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अभिज्ञानशाकुन्तलम् और मारिज विण्टरनित्ज

शॉर्टकट: मतभेद, समानता, समानता गुणांक, संदर्भ

अभिज्ञानशाकुन्तलम् और मारिज विण्टरनित्ज के बीच अंतर

अभिज्ञानशाकुन्तलम् vs. मारिज विण्टरनित्ज

शकुंतला राजा रवि वर्मा की कृति. दुष्यन्त को पत्र लिखती शकुंतलाराजा रवि वर्मा की कृति. हताश शकुंतलाराजा रवि वर्मा की कृति. अभिज्ञान शाकुन्तलम् महाकवि कालिदास का विश्वविख्यात नाटक है ‌जिसका अनुवाद प्राय: सभी विदेशी भाषाओं में हो चुका है। इसमें राजा दुष्यन्त तथा शकुन्तला के प्रणय, विवाह, विरह, प्रत्याख्यान तथा पुनर्मिलन की एक सुन्दर कहानी है। पौराणिक कथा में दुष्यन्त को आकाशवाणी द्वारा बोध होता है पर इस नाटक में कवि ने मुद्रिका द्वारा इसका बोध कराया है। इसकी नाटकीयता, इसके सुन्दर कथोपकथन, इसकी काव्य-सौंदर्य से भरी उपमाएँ और स्थान-स्थान पर प्रयुक्त हुई समयोचित सूक्तियाँ; और इन सबसे बढ़कर विविध प्रसंगों की ध्वन्यात्मकता इतनी अद्भुत है कि इन दृष्टियों से देखने पर संस्कृत के भी अन्य नाटक अभिज्ञान शाकुन्तल से टक्कर नहीं ले सकते; फिर अन्य भाषाओं का तो कहना ही क्या ! तो यहीं सबसे ज्यादा अच्छा है। . मारिज विण्टरनित्ज (Moriz Winternitz; 23 दिसम्बर 1863 – 9 जनवरी 1937) आस्ट्रिया के गणमान्य पौर्वात्यविद (Orientalist) थे। उन्होने आक्सफोर्ड विश्वविद्यालय में मैक्समूलर के साथ मिलकर भारत विद्या से सम्बन्धित कार्य आरम्भ किया। १९०८ से १९२२ के बीच उन्होने 'Geschichte der indischen Literatur' नामक संस्कृत साहित्य का इतिहास लिखा। उनके योगदान से ही आधुनिक युग में हिन्दू, बौद्ध और जैन धर्म से सम्बन्धित अध्ययन के क्षेत्र में क्रान्ति आ गयी। .

अभिज्ञानशाकुन्तलम् और मारिज विण्टरनित्ज के बीच समानता

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संदर्भ

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