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लैंकाशिर

सूची लैंकाशिर

लैंकाशिर लैंकाशिर (Lancashire) इग्लैंड के उत्तर-पश्चिमी किनारे पर स्थित काउंटी है, जिसका क्षेत्रफल 1,866 वर्ग मील है। यह पश्चिम में आइरिश सागर से, पूर्व में यॉर्कशिर से, दक्षिण में चेशिर (Cheshire) काउंटी से तथा उत्तर में कंबरलैंड एवं वेस्टमरलैंड (Westmorland) काउंटी से घिरा हुआ है। इस काउंटी की तटरेखा अनियमित है। यहाँ के मुख्य प्रवेशद्वार मोरकैम बे (Morecambe Bay) और मर्ज़ि (Mersey) एवं रिब्ल (Ribble) नदियों के ज्वारनदमुख हैं। काउंटी का उत्तरी तथा पश्चिमी भाग पहाड़ी है। लंकाशिर के कोयले का क्षेत्र मर्ज़ि तथा रिब्ल नदियों के मध्य के भूभाग में 400 वर्ग मील में फैला हुआ है। जहाज निर्माण करने के लिए प्रसिद्ध फर्नेंस (Furness) क्षेत्र में पर्याप्त लोहा मिलता है। लैंकाशिर सूती वस्त्र के लिए विश्वविख्यात है तथा अन्य प्रकार के भी वस्त्र यहाँ बनते हैं। यहाँ सभी प्रकार की मशीनों का भी निर्माण होता है। यहाँ सभी प्रकार की मशीनों का भी निर्माण होता है। स्लेट तथा फर्शबंदी के लिए पत्थरों का खनन यहाँ की खानों में होता है। कांउटी के प्रशासनिक नगर का नाम भी लैंकाशिर है, जहाँ नॉर्मन काल का ऐतिहासिक किला है। लैंकाशिर काउंटी में साबुन, मोमबत्ती, क्षार तथा काँच निर्माण करने के कारखाने हैं। दक्षिणी लैकाशिर में सूती वस्त्र उत्पादन करनेवाला प्रमुख जिला मैंचेस्टर है, जो संसार में सबसे, घना बसा हुआ क्षेत्र है। 14वीं शताब्दी में ऊनी तथा लिनेन वस्त्रों की बुनाई प्रारंभ होने पर, मैंचेस्टर का विकास प्रारंभ हुआ और 18वीं शताब्दी के मध्य में सूती वस्त्र के उद्योग का विकास आरंभ हुआ। इंग्लैड का दूसरा बंदरगाह तथा लिवरपूल में प्रथम डॉक 1700 ई. में खुला। यह डॉक मर्ज़ि नदी के साथ साथ सात मील तक चला गया है। लंदन के बाद लैकाशिर इंग्लैंड की सबसे घनी बसी हुई काउंटी है। श्रेणी:यूके.

3 संबंधों: लिवरपूल, लोहा, जलयान

लिवरपूल

लिवरपूल का एक दृश्य। लिवरपूल मर्सीसाइड,इंग्लैंड में एक नगर का नाम है। यह जहाज़ कारखानों और विश्व प्रसिद्द पॉप ग्रुप द बिटल्स के लिये प्रसिद्द है। यह अपनी फुटबाल टीमों लिवरपूल एफ़.सी. और एवरटन एफ.सी. के लिये भी जाना जाता है। .

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लोहा

एलेक्ट्रोलाइटिक लोहा तथा उसका एक घन सेमी का टुकड़ा लोहा या लोह (Iron) आवर्त सारणी के आठवें समूह का पहला तत्व है। धरती के गर्भ में और बाहर मिलाकर यह सर्वाधिक प्राप्य तत्व है (भार के अनुसार)। धरती के गर्भ में यह चौथा सबसे अधिक पाया जाने वाला तत्व है। इसके चार स्थायी समस्थानिक मिलते हैं, जिनकी द्रव्यमान संख्या 54, 56, 57 और 58 है। लोह के चार रेडियोऐक्टिव समस्थानिक (द्रव्यमान संख्या 52, 53, 55 और 59) भी ज्ञात हैं, जो कृत्रिम रीति से बनाए गए हैं। लोहे का लैटिन नाम:- फेरस .

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जलयान

न्यूयॉर्क पत्तन पर इटली का जलयान ''' अमेरिगो वेस्पुक्की''' (१९७६) जलयान या पानी का जहाज (ship), पानी पर तैरते हुए गति करने में सक्षम एक बहुत बडा डिब्बा होता है। जलयान, नाव (बोट) से इस मामले में भिन्न भिन्न है कि जलयान, नाव की तुलना में बहुत बडे होते हैं। जलयान झीलों, समुद्रों एवं नदियों में चलते हैं। इन्हें अनेक प्रकार से उपयोग में लाया जाता है; जैसे - लोगों को लाने-लेजाने के लिये, सामान ढोने के लिये, मछली पकडने के लिये, मनोरंजन के लिये, तटों की देखरेख एवं सुरक्षा के लिये तथा युद्ध के लिये। जहाज समुद्र के आवागमन तथा दूर देशों की यात्रा के लिये जिन बृहद् नौकाओं का उपयोग प्राचीनकाल से होता आया है उन्हें जहाज कहते है। पहले जहाज अपेक्षाकृत छोटे होते थे तथा लकड़ी के बनते थे। प्राविधिक तथा वैज्ञानिक उन्नति के आधुनिक काल में बहुत बड़े, मुख्यत: लोहे से बने तथा इंजनों से चलनेवाले जहाज बनते हैं। .

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लैंकशायर, लैंकाशायर

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