा हवाई अड्डा है। स्कर्दू पाकिस्तान के उत्तरी क्षेत्र का बड़ा केंद्र है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और स्कर्दू हवाई अड्डा · और देखें »

स्कर्दू ज़िला

स्कर्दू ज़िला​ पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र का एक ज़िला है। इसकी राजधानी स्कर्दू नामक शहर ही है, जो बलतिस्तान के सबसे महत्वपूर्ण शहरों में से एक है। दक्षिण में इस ज़िले की सीमाएँ भारत के जम्मू व कश्मीर राज्य के करगिल ज़िले से लगती हैं। उत्तर में इसकी सरहद शक्सगाम वादी से लगती हैं जिसे भारत अपना भाग मानता है लेकिन जिसे पाकिस्तान ने चीन के नियंत्रण में दे दिया है - चीन इस शिनजियांग प्रान्त का भाग मानकर प्रशासित करता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और स्कर्दू ज़िला · और देखें »

स्किल ब्रुम

स्किल ब्रुम (Skil Brum) काराकोरम पर्वतमाला की बाल्तोरो मुज़ताग़ उपश्रेणी का एक ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में के२ से ९ किमी पश्चिम-दक्षिणपश्चिम में स्थित है। भारत के अनुसार यह क्षेत्र उसकी सम्प्रभुता में आता है। यह विश्व का ६६वाँ सर्वोच्च पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और स्किल ब्रुम · और देखें »

स्क्यांग कांगरी

स्क्यांग कांगरी (Skyang Kangri) या सीढ़ी पर्वत (Staircase Peak) काराकोरम पर्वतमाला की बाल्तोरो मुज़ताग़ उपश्रेणी का एक ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन द्वारा अधिकृत शक्सगाम घाटी की सीमा पर के२ से ७ किमी पूर्वोत्तर में स्थित है। भारत के अनुसार यह क्षेत्र उसकी सम्प्रभुता में आता है। इसके पूर्वी मुख पर पाँच भीमकाय सीढ़ीयों वाली चट्टानी स्थलाकृति है जिस से इसे "सीढ़ी पर्वत" भी कहते हैं। यह विश्व का ४४वाँ सर्वोच्च पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और स्क्यांग कांगरी · और देखें »

सॆयद मेहंदी शाह

सॆयद मेहंदी शाह, एक पाकिस्तानी राजनीतिज्ञ व पाकिस्तान के प्रांत गिलगित-बल्तिस्तान के प्रथम मुख्यमंत्री थे। उनका संबंध पाकिस्तान पीपल्स पार्टी से है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और सॆयद मेहंदी शाह · और देखें »

सोस्त

सोस्त या सूस्त या सुस्त (Sost या Sust) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले की गोजाल तहसील का एक गाँव है। काराकोरम राजमार्ग से चीन-नियंत्रित इलाक़े में दाख़िल होते हुए सोस्त अंतिम पाकिस्तानी चौकी है।, Brian H. Jones, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और सोस्त · और देखें »

हरामोश

हरामोश (Haramosh), जो पर्वत 58 (Peak 58) भी कहलाता है, काराकोरम पर्वतमाला का एक पर्वत है जो विश्व का 67वाँ सर्वोच्च पर्वत भी है। यह राकापोशी के समीप स्थित है और काराकोरम की जिस उपश्रेणी में यह दोनों खड़े हैं उसे राकापोशी-हरामोश पर्वतमाला कहा जाता है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में है, जिसे भारत अपने जम्मू और कश्मीर राज्य का भाग मानता है। हरामोश गिलगित शहर से 65 किमी दूर सिन्धु नदी के उत्तरी किनारे पर खड़ा है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और हरामोश · और देखें »

हाफ़िज़ हफ़ीज़ुर्रहमान

हाफ़िज़ हफ़ीज़ुर्रहमान, एक पाकिस्तानी राजनीतिज्ञ व पाकिस्तान के प्रांत गिलगित-बल्तिस्तान के प्रथम मुख्यमंत्री थे। उनका संबंध पाकिस्तान मुस्लिम लीग (नवाज़) से है। वे मूलतः गिलगित शहर के पल्टनी मुहल्ला कशरोट से हैं एवं अपनी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और हाफ़िज़ हफ़ीज़ुर्रहमान · और देखें »

हिस्पर मुज़ताग़

हिस्पर मुज़ताग़ (Hispar Muztagh) काराकोरम पर्वत शृंखला की एक उपशृंखला है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान खंड के गोजल क्षेत्र में स्थित है। इसके उत्तर में शिमशाल घाटी, दक्षिण में हिस्पर हिमानी (ग्लेशियर) और पश्चिम में हुन्ज़ा घाटी है। बाल्तोरो मुज़ताग़ के बाद यह काराकोरम पर्वतों की दूसरी सबसे ऊँची शृंखला है। हिस्पर मुज़ताग़ का सबसे लम्बा पहाड़ ७,८८५ मीटर (२५,८६९ फ़ुट) ऊँचा 'दिस्तग़िल सर' नामक पर्वत है। उइग़ुर भाषा में 'मुज़' (बर्फ़) और 'ताग़' (पर्वत) जोड़कर बने शब्द का अर्थ बर्फ़ीला-पर्वत होता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और हिस्पर मुज़ताग़ · और देखें »

हवेली ज़िला

हवेली ज़िला (अंग्रेज़ी: Haveli District, उर्दु: ضلع حویلی) आज़ाद कश्मीर का एक ज़िला है। पाक-अधिकृत कश्मीर दो भागों में विभाजित है: आज़ाद कश्मीर और गिलगित-बल्तिस्तान। हवेली ज़िला इनमें से आज़ाद कश्मीर नामक हिस्से में आता है। इसका प्रमुख नगर कोटली है। भारत इसे अपना भाग मानता है। सन् २००९ तक हवेली ज़िला बाग़ ज़िले का हिस्सा हुआ करता था लेकिन उस वर्ष इसे विभाजित कर के अलग ज़िला बना दिया गया। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और हवेली ज़िला · और देखें »

हुन्ज़ा

हुन्ज़ा (ہنزہ) पाकिस्तान के उत्तरी क्षेत्र के उत्तरतम भाग में स्थित १९७४ तक एक रजवाड़ा था। इस रजवाड़े के दक्षिण में गलगत एजेंसी, पूर्व में नागर रजवाड़ा, उत्तर में चीनी तुर्किस्तान और उत्तर पश्चिम में अफगानिस्तान है। राज्य की राजधानी बाल्तित है (जिसे करीमाबाद भी कहा जाता है)। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और हुन्ज़ा · और देखें »

हुन्ज़ा नदी

हुन्ज़ा नदी या दरया-ए-हुन्ज़ा (Hunza river) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले का अहम दरिया है। बहुत ज़्यादा मिट्टी और चट्टानी ज़र्रों की आमेज़िश की वजह से ये बहुत गदला है। यह नदी किलिक नाले और ख़ुंजराब नाले नामक दो झरनों के संगम से बनती है और इसमें कई हिमानियाँ (ग्लेशियर) जल देती हैं। आगे इसी में नलतर नाला और गिलगित नदी मिलते हैं। अंत में यह सिन्धु नदी में मिल जाता है। ऐतिहासिक रेशम मार्ग इस दरिया के साथ चलता है। हुन्ज़ा नदी काराकोरम पर्वतों में इतनी पैनी दिवारों वाली तंग घाटी काटकर निकलती है कि कुछ समीक्षकों ने कहा है कि 'लगता है कि चट्टानें चाकू से काटी गई हों'।, Soren Arutyunyan, Electa Napoli, 1994,...

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और हुन्ज़ा नदी · और देखें »

हुन्ज़ा घाटी

हुन्ज़ा में बलतित क़िला हुन्ज़ा घाटी पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले मे स्थित एक घाटी है। यह गिलगित से उत्तर में नगर वादी के समीप रेशम मार्ग पर स्थित है। इसमें कई छोटी छोटी बस्तीयों का जमावड़ा है। सब से बड़ी बस्ती करीमाबाद है, हालांकि इसका मूल नाम "बलतित" था। घाटी से राकापोशी का नज़ारा बहुत सुंदर है। यहाँ के मुख्य व्यवसाय पाकिस्तानी सेना और पर्यटन से सम्बन्धित है। वादी से हुन्ज़ा नदी गुज़रती है। स्थानीय लोग बुरुशस्की बोलते है। बलतित क़िला देखने की जगह है। श्रेणी:गिलगित-बल्तिस्तान की घाटियाँ.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और हुन्ज़ा घाटी · और देखें »

हुन्ज़ा-नगर ज़िला

हुन्ज़ा-नगर ज़िला​ पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र का एक ज़िला है। इसकी राजधानी अलियाबाद शहर है। २०१० तक यह ज़िला गिलगित ज़िले का हिस्सा हुआ करता था। यह हुन्ज़ा रियासत और नगर रियासत नामक दो भूतपूर्व रियासतों को मिलाकर बना है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और हुन्ज़ा-नगर ज़िला · और देखें »

घेंट कांगरी

घेंट कांगरी (Ghent Kangri) या घेंत कांगरी या घेंत १ (Ghent I) जम्मू और कश्मीर में काराकोरम पर्वतमाला की साल्तोरो पर्वतमाला नामक उपश्रेणी में स्थित एक ऊँचा पर्वत है और विश्व का 69वाँ सर्वोच्च पर्वत है। यह सियाचिन हिमानी से ज़रा पश्चिम में स्थित है। इस पर्वत पर वर्तमान में पाकिस्तान का क़ब्ज़ा है लेकिन भारत इस क्षेत्र पर अपनी सम्प्रभुता होने का दावा करता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और घेंट कांगरी · और देखें »

विश्व के सर्वोच्च पर्वतों की सूची

पृथ्वी पर कम-से-कम 109 पर्वत हैं जिनकि ऊँचाई समुद्रतल से 7,200 मीटर (23,622 फ़ुट) से अधिक है। इनमें से अधिकांश भारतीय उपमहाद्वीप और तिब्बत की सीमा पर स्थित हैं, और कुछ मध्य एशिया में हैं। इस सूचि में केवल ऐसे ही शिखर सम्मिलित हैं जिन्हें अकेला खड़ा पर्वत माना जा सकता है, यानि एक ही पर्वत के अलग-अलग शिखरों को नहीं गिना गया है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और विश्व के सर्वोच्च पर्वतों की सूची · और देखें »

विंशाधारी

विंशाधारी (vigesimal) ऐसी संख्या प्रणाली होती है जो २० (बीस) पर आधारित हो, ठीक इसी तरह जैसे दशमलव प्रणाली दस पर आधारित होती है। गिलगित-बल्तिस्तान में बोली जाने वाली बुरुशस्की भाषा इसकी एक उदाहरण है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और विंशाधारी · और देखें »

वेस्म पर्वतमाला

वेस्म पर्वतमाला (Wesm Mountains) काराकोरम पर्वतमाला की एक उपश्रेणी है जो शक्सगाम घाटी के ऊपरी भाग में पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र के समीप स्थित है। यह पर्वतमाला बाल्तोरो मुज़ताग़ के पश्चिमी छोर और पनमाह मुज़ताग़ के पूर्वी छोर से उत्तर में स्थित है। यह क्षेत्र चीन के क़ब्ज़े में है जो इसे शिंजियांग प्रान्त की प्रशासनिक व्यवस्था के तहत वर्गीकृत करता है, लेकिन इस पूरे क्षेत्र को भारत अपने जम्मू और कश्मीर राज्य का अंग मानता है। चीन इस पर्वतमाला को येंगीसोगत (Yengisogat) नाम देता है। इसी क्षेत्र में वेस्म हिमानी (ग्लेशियर) और वेस्म दर्रा स्थित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और वेस्म पर्वतमाला · और देखें »

खपलू

खपलू (बलती: ཁལུ, अंग्रेज़ी: Khaplu), जिसे कभी-कभी खपालू भी कहते हैं, पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के गान्चे ज़िले की प्रशासनिक राजधानी और सबसे महत्वपूर्ण वादी है। यह स्कर्दू शहर से १०३ किमी पूर्व में २५६० मीटर की ऊँचाई पर श्योक नदी के किनारे बसा हुआ है। पुराने ज़माने में यहाँ से व्यापारी मार्ग दक्षिण में लद्दाख़ को जाता था और यह ऐतिहासिक बल्तिस्तान क्षेत्र का दूसरी सबसे बड़ी रियासत हुआ करती थी।, Shridhar Kaul, H. N. Kaul, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और खपलू · और देखें »

ख़रमंग

ख़रमंग ज़िला, पाकिस्तान के गिल्गित-बल्तिस्तान का एक ज़िला है। इसका प्रशासनिक मुख्यालय, तोल्ती शहर है। वर्ष 1998 की जनगणना के अनुसार, इसकी कुल जनसंख्या 20,000 थी। यहाँ बोले जाने वाली प्रमुख भाषाएँ, स्थानीय बाल्ती और कश्मीरी भाषाएँ हैं, जबकि उर्दू प्रायः हर जगह समझी जाती है। साथ ही अंग्रेज़ी भी अधिकांश शहरी केन्द्रों में समझी जाती है। प्रभुख प्रशासनिक भाषाएँ उर्दू और अंग्रेज़ी है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ख़रमंग · और देखें »

ख़ुंजराब दर्रा

खुंजर्ब राष्ट्रीय उद्यान में विलुप्तप्राय प्रजाति का हिम तेंदुआ ख़ुंजराब दर्रा (चीनी भाषा:红其拉甫山口, अंग्रेजी: Khunjerab Pass, उर्दु) (ऊँचाई) काराकोरम पर्वतमाला में स्थित एक दर्रा है। यह पाक अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन द्वारा नियंत्रित शिंजियांग प्रान्त के बीच स्थित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ख़ुंजराब दर्रा · और देखें »

खुनयंग छिश

खुनयंग छिश या कुनयंग किश काराकोरम पर्वत शृंखला की हिस्पर मुज़ताग़ उपशृंखला का दूसरा सबसे ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान खंड के गोजल क्षेत्र में स्थित है। खुनयंग छिश विश्व का २१वाँ सबसे ऊँचा और पाकिस्तानी नियंत्रित क्षेत्रों का ८वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। यह अपने आसपास के क्षेत्र से अचानक ४००० मीटर बढ़ी हुई ऊँचाई के लिये जाना जाता है। यह निकटवर्ती हुन्ज़ा वादी से ५५०० मीटर अधिक ऊँचा है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और खुनयंग छिश · और देखें »

खोवार भाषा

खोवार भाषा (Khowar), जिसे चित्राली भाषा भी कहते हैं, पाकिस्तान के ख़ैबर-पख़्तूनख़्वा प्रांत के चित्राल ज़िले में और गिलगित-बालतिस्तान के कुछ पड़ोसी इलाकों में लगभग ४ लाख लोगों द्वारा बोली जाने वाली एक दार्दी भाषा है। शीना, कश्मीरी और कोहिस्तानी जैसी अन्य दार्दी भाषाओँ के मुक़ाबले में खोवार पर ईरानी भाषाओँ का प्रभाव ज़्यादा है और इसमें संस्कृत के तत्व कम हैं। खोवार बोलने वाले समुदाय को 'खो लोग' कहा जाता है। खोवार आम तौर पर अरबी-फ़ारसी लिपि की नस्तालीक़ शैली में लिखी जाती है।, Colin P. Masica, Cambridge University Press, 1993, ISBN 978-0-521-29944-2 .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और खोवार भाषा · और देखें »

गलगत हवाई अड्डा

गलगत हवाई अड्डा पाकिस्तान के राज्य गलगत बलतस्तान में स्थित एक छोटा सा हुई अड्डा है जो गलगत शहर से लगभग 2.3 किलोमीटर दूर स्थित है। Gilgit Airport .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गलगत हवाई अड्डा · और देखें »

ग़िज़र ज़िला

ग़िज़र ज़िले का नक़्शा जिसमें गाँव-बस्तियाँ दिखाएँ गए हैं ग़िज़र​ पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र का पश्चिमतम ज़िला है। इसकी राजधानी गाहकूच शहर है। यहाँ कई जातियाँ रहती हैं और तीन मुख्य भाषाएँ बोली जाती हैं - खोवार, शीना और बुरूशसकी। इनके अलावा इस ज़िले के इश्कोमन क्षेत्र में कुछ वाख़ी और ताजिक बोलने वाले भी यहाँ रहते हैं। कुछ गुज्जर लोग भी इस जिले में बसे हुए हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ग़िज़र ज़िला · और देखें »

गान्चे ज़िला

गान्चे ज़िला​, जिसे घान्चे ज़िला और घान्छे ज़िला भी उच्चारित किया जाता है, पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र का एक ज़िला है। इसकी राजधानी खपलू है। गान्चे ज़िला गिलगित-बालतिस्तान का पूर्वतम ज़िला है और इसकी पूर्वी सीमा सियाचिन हिमानी से लगती है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गान्चे ज़िला · और देखें »

गाशरब्रुम

गाशरब्रुम (Gasherbrum) हिमालय की काराकोरम पर्वतश्रेणी की बाल्तोरो हिमानी के पूर्वोत्तरी छोर पर स्थित एक पर्वतों का समूह है जो उत्तरी कश्मीर में ३५ अंश ४४ मिनट उत्तरी अक्षांश तथा ७६ अंश ४२ मिनट पूर्वी देशान्तर पर स्थित हैं। यह शक्सगाम घाटी और गिलगित-बल्तिस्तान की सीमा पर स्थित है, जिनपर चीन व पाकिस्तान का नियंत्रण है हालांकि जिन्हें भारत अपना भाग बताता है। इस पुंजक में विश्व के तीन आठ हज़ारी पर्वत हैं, यानि वे जिनकी ऊँचाई 8,000 मीटर से अधिक है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गाशरब्रुम · और देखें »

गाशरब्रुम १

गाशरब्रुम १ (Gasherbrum I), जिसे छुपा पर्वत (Hidden Peak) या के-५ (K5) भी कहते हैं, विश्व का ११वाँ सर्वोच्च पर्वत है। यह काराकोरम के गाशरब्रुम पुंजक में स्थित है। राजनैतिक सीमाओं के अनुसार यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन के कब्ज़े वाली शक्सगाम घाटी की सीमा पर स्थित है। भारत के अनुसार गिलगित-बल्तिस्तान और शक्सगाम घाटी दोनों भारत का भाग हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गाशरब्रुम १ · और देखें »

गाशरब्रुम २

गाशरब्रुम २ (Gasherbrum II), जिसे के-४ (K4) भी कहते हैं, विश्व का १३वाँ सर्वोच्च पर्वत है। यह काराकोरम के गाशरब्रुम पुंजक में स्थित है। राजनैतिक सीमाओं के अनुसार यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन के कब्ज़े वाली शक्सगाम घाटी की सीमा पर स्थित है। भारत के अनुसार गिलगित-बल्तिस्तान और शक्सगाम घाटी दोनों भारत का भाग हैं। गाशरब्रुम २ बाल्तोरो हिमानी (ग्लेशियर) के ऊपर स्थित है। गाशरब्रुम ३ इस से जुड़ा हुआ है और कुछ स्रोत उसे गाशरब्रुम २ का एक उपपर्वत बताते है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गाशरब्रुम २ · और देखें »

गाशरब्रुम ३

गाशरब्रुम ३ (Gasherbrum III) काराकोरम के गाशरब्रुम पुंजक में गाशरब्रुम २ और गाशरब्रुम ४ के बीच में स्थित एक चोटी है। राजनैतिक सीमाओं के अनुसार यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन के कब्ज़े वाली शक्सगाम घाटी की सीमा पर स्थित है। भारत के अनुसार गिलगित-बल्तिस्तान और शक्सगाम घाटी दोनों भारत का भाग हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गाशरब्रुम ३ · और देखें »

गाशरब्रुम ४

गाशरब्रुम ४ (Gasherbrum IV) विश्व का १७वाँ सर्वोच्च पर्वत है। यह काराकोरम के गाशरब्रुम पुंजक में स्थित है। राजनैतिक सीमाओं के अनुसार यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन के कब्ज़े वाली शक्सगाम घाटी की सीमा पर स्थित है। भारत के अनुसार गिलगित-बल्तिस्तान और शक्सगाम घाटी दोनों भारत का भाग हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गाशरब्रुम ४ · और देखें »

गाशरब्रुम ५

गाशरब्रुम ५ (Gasherbrum V) काराकोरम के गाशरब्रुम पुंजक में स्थित एक चोटी है। राजनैतिक सीमाओं के अनुसार यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन के कब्ज़े वाली शक्सगाम घाटी की सीमा पर स्थित है। भारत के अनुसार गिलगित-बल्तिस्तान और शक्सगाम घाटी दोनों भारत का भाग हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गाशरब्रुम ५ · और देखें »

गाशरब्रुम ६

गाशरब्रुम ६ (Gasherbrum VI) काराकोरम के गाशरब्रुम पुंजक में स्थित एक चोटी है। राजनैतिक सीमाओं के अनुसार यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र और चीन के कब्ज़े वाली शक्सगाम घाटी की सीमा पर स्थित है। भारत के अनुसार गिलगित-बल्तिस्तान और शक्सगाम घाटी दोनों भारत का भाग हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गाशरब्रुम ६ · और देखें »

गाहकूच

गाहकूच (Gahkuch) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के ग़िज़र ज़िले की पुनियाल तहसील में स्थित एक बस्ती है। यह ग़िज़र ज़िले की प्रशासनिक राजधानी भी है। गाहकूच गिलगित से ७२ किमी दूर स्थित है। यह इश्कोमन वादी के मुख पर स्थित है लेकिन प्रशासनिक रूप से उस तहसील में नहीं आता।, Association of South Asian Archaeologists in Western Europe - International Conference, Brill, 2000,...

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गाहकूच · और देखें »

गिलगित

कारगाह में बुद्ध की तस्वीर गिलगित (अंग्रेजी: Gilgit, उर्दू) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र की राजधानी और सबसे बड़ा शहर है। गिलगित शहर, गिलगित जिले के अंतर्गत गिलगित की एक तहसील है। इसका प्राचीन नाम सर्गिन था जो बाद में गिलित हो गया। स्थानीय लोगों आज भी इसे गिलित या सर्गिन-गिलित पुकारते हैं। बुरुशस्की भाषा में, इसे गील्त और वाख़ी और खोवार में इसे गिल्त कहा जाता है। प्राचीन संस्कृत साहित्य में इसे घल्लाता नाम से जाना जाता है। स्कर्दू के साथ साथ गिलगित शहर काराकोरम और हिमालय की अन्य पर्वतमालाओं के पर्वतारोही अभियानों के लिए उत्तरी क्षेत्रों के दो प्रमुख केन्द्रों में से एक है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गिलगित · और देखें »

गिलगित नदी

गिलगित नदी (दरिया-ए-गिलगित), जो ग़िज़र नदी भी कहलाती है, पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र में बहने वाली एक नदी है। यह सिन्धु नदी की एक उपनदी है। गिलगित शहर इसी नदी के किनारे बसा हुआ है। गिलगित नदी १२,२०० फ़ुट (३,७०० मीटर) की ऊँचाई पर स्थित शन्दूर झील से शुरु होती है और आगे चलकर इसमें पहले दाई तरफ़ से ग़िज़र नदी और फिर बाई तरफ़ से हुन्ज़ा नदी मिलती है।, S.S. Negi, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गिलगित नदी · और देखें »

गिलगित ज़िला

गिलगित ज़िला​ पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र का एक ज़िला है। इसकी राजधानी गिलगित शहर है। २०१० तक हुन्ज़ा-नगर ज़िला भी गिलगित ज़िले का हिस्सा हुआ करता था। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गिलगित ज़िला · और देखें »

गिलगित वादी

गिलगित वादी (Gilgit Valley) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र में गिलगित नदी की घाटी है। गिलगित का शहर इसी वादी में स्थित है। यह वादी शन्दूर दर्रे द्वारा पड़ोसी ख़ैबर-पख़्तूनख़्वा प्रान्त से जुड़ी हुई है। यह वादी लगभग ४,८०० फ़ुट की औसत ऊँचाई पर स्थित है।, Yasmeen Niaz Mohiuddin, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गिलगित वादी · और देखें »

गिलगित-बल्तिस्तान के मुख्यमंत्री

गिलगित-बल्तिस्तान के मुख्यमंत्री, पाकिस्तान के प्रांत गिलगित-बल्तिस्तान की प्रांतीय सरकार का प्रमुख होता है। उनका चयन गिलगित-बल्तिस्तान विधानसभा करती है। पाकिस्तान पाकिस्तान की प्रशासन व्यवस्था वेस्टमिंस्टर प्रणाली पर आधारित है अतः राज्य के राज्यपाल, जिन्हें कथास्वरूप राज्य का प्रमुख होने का सौभाग्य प्राप्त है, को केवल पारंपरिक एवं नाममात्र की संवैधानिक अधिकार है जबकि आसल कार्यप्रणाली मुख्यमंत्री के नियंत्रण में होती है।जीबी के मौजूदा मुख्यमंत्री सैयद मेहदी शाह हैं जिनका संबंध पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी से है। वह 12 दिसंबर 2009 को मुख्यमंत्री पद पर आसीन हुए थे। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गिलगित-बल्तिस्तान के मुख्यमंत्री · और देखें »

गिलगित-बल्तिस्तान के राज्यपाल

गिलगित-बल्तिस्तान के राज्यपाल पाकिस्तान के प्रांत, गिलगित-बल्तिस्तान की प्रांतीय सरकार का प्रमुख होते हैं। इनकी नियुक्ति राष्ट्रपति पाकिस्तान, प्रधानमंत्री की परामर्श पर करते हैं और, पाकिस्तान के अन्य प्रांतीय राज्यपाल पदों के समान ही, आमतौर पर यह भी एक औपचारिक पद है, यानी राज्यपाल पास बहुत अधिक अधिकार नहीं होते हैं। बहरहाल, पाकिस्तान के इतिहास में कई बार ऐसे अवसर आए हैं जब प्रांतीय गवर्नरों को अतिरिक्त व पूर्ण कार्याधिकार मिला है, खासकर इस मामले में जब प्रांतीय विधायिका भंग कर दी गई हो, या जम सैन्य शासन लागू किया गया हो तो। गिलगित-बल्तिस्तान में राज्यपाल की नियुक्ति, 16 सितंबर 2009 में प्रदेश की प्रांत-पद प्राप्ति के बाद से की जाती है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गिलगित-बल्तिस्तान के राज्यपाल · और देखें »

गुरेज़

गुरेज़ या गुरेइस, जिसे स्थानीय शीना भाषा में गोराई कहते हैं, भारत के जम्मू व कश्मीर राज्य के बांडीपूर ज़िले में स्थित एक शहर है। लगभग ८,००० फ़ुट की ऊँचाई पर बसा यह शहर बर्फ़-ढकी पहाड़ियों से घिरा हुआ है। यह उत्तरी कश्मीर का भाग है और यहाँ बसने वाले लोग कश्मीरी भाषा बोलने की बजाय शीना भाषा बोलते हैं जो कश्मीरी की तरह एक अन्य दार्दी भाषा है।, Mohan Lal, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गुरेज़ · और देखें »

गुलमित

गुलमित (Gulmit) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले की गोजाल तहसील में स्थित एक बस्ती है जो उस तहसील की राजधानी भी है। यह २,४०८ मीटर (७,५०० फ़ुट) की ऊँचाई पर काराकोरम पर्वतमाला में बसा हुआ है। गुलमित में वाख़ी भाषा बोलने वाले लगभग २,५०० लोग रहते हैं जो शिया धर्म की इस्माइली शाखा के अनुयायी हैं। वाख़ी में 'गुलमित' का मतलब 'गुलों (फूलों) की वादी' है। यह बस्ती हुन्ज़ा नदी के किनारे स्थित है।, Iqbal M. Shafi, Wajidalis, 1988, ISBN 9789698031145,...

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गुलमित · और देखें »

गोरीकोट वादी

गोरीकोट (Gorikot), जिसे स्थानीय लोग गुए (Gué) भी बुलाते हैं, पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के अस्तोर ज़िले की सबसे बड़ी घाटी है और उस ज़िले का प्रशासनिक मुख्यालय भी है। यह नंगा परबत जाने वाले मार्ग और प्रसिद्द देओसाई मैदान जाने वाले मार्ग के चौराहे पर स्थित है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गोरीकोट वादी · और देखें »

गोजाल

गोजाल (Gojal) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले की एक तहसील है। क्षेत्रफल के हिसाब से यह गिलगित-बलतिस्तान की सबसे बड़ी तहसील भी है। गोजाल में कई बड़ी व छोटी वादियाँ हैं जो दक्षिण में हुन्ज़ा क्षेत्र से, पश्चिमोत्तर में अफ़ग़ानिस्तान के वाख़ान गलियारे से और पूर्वोत्तर में चीन द्वारा नियंत्रित शिंजियांग क्षेत्र से लगती हैं। शिमशाल, मिस्गर और चिपुरसान की वादियों को छोड़कर गोजाल तहसील के बाक़ी सभी गाँव ख़ुंजराब दर्रे से उतरने के बाद काराकोरम राजमार्ग से देखे जा सकते हैं। गोजाल के अधिकतर लोग वाख़ी भाषा बोलते हैं।, Lindsay Brown, Paul Clammer, Rodney Cocks, John Mock, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और गोजाल · और देखें »

ऑपरेशन मेघदूत

वास्तविक जमीनी स्थिति रेखा के साथ दिखाया पीले रंग की बिंदीदार ऑपरेशन मेघदूत, भारत के जम्मू कश्मीर राज्य में सियाचिन ग्लेशियर पर कब्जे के लिए भारतीय सशस्त्र बलों के ऑपरेशन के लिए कोड-नाम था, जो सियाचिन संघर्ष से जुड़ा था। 13 अप्रैल 1984 को शुरू किया गया यह सैन्य अभियान अनोखा था क्योंकि दुनिया की सबसे ऊंचाई पर स्थित युद्धक्षेत्र में पहली बार हमला शुरू किया गया था। सेना की कार्रवाई के परिणामस्वरूप भारतीय सेना ने पूरे सियाचिन ग्लेशियर पर नियंत्रण प्राप्त कर किया था। आज, भारतीय सेना की तैनाती के स्थान को वास्तविक ग्राउंड पॉजिशन लाइन (एजीपीएल) के रूप में जाना जाता है, कभी-कभी गलत तरीके से ऑपरेशन मेघदूत भी कहा जाता है। भारतीय सेना और पाकिस्तानी सेना प्रत्येक के दस पैदल सेना बटालियन, 6,400 मीटर (21,000 फीट) तक ऊंचाई पर सक्रिय रूप से तैनात किए जाते हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ऑपरेशन मेघदूत · और देखें »

ओवैस अहमद गनी

पाकिस्तानी राजनेता और पाकिस्तान के प्रांत, बलोचिस्तान एवं गिलगित-बल्तिस्तान के पूर्व राज्यपाल। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और ओवैस अहमद गनी · और देखें »

आज़ाद कश्मीर

आज़ाद जम्मू व कश्मीर का नक़्शा आज़ाद कश्मीर का झण्डा आज़ाद कश्मीर (उर्दू), आधिकारिक रूप से आज़ाद जम्मू और कश्मीर पाकिस्तान के प्रशासनिक प्रभागों में से एक है। यह पाकिस्तान-प्रशासित कश्मीर का एक हिस्सा है और पाक-प्रशासित कश्मीर को दो हिस्सों में बांटा गया है, पहला हिस्सा यह आज़ाद जम्मू-ओ-कश्मीर हैऔर दूसरा हिस्सा गिलगित-बल्तिस्तान है। गिलगित-बल्तिस्तान रहित आज़ाद कश्मीर का इलाक़ा 13,300 वर्ग किलोमीटर (5,135 वर्ग मील) पर फैला है और इसकी आबादी अंदाज़न 40 लाख है। आज़ाद कश्मीर की राजधानी मुज़फ़्फ़राबाद है और इसमें 8 ज़िले, 19 तहसीलें और 182 संघीय काउन्सिलें हैं। आज़ाद कश्मीर के मीरपुर डवीज़न में भिम्बेर ज़िला, कोटली ज़िला और मीरपुर ज़िला, मुज़फ़्फ़राबाद डवीज़न में बाग़ ज़िला, मुज़फ़्फ़राबाद ज़िला और नीलम ज़िला जबकि पुंछ रावलाकोट डवीज़न में पूंछ ज़िला, रावला कोट और सुधनोती ज़िला शामिल हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और आज़ाद कश्मीर · और देखें »

इर्शाद दर्रा

इर्शाद दर्रा (Irshad Pass) या कोतल-ए-इर्शाद ओवीन काराकोरम पर्वतों का एक पहाड़ी दर्रा है जो पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले की गोजाल तहसील में स्थित चिपोरसुन वादी को अफ़ग़ानिस्तान के वाख़ान गलियारे से जोड़ता है।, H. W. Tilman, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और इर्शाद दर्रा · और देखें »

इश्कोमन

इश्कोमन या इश्कुमन (Ishkoman) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के ग़िज़र ज़िले की एक घाटी है। प्रशासनिक दृष्टि से यह ग़िज़र ज़िले की एक तहसील है।, Amir Jan Haqqani, 11 मार्च 2012, Pamir Times,...

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और इश्कोमन · और देखें »

इंदिरा कोल

इंदिरा कोल (Indira Col) काराकोरम पर्वतमाला की सियाचिन मुज़ताग़ उपश्रेणी के इंदिरा कटक (इंदिरा रिज) में स्थित एक कोल (यानि कटक में बना हुआ पहाड़ी दर्रा) है। यह सिआ कांगरी से 3 किमी पश्चिम में है, जो भारत, पाकिस्तान व चीन द्वारा नियंत्रित क्षेत्रों के त्रिबिन्दु पर स्थित है। इंदिरा कोल दक्षिण में सियाचिन हिमानी (ग्लेशियर) और उत्तर में उरदोक हिमानी के बीच का सबसे निचला स्थान है, और सिन्धु नदी घाटी तथा तारिम द्रोणी के बीच के जलसम्भर में स्थित है। यहाँ से आसानी से उरदोक हिमानी पर उतरा नहीं जा सकता क्योंकि वह ढलान बहुत तीखी है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और इंदिरा कोल · और देखें »

कनजुत सर

कनजुत सर काराकोरम पर्वत शृंखला की हिस्पर मुज़ताग़ उपशृंखला का दूसरा सबसे ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में स्थित है। कनजुत सर विश्व का २६वाँ सबसे ऊँचा और पाकिस्तानी नियंत्रित क्षेत्रों का ११वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और कनजुत सर · और देखें »

करम अली शाह

करम अली शाह() पाकिस्तानी नेता और पाकिस्तानी प्रांत गिलगित-बल्तिस्तान के वर्तमान राज्यपाल हैं। पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने 26 जनवरी 2011 को उन्हें बतौर राज्यपाल तैनात किया। वे पाकिस्तान पीपल्स पार्टी से संबंधित हैं। वे 27 जनवरी 2011-15 फरवरी 2015 तक राज्यपाल के रूप में तैनात रहे। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और करम अली शाह · और देखें »

कश्मीर हिमालय

कश्मीर हिमालय, जिन्हें पंजाब हिमालय या पश्चिमी हिमालय भी कहा जाता है, हिमालय पर्वत श्रंखला के चार क्षैतिज विभाजनों में से एक है। सिंधु नदी से सतलुज नदी के बीच फैली लगभग ५६० किलोमीटर लम्बी हिमालय श्रंखला को ही कश्मीर हिमालय कहा जाता है। कश्मीर, जम्मू तथा हिमाचल में स्थित इस पर्वत श्रंखला के पूर्व में कुमाऊँ हिमालय स्थित हैं। ज़ंस्कार और पीर पंजाल कश्मीर हिमालय की प्रमुख पर्वतमालाएं हैं। नंगा परबत यहाँ की सबसे ऊँची चोटी है। सिंधु नदी की पाँचों प्रमुख सहयोगी नदियों (झेलम, चेनाब, रावी, व्यास, तथा सतलुज) का उद्गम कश्मीर हिमालय में ही होता है। हिमचाल प्रदेश में स्थित डलहौजी यहाँ का एक प्रसिद्ध हिल स्टेशन है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और कश्मीर हिमालय · और देखें »

काराकोरम

काराकोरम एक विशाल पर्वत श्रृंखला है जिसका विस्तार पाकिस्तान, भारत और चीन के क्रमश: गिलगित-बल्तिस्तान, लद्दाख़ और शिन्जियांग क्षेत्रों तक है। यह एशिया की विशाल पर्वतमालाओं में से एक है और हिमालय पर्वतमाला का एक हिस्सा है। काराकोरम किर्गिज़ भाषा का शब्द है जिस का मतलब है 'काली भुरभुरी मिट्टी'। विश्व के किसी भी स्थान की अपेक्षा, काराकोरम पर्वतमाला में पाँच मील से भी ऊँची सबसे अधिक चोटियों स्थित हैं (60 से ज़्यादा), जिनमें दुनिया की दूसरी सबसे ऊँची चोटी के2, (8611 मी / 28251 फुट) भी शामिल है। के2 की ऊँचाई विश्व के सर्वोच्च शिखर एवरेस्ट पर्वत (8848 मी / 29029 फुट) से सिर्फ 237 मीटर (778 फीट) कम है। काराकोरम श्रृंखला का विस्तार 500 किमी (311 मील) तक है और ध्रुवीय क्षेत्रों को छोड़कर दुनिया के सबसे अधिक हिमनद इसी इलाके में हैं। ध्रुवीय क्षेत्रों से बाहर सियाचिन ग्लेशियर 70 किमी और बिआफो ग्लेशियर 63 किमी की लंबाई के साथ दुनिया के दूसरे और तीसरे सबसे लंबे हिमनद हैं। काराकोरम, पूर्वोत्तर में तिब्बती पठार के किनारे और उत्तर में पामीर पर्वतों से घिरा है। काराकोरम की दक्षिणी सीमा, पश्चिम से पूर्व, गिलगित, सिंधु और श्योक नदियों से बनती है, जो इसे पश्चिमोत्तर हिमालय श्रृंखला के अंतिम किनारे से अलग कर दक्षिणपश्चिम दिशा में पाकिस्तान के मैदानी इलाकों की ओर बहती हैं। काराकोरम श्रृंखला का सब से ऊंचा पहाड़ के टू .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और काराकोरम · और देखें »

काराकोरम राजमार्ग

काराकोरम राजमार्ग काराकोरम राजमार्ग (अंग्रेजी: Karakoram Highway या KKH; उर्दू:, शाहराह-ए-काराकोरम'; चीनी: 喀喇昆仑 公路, के ला कून लुन गोन्ग लु) दुनिया की सबसे अधिक ऊँचाई पर स्थित एक पक्की अंतरराष्ट्रीय सड़क है। यह काराकोरम पर्वत श्रृंखला से होकर गुज़रता है तथा चीन और पाकिस्तान को ख़ुंजराब दर्रे के माध्यम से आपस में जोड़ता है। यहाँ इसकी ऊँचाई समुद्र तल से 4693 मी (15397 फुट) है और इसकी पुष्टि एसआरटीएम और जीपीएस के एकाधिक पाठ्यांकों द्वारा होती है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बाल्तिस्तान के साथ चीन के शिंजियांग क्षेत्र को जोड़ता है। इसके साथ ही यह एक लोकप्रिय पर्यटक आकर्षण भी है। काराकोरम राजमार्ग को आधिकारिक तौर पर पाकिस्तान में N-35 और चीन में चीन का राष्ट्रीय राजमार्ग 314 (G314) के नाम से जाना जाता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और काराकोरम राजमार्ग · और देखें »

किशनगंगा नदी

किशनगंगा नदी कश्मीर क्षेत्र की एक नदी है। इसका नाम पाकिस्तान में बदलकर नीलम नदी कर दिया गया है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और किशनगंगा नदी · और देखें »

के२

के२ (K2, के-टू) विश्व का दूसरा सबसे ऊँचा पर्वत है। यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र चीन द्वारा नियंत्रित शिनजिआंग प्रदेश की सीमा पर काराकोरम पर्वतमाला की बाल्तोरो मुज़ताग़ उपश्रृंखला में स्थित है। 8,611 मीटर (28,251 फ़ुट) की ऊँचाई वाली यह चोटी माउंट एवरेस्ट के बाद पृथ्वी की दूसरी उच्चतम पर्वत चोटी है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और के२ · और देखें »

के६ पर्वत

के६ पर्वत (K6 mountain), जो बल्तिस्तान पर्वत (Baltistan Peak) भी कहलाता है, काराकोरम पर्वतमाला की माशरब्रुम पर्वतमाला नामक उपश्रेणी का एक ऊँचा पर्वत है। यह 7,282 मीटर (23,891 फ़ुट) ऊँचा पहाड़ विश्व का 89वाँ सर्वोच्च पर्वत भी है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में है, जिसे भारत अपने जम्मू और कश्मीर राज्य का अंग मानता है। यह हूशे घाटी के एक छोर पर खड़ा है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और के६ पर्वत · और देखें »

कोटली ज़िला

कोटली ज़िला (अंग्रेज़ी: Kotli District, उर्दु) आज़ाद कश्मीर का एक ज़िला है। पाकिस्तान ने पाक-अधिकृत कश्मीर को दो भागों में विभाजित करा है: आज़ाद कश्मीर और गिलगित-बल्तिस्तान। कोटली ज़िला इनमें से आज़ाद कश्मीर नामक हिस्से में आता है। इसका प्रमुख नगर कोटली है। भारत इसे अपना भाग मानता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और कोटली ज़िला · और देखें »

कोयो ज़ुम

कोयो ज़ुम या कोयो ज़ोम काराकोरम और हिन्दू कुश के बीच में स्थित हिन्दू राज पर्वत शृंखला का सबसे ऊँचा पर्वत है। यह पाकिस्तान के ख़ैबर-पख़्तूनख़्वा प्रान्त और पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र की सरहद पर खड़ा है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और कोयो ज़ुम · और देखें »

अलियाबाद

अलियाबाद (Aliabad) पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र के हुन्ज़ा-नगर ज़िले की राजधानी और प्रमुख आर्थिक केन्द्र है। यह हुन्ज़ा नदी की घाटी में उसी नदी की दो शाखाओं के बीच बसा हुआ है। मई २०१० में सरकारी अफ़सरों ने चेतावनी जारी करी की यह शहर पास की अत्ताबाद झील द्वारा डुबोए जाने के ख़तरे में है। पाकिस्तान को चीन से जोड़ने वाला काराकोरम राजमार्ग अलियाबाद से गुज़रकर निकलता है। स्थानीय लोग बुरुशस्की भाषा बोलते हैं और यहाँ उसकी एक विशेष उपभाषा प्रचलित है।, pp.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और अलियाबाद · और देखें »

अस्तोर

अस्तोर पाकिस्तानीगिलगित-बाल्तिस्तान क्षेत्र से सम्बंधित नाम है। इस नाम का प्रयोग इन विषयों के लिए होता है -.

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और अस्तोर · और देखें »

अस्तोर ज़िला

अस्तोर ज़िला​ पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बलतिस्तान क्षेत्र का एक ज़िला है। इसकी राजधानी गोरीकोट है। इस ज़िले का क्षेत्र पहले दिआमेर ज़िले का भाग हुआ करता था लेकिन २००४ में उस ज़िले को विभाजित करके इसे एक अलग ज़िले का दर्जा मिला। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और अस्तोर ज़िला · और देखें »

अस्तोर घाटी

अस्तोर घाटी से पास के एक ५,४०० फ़ुट के एक पर्वत का दृश्य अस्तोर घाटी पाकिस्तान द्वारा नियंत्रित गिलगित-बाल्तिस्तान क्षेत्र के अस्तोर ज़िले में २,६०० मीटर (८,५०० फ़ुट) की ऊँचाई पर स्थित है। भारत के नज़रिए से इसे पाकिस्तान-अधिकृत कश्मीर में माना जाता है। अस्तोर घाटी नंगा परबत की पूर्व की ओर पड़ती है। यह १२० किमी लम्बी है और इसका क्षेत्रफल लगभग ५,०९२ वर्ग किमी (१,९६६ वर्ग मील) है। इसकी मुख्य वादी से चार छोटी वादियाँ उपशाखाएँ बनकर निकलती हैं। पूरी अस्तोर वादी के दायरे में लगभग १०० गाँव बसे हुए हैं जिनमें १९९८ में ७१,६६६ लोगों की आबादी थी। अस्तोर घाटी में दाख़िल होने का सब से सरल रास्ता गिलगित शहर से आता है। अस्तोर घाटी गिलगित से क़रीब ६० किमी दक्षिण-पूर्व में पड़ती है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और अस्तोर घाटी · और देखें »

अक्टूबर २०१५ हिन्दू कुश भूकंप

२६ अक्टूबर २०१५ को, १४:४५ पर (०९:०९ यूटीसी), हिंदू कुश के क्षेत्र में, एक 7.5 परिमाण के भूकंप ने दक्षिण एशिया को प्रभावित किया। मुख्य भूकंप के 40 मिनट बाद 4.8 परिमाण के पश्चात्वर्ती आघात ने फिर से प्रभावित किया; 4.1 परिमाण या उससे अधिक के तेरह और अधिक झटकों ने 29 अक्टूबर की सुबह को प्रभावित किया। मुख्य भूकंप 210 किलोमीटर की गहराई पर हुआ। 5 नवम्बर तक, यह अनुमान लगाया गया था कि कम से कम 398 लोगों की मौत हो गयी हैं, ज्यादातर पाकिस्तान में। http://abcnews.go.com/International/wireStory/latest-strong-afghan-earthquake-felt-south-asia-34730075 भूकंप के झटके अफगानिस्तान, पाकिस्तान, भारत, ताजिकिस्तान, और किर्गिस्तान में महसूस किए गए। भूकंप के झटके भारतीय शहरों नई दिल्ली, श्रीनगर, अमृतसर, चंडीगढ़ लखनऊ आदि और चीन के जनपदों झिंजियांग, आक़्सू, ख़ोतान तक महसूस किए गए जिनकी सूचना अफगानिस्तान की राजधानी काबुल में भी दिया गया। कंपन नेपालियों की राजधानी काठमांडू में भी महसूस किया गया, जहां लोगों ने शुरू में सोचा कि यह अप्रैल 2015 में आए भूकंप के कई मायनों आवर्ती झटकों में से एक था। दैनिक पाकिस्तानी "द नेशन" ने सूचित किया कि यह भूकंप पाकिस्तान में 210 किलोमीटर पर होने वाला सबसे बड़ा भूकंप है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और अक्टूबर २०१५ हिन्दू कुश भूकंप · और देखें »

उल्तर सर

उल्तर सर (Ultar Sar) या विश्व का 70वाँ सबसे ऊँचा पर्वत है। यह काराकोरम पर्वतमाला की पश्चिमतम उपश्रेणी, बातूरा मुज़ताग़, का एक ऊँचा पहाड़ है। प्रशासनिक रूप से यह पाक-अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र में आता है जिसपर भारत अपनी सम्प्रभुता का दावा करता है। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और उल्तर सर · और देखें »

2014 भारत - पाकिस्तान बाढ़

सितम्बर 2014 में, मूसलाधार मानसूनी वर्षा के कारण भारतीय राज्य जम्मू और कश्मीर ने अर्ध शताब्दी की सबसे भयानक बाढ़ आई। यह केवल जम्मू और कश्मीर तक ही सीमित नहीं थी अपितु पाकिस्तान नियंत्रण वाले आज़ाद कश्मीर, गिलगित-बल्तिस्तान व पंजाब प्रान्तों में भी इसका व्यापक असर दिखा। 8 सितम्बर 2014 तक, भारत में लगभग 200 लोगों तथा पाकिस्तान में 190 लोगों की मृत्यु हो चुकी है। भारत के गृह मंत्रालय के अनुसार 450 गाँव जल समाधि ले चुके हैं। .

नई!!: गिलगित-बल्तिस्तान और 2014 भारत - पाकिस्तान बाढ़ · और देखें »

यहां पुनर्निर्देश करता है:

गलगत - बलतसतान, गलगत बलतस्तान, गिलगित बलतिस्तान, गिलगित बल्तिस्तान, गिलगित-बलतिस्तान, गिलगित-बल्तिस्तान क्षेत्र, गिलगित-बालतिस्तान, गिलगित-बाल्तिस्तान, गिलगित-बाल्टिस्तान, गिल्गित बल्तिस्तान, गिल्गित-बल्तिस्तान, उत्तरी क्षेत्र (पाकिस्तान), उत्तरी क्षेत्र, पाकिस्तान, उत्तरी क्षेत्रों, पाकिस्ता

निवर्तमानआने वाली
अरे! अब हम फेसबुक पर हैं! »