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नोगाई ख़ान

सूची नोगाई ख़ान

नोगाई ख़ान (मंगोल: Ногай хан; अंग्रेजी: Nogai Khan;; देहांत: १२९९ ई) एक मंगोल सिपहसालार और सुनहरा उर्दू नामक मंगोल ख़ानत का असली शासक भी था। नोगाई का दादा बाउल ख़ान (उर्फ़ तेवल ख़ान) था जो जोची ख़ान का ७वाँ बेटा था। इस लिहाज़ से नोगाई मंगोल साम्राज्य के मशहूर संस्थापक चंगेज़ ख़ान का पड़-पड़-पोता था। .

33 संबंधों: चंगेज़ ख़ान, डैन्यूब नदी, तिब्लिसी, तुर्की-मंगोल, तुलाबुग़ा, त्राकया, त्सार, बातु ख़ान, बाइज़ेंटाइन साम्राज्य, बुल्गारिया, मंगोल, मंगोल भाषा, मंगोल साम्राज्य, यूराल पर्वत, रोमानिया, लिथुआनिया, शिकार, सर्बिया, सुनहरा उर्दू, हलाकु ख़ान, हंगरी, जोची ख़ान, ईरान, ख़ान (उपाधि), ख़ानत, ओसेती भाषा, इलख़ानी साम्राज्य, इस्लाम, क़ुस्तुंतुनिया, कुत्ता, कॉकस, अज़रबाइजान, अंग्रेज़ी भाषा

चंगेज़ ख़ान

चंगेज़ खान १२२७ में चंगेज खान का साम्राज्य चंगेज खान का मंदिर चंगेज़ ख़ान (मंगोलियाई: Чингис Хаан, चिंगिस खान, सन् 1162 – 18 अगस्त, 1227) एक मंगोल ख़ान (शासक) था जिसने मंगोल साम्राज्य के विस्तार में एक अहम भूमिका निभाई। वह अपनी संगठन शक्ति, बर्बरता तथा साम्राज्य विस्तार के लिए प्रसिद्ध हुआ। इससे पहले किसी भी यायावर जाति (यायावर जाति के लोग भेड़ बकरियां पालते जिन्हें गड़रिया कहा जाता है।) के व्यक्ति ने इतनी विजय यात्रा नहीं की थी। वह पूर्वोत्तर एशिया के कई घुमंतू जनजातियों को एकजुट करके सत्ता में आया। साम्राज्य की स्थापना के बाद और "चंगेज खान" की घोषणा करने के बाद, मंगोल आक्रमणों को शुरू किया गया, जिसने अधिकांश यूरेशिया पर विजय प्राप्त की। अपने जीवनकाल में शुरू किए गए अभियान क़रा खितई, काकेशस और ख्वारज़्मियान, पश्चिमी ज़िया और जीन राजवंशों के खिलाफ, शामिल हैं। मंगोल साम्राज्य ने मध्य एशिया और चीन के एक महत्वपूर्ण हिस्से पर कब्जा कर लिया। चंगेज खान की मृत्यु से पहले, उसने ओगदेई खान को अपन उत्तराधिकारी बनाया और अपने बेटों और पोते के बीच अपने साम्राज्य को खानतों में बांट दिया। पश्चिमी जिया को हराने के बाद 1227 में उसका निधन हो गया। वह मंगोलिया में किसी न किसी कब्र में दफनाया गया था।उसके वंशजो ने आधुनिक युग में चीन, कोरिया, काकेशस, मध्य एशिया, और पूर्वी यूरोप और दक्षिण पश्चिम एशिया के महत्वपूर्ण हिस्से में विजय प्राप्त करने वाले राज्यों को जीतने या बनाने के लिए अधिकांश यूरेशिया में मंगोल साम्राज्य का विस्तार किया। इन आक्रमणों में से कई स्थानों पर स्थानीय आबादी के बड़े पैमाने पर लगातार हत्यायेँ की। नतीजतन, चंगेज खान और उसके साम्राज्य का स्थानीय इतिहास में एक भयावय प्रतिष्ठा है। अपनी सैन्य उपलब्धियों से परे, चंगेज खान ने मंगोल साम्राज्य को अन्य तरीकों से भी उन्नत किया। उसने मंगोल साम्राज्य की लेखन प्रणाली के रूप में उईघुर लिपि को अपनाने की घोषणा की। उसने मंगोल साम्राज्य में धार्मिक सहिष्णुता को प्रोत्साहित किया, और पूर्वोत्तर एशिया की अन्य जनजातियों को एकजुट किया। वर्तमान मंगोलियाई लोग उसे मंगोलिया के 'संस्थापक पिता' के रूप में जानते हैं। यद्यपि अपने अभियानों की क्रूरता के लिए चंगेज़ खान को जाना जाता है और कई लोगों द्वारा एक नरसंहार शासक होने के लिए माना जाता है परंतु चंगेज खान को सिल्क रोड को एक एकत्रीय राजनीतिक वातावरण के रूप में लाने का श्रेय दिया जाता रहा है। यह रेशम मार्ग पूर्वोत्तर एशिया से मुस्लिम दक्षिण पश्चिम एशिया और ईसाई यूरोप में संचार और व्यापार लायी, इस तरह सभी तीन सांस्कृतिक क्षेत्रों के क्षितिज का विस्तार हुआ। .

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डैन्यूब नदी

डैन्यूब नदी के मार्ग का नक़्शा डैन्यूब नदी (अंग्रेज़ी: Danube, जर्मन: Donau) मध्य यूरोप में बहने वाली एक नदी है। यह जर्मनी के काले वन के पहाड़ों में स्थित दोनाउएशिंगन कस्बे के पास शुतु होती और और फिर दक्षिण-पूर्व को बहती है। अपनी २,८७२ किमी (१,७८५ मील) की लम्बाई में यह चार मध्य और पूर्वी यूरोपीय देशों की राजधानियों से गुज़रती है और फिर युक्रेन और रोमानिया में एक डेल्टा (नदीमुख) बनाकर कृष्ण सागर में मिल जाती है। डैन्यूब दस देशों से गुज़रती है या उनकी अंतरराष्ट्रीय सीमाओं पर स्थित है - जर्मनी, ऑस्ट्रिया, स्लोवेकिया, हंगरी, क्रोएशिया, सर्बिया, बुल्गारिया, मोल्दोवा, युक्रेन और रोमानिया। प्राचीन काल में कुछ अरसे के लिए यह रोमन साम्राज्य की सरहद होने के लिए भी प्रसिद्ध है। वोल्गा नदी के बाद डैन्यूब यूरोप की दूसरी सबसे लम्बी नदी है।, Jerome Delli Priscoli, Aaron T. Wolf, Cambridge University Press, 2009, ISBN 978-0-521-63216-4,...

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तिब्लिसी

मोटे अक्षरतिब्लिसी (जॉर्जियाई में: თბილისი th´bilisi "गर्म जगह") - कुरा नदी के तट पर बसा एक शहर है और जॉर्जिया की राजधानी है। .

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तुर्की-मंगोल

मुग़ल आक्रमणों से पूर्व का यूरेशिया, क़रीब १२०० ईसवी की स्थिति तुर्की-मंगोल (Turco-Mongol) मध्य एशिया के स्तेपी इलाक़े में रहने वाले विविध ख़ानाबदोश लोगों को दिया जाने वाला नाम था जो मंगोल साम्राज्य के अधीन थे। समय के साथ-साथ उनकी भाषा और पहचान में गहरी तुर्की छाप आ गई।, Reuven Amitai-Preiss, Cambridge University Press, 2005, ISBN 978-0-521-52290-8,...

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तुलाबुग़ा

तुलाबुग़ा द्वारा जारी की गई चांदी की दिरहम तुलाबुग़ा, तालुबुग़ा या तेलुबुग़ा (मंगोल: Тулабуга; अंग्रेजी: Tulabuga; देहांत: १२९०-१२९१ ई) सुनहरा उर्दू नामक मंगोल ख़ानत का सन् १२८७ ईसवी से लेकर १२९१ ईसवी तक ख़ान था। वह तरतू का पुत्र और सुनहरे उर्दू साम्राज्य के संस्थापक बातु ख़ान का पोता था। १२५७ में उसने मशहूर मंगोल सिपहसालार बुरूनदाई के नेतृत्व में लिथुआनिया पर हमले में भाग लिया। १२८४-८५ में उसने नोगाई ख़ान के साथ हंगरी पर दूसरे आक्रमण का और १२८७ में पोलैंड पर तीसरे आक्रमण का नेतृत्व किया। १२८७ में नोगाई ख़ान की मदद से वह सुनहरे उर्दू का ख़ान बना लेकिन ४ साल बाद नोगाई ख़ान के ही कारण उसे हटाकर तोख़्ता को ख़ान बनाया गया। तोख़्ता ने १२९० या १२९१ में उसे मरवा दिया।, James Chambers, Book Sales, 2003, ISBN 978-0-7858-1567-9 .

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त्राकया

त्राकेया या थ्रेस ऐतिहासिक दक्षिण-पूर्वी यूरोप के एक क्षेत्र का नाम था जो आज के बुल्गारिया के क्षेत्र में हुआ करता था। इसकी परिभाषा और सीमाएँ बदलती रही हैं। प्राचीन यूनानी काल में इस का ज़िक्र आता है। श्रेणी:यूरोप का इतिहास.

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त्सार

रूस पर सन् १६८२-१७२५ के काल में शासन करने वाला त्सार पीटर महान त्सार या ज़ार (रूसी: царь; युक्रेनियाई: цар; अंग्रेज़ी: czar या tsar) रूस और कई अन्य स्लाव संस्कृतियों में सम्राट या राजा के लिए शब्द है। रानियों और महारानियों को त्सारीना या ज़ारीना कहा जाता है। रूसी साम्राज्य में भी महाराजा को 'त्सार' की उपाधि से ही जाना जाता था। यह मूल रूप से लातिनी भाषा के 'सीज़र' (caesar) शब्द से उत्पन्न हुआ है।, Geoffrey Hosking, Harvard University Press, 1997, ISBN 978-0-674-78119-1,...

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बातु ख़ान

222px बातु ख़ान (मंगोल: Бат Хаан, बात ख़ान; अंग्रेजी: Batu Khan;; जन्म: १२०७ ई अनुमानित; देहांत: १२५५ ई) एक मंगोल शासक था और सुनहरा उर्दू नामक साम्राज्य का संस्थापक था जो मंगोल साम्राज्य के अधीन एक ख़ानत थी। बातु ख़ान जोची ख़ान का पुत्र और मंगोल साम्राज्य के संस्थापक चंगेज़ ख़ान का पोता था। 'बातु' या 'बात' शब्द का अर्थ मंगोल भाषा में 'कड़ा' या 'दृढ़' होता है। उसके द्वारा शुरू किये गए साम्राज्य का रूस, पूर्वी यूरोप और कॉकस के बड़े भाग पर लम्बे अरसे तक राज रहा। चंगेज़ ख़ान के पुत्रों कि मृत्य के बाद बातु ख़ान ही उस साम्राज्य का सबसे आदरणीय राजकुंवर बना और उसे 'आग़ा' (अर्थ: बड़े भाईसाहब) के नाम से जाना जाता था।, David Morgan, John Wiley & Sons, 2007, ISBN 978-1-4051-3539-9,...

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बाइज़ेंटाइन साम्राज्य

समय के साथ बाईज़न्टाइन साम्राज्य के क्षेत्र में परिवर्तन बाईज़न्टाइन साम्राज्य (या 'पूर्वी रोमन साम्राज्य') मध्य युग के दौरान रोमन साम्राज्य को दिया गया नाम था। इसकी राजधानी क़ुस्तुंतुनिया (कॉन्स्टैन्टिनोप्ल) थी, जोकि वर्तमान में तुर्की में स्थित है, और अब इसे इस्तांबुल के नाम से जाना जाता है। पश्चिमी रोमन साम्राज्य के विपरीत, इसके लोग यूनानी बोलते थे, नाकि लैटिन और यूनानी संस्कृति और पहचान का प्रभुत्व था। यह साम्राज्य लगभग ३२४ ई से १४५३ ई तक (एक हजार वर्षों से अधिक) अस्तित्व में रहा। 'बाइजेंटाइन साम्राज्य' या 'बाइजेंटियम' का इस्तेमाल १९वीं सदी से मध्यकाल के ग्रीक भाषा बोलने वाले रोमन साम्राज्य के लिए किया जाता था जो की वहां की राजधानी क़ुस्तुंतुनिया के आसपास बसा था। इस साम्राज्य को पूर्वी रोमन साम्राज्य के नाम से भी जाना जाता था। इस राज्य के रहने वालों के लिए ये सिर्फ रोमन साम्राज्य के नाम से जान जाता था और यहाँ से शासकों ने रोमन शाशकों पर बहुत कब्ज़े किये। इस्लाम की दुनिया में ये 'रोमानिया' के नाम से जाना जाता था। राज्य की शुरुआत के बारे में कुछ भी निश्चित जानकारी नहीं है। बहुत लोग सम्राट कोन्स्तान्तिन प्रथम (306–337 ई.) को पहला बीजान्टिन शासक मानते हैं। जिन्होंने 330 ई. में अपनी राजधानी रोम से स्थानांतरित कर बिजिन्तिऊम नामक एक क़स्बे में कर दिया और इन्होंने इसका पुनर्निर्माण कराया और इसे कोंस्तान्तिनोपाल या फिर 'नया रोम' नाम दिया। कुछ लोग इस साम्राज्य की शुरुआत को थेओदोस्सिस (379–395) के राज्य की शुरुआत के वक्त को मानते हैं। साम्राज्य के गिरने की शुरुआत तब मानी जाती है जब ओट्टोमन तुर्कों ने कोंस्तान्तिनोपाल पर 1453 में कब्ज़ा कर लिया, पर ग्रीकों का राज साम्राज्य के दुसरे हिस्सों में कुछ और सालों तक चलता रहा जब तक मिस्त्रास 1460 में और ट्रेबिजोंद 1461 में गिर गए। .

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बुल्गारिया

बुल्गारिया दक्षिण-पूर्व यूरोप में स्थित देश है, जिसकी राजधानी सोफ़िया है। देश की सीमाएं उत्तर में रोमानिया से, पश्चिम में सर्बिया और मेसेडोनिया से, दक्षिण में ग्रीस और तुर्की से मिलती हैं। पूर्व में देश की सीमाएं काला सागर निर्धारित करती है। कला और तकनीक के अलावा राजनैतिक दृष्टि से भी बुल्गारिया का वजूद पाँचवीं सदी से नजर आने लगता है। पहले बुल्गारियन साम्राज्य (632/681 - 1018) ने न केवल बाल्कन क्षेत्र बल्कि पूरे पूर्वी यूरोप को अनेक तरह से प्रभावित किया। बुल्गारियन साम्राज्य के पतन के बाद इसे ओटोमन शासन के अधीन कर दिया। 1877-78 में हुए रुस-तुर्की युद्ध ने बुल्गारिया राज्य को पुन: स्थापित करने में मदद की। द्वितीय विश्व युद्ध के बाद बुल्गारिया साम्यवादी राज्य और पूर्वी ब्लाक का हिस्सा बन गया। 1989 में क्रांति के बाद 1990 में साम्यवादियों का सत्ता से एकाधिकार समाप्त हो गया और देश संसदीय गणराज्य के रूप में आगे बढ़ने लगा। यह देश 2004 से नाटो का और 2007 से यूरोपियन यूनियन का सदस्य है। .

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मंगोल

चंगेज़ ख़ान एक पारम्परिक मंगोल घर, जिसे यर्त कहते हैं मंगोल मध्य एशिया और पूर्वी एशिया में रहने वाली एक जाति है, जिसका विश्व इतिहास पर गहरा प्रभाव रहा है। भारतीय उपमहाद्वीप में इस जाति को मुग़ल के नाम से जाना जाता था, जिस से मुग़ल राजवंश का नाम भी पड़ा। आधुनिक युग में मंगोल लोग मंगोलिया, चीन और रूस में वास करते हैं। विश्व भर में लगभग १ करोड़ मंगोल लोग हैं। शुरु-शुरु में यह जाति अर्गुन नदी के पूर्व के इलाकों में रहा करती थी, बाद में वह वाह्य ख़िन्गन पर्वत शृंखला और अल्ताई पर्वत शृंखला के बीच स्थित मंगोलिया पठार के आर-पार फैल गई। मंगोल जाति के लोग ख़ानाबदोशों का जीवन व्यतीत करते थे और शिकार, तीरंदाजी व घुड़सवारी में बहुत कुशल थे। १२वीं शताब्दी के उत्तरार्ध में इसके मुखिया तेमूचीन ने तमाम मंगोल कबीलों को एक किया। .

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मंगोल भाषा

मंगोल भाषा बोलने वाले क्षेत्र मंगोल भाषा अलताइक भाषाकुल की तथा योगात्मक बनावट की भाषा है। यह मुख्यत: अनतंत्र मंगोल, भीतरी मंगोल के स्वतंत्र प्रदेश, बुरयात (Buriyad) मंगोल राज्य में बोली जाती है। इन क्षेत्रों के अरिरिक्त इसके बोलनेवाले मंचूरिया, चीन के कुछ क्षेत्र और तिब्बत तथा अफगानिस्तान आदि में भी पाए जाते हैं। अनुमान है कि इन सब क्षेत्रों में मंगोल भाषा बोलनेवालों की संख्या कोई 40 लाख होगी। इन विशाल क्षेत्रों में रहनेवाले मंगोल जाति के सब लोगों के द्वारा स्वीकृत कोई एक आदर्श भाषा नहीं है। परंतु तथाकथित मंगोलिया के अंदर जनतंत्र मंगोल की हलहा (Khalkha) बोली धीरे-धीरे आदर्श भाषा का पद ग्रहण कर रही है। स्वयं मंगोलिया के लोग भी इस हलहा बोली को परिष्कृत बोली मानते हैं और इसी बोली के निकट भविष्य में आदर्श भाषा बनने की संभावना है। प्राचीन काल में मंगोल लिपि में लिखी जानेवाली साहित्यिक मंगोल पढ़े-लिखे लोगों में आदर्श भाषा मानी जाती थी। परंतु अब यह मंगोल लिपि जनतंत्र मंगोलिया द्वारा त्याग दी गई है और इसकी जगह रूसी लिपि से बनाई गई नई मंगोल लिपि स्वीकार की गई है। इस प्रकार अब मंगोल लिपि में लिखी जानेवाली साहित्यिक भाषा कम और नव मंगोल लिपि में लिखी जानेवाली हलहा बोली अधिक मान्य समझी जाने लगी है। .

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मंगोल साम्राज्य

हलाकू (बायें), खलीफा अल-मुस्तसिम को भूख से मारने के लिये उसके खजाने में कैद करते हुए मांगके खान की मृत्यु के समय (१२५९ ई में) मंगोल साम्राज्य मंगोल साम्राज्य 13 वीं और 14 वीं शताब्दियों के दौरान एक विशाल साम्राज्य था। इस साम्राज्य का आरम्भ चंगेज खान द्वारा मंगोलिया के घूमन्तू जनजातियों के एकीकरण से हुआ। मध्य एशिया में शुरू यह राज्य अंततः पूर्व में यूरोप से लेकर पश्चिम में जापान के सागर तक और उत्तर में साइबेरिया से लेकर दक्षिण में भारतीय उपमहाद्वीप तक फैल गया। आमतौर पर इसे दुनिया के इतिहास में सबसे बड़ा सन्निहित साम्राज्य माना जाना जाता है। अपने शीर्ष पर यह 6000 मील (9700 किमी) तक फैला था और 33,000,000 वर्ग कि॰मी॰ (12,741,000 वर्ग मील) के क्षेत्र को कवर करता था। इस समय पृथ्वी के कुल भू क्षेत्रफल का 22% हिस्सा इसके कब्ज़े में था और इसकी आबादी 100 करोड़ थी। मंगोल शासक पहले बौद्ध थे, लेकिन बाद में धीरे-धीरे तुर्कों के सम्पर्क में आकर उन्होंने इस्लाम को अपना लिया। .

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यूराल पर्वत

यूराल पर्वतशृंखला कोल्तसेदान गाँव (कामेन्स्क-यूराल्स्की के पूरब में; १९१२ में) यूराल (The Ural Mountains; रूसी Ура́льские го́ры, .

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रोमानिया

रोमानिया (प्राचीन: Rumania (रूमानिया), Roumania (रौमानिया);România) काले सागर की सीमा पर, कर्पेथियन चाप के बाहर और इसके भीतर, निचले डेन्यूब पर, बाल्कन प्रायद्वीप के उत्तर में, दक्षिणपूर्वी और मध्य यूरोप में स्थित एक देश है.

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लिथुआनिया

लिथुआनिया यूरोप महाद्वीप के उत्तरी भाग में बाल्टिक सागर के किनारे स्थित एक देश है। यह तीन बाल्टिक देशों (लिथुआनिया, लातविया और ऍस्तोनिया) में से सबसे बड़ा है। इसकी राजधानी विल्नुस है। २०१२ में इसकी आबादी लगभग ३० लाख थी। लिथुआनियाई लोग एक बाल्टिक समुदाय हैं और लिथुआनियाई भाषा हिन्द-यूरोपीय भाषा परिवार की बाल्टिक शाखा की केवल दो जीवित भाषाओं में से एक है (दूसरी लातवियाई है)। कहा जाता है कि लिथुआनियाई भाषा ने हमेशा शुद्धता व आदिम हिन्द-यूरोपी भाषा से निकटता बनाई रखी है और संस्कृत भाषा के बहुत समीप है।, Timothy Snyder, pp.

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शिकार

शिकार नाम से लेख:-.

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सर्बिया

सर्बिया का झंडा सर्बिया (सर्बियाई: या) एक देश है। .

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सुनहरा उर्दू

सन् १३०० ईसवी में सुनहरा उर्दू साम्राज्य (हरे रंग में) सुनहरा उर्दू या सुनहरा झुण्ड (मंगोल: Зүчийн улс, ज़ुची-इन उल्स; अंग्रेज़ी: Golden Horde) एक मंगोल ख़ानत थी जो १३वीं सदी में मंगोल साम्राज्य के पश्चिमोत्तरी क्षेत्र में शुरू हुई थी और जिसे इतिहासकार मंगोल साम्राज्य का हिस्सा मानते हैं। इसे किपचक ख़ानत और जोची का उलुस भी कहा जाता था। यह ख़ानत १२४० के दशक में स्थापित हुई और सन् १५०२ तक चली। यह अपने बाद के काल में तुर्की प्रभाव में आकर एक तुर्की-मंगोल साम्राज्य बन चला था। इस साम्राज्य की नीव जोची ख़ान के पुत्र (और चंगेज़ ख़ान के पोते) बातु ख़ान ने रखी थी। अपने चरम पर इस ख़ानत में पूर्वी यूरोप का अधिकतर भाग और पूर्व में साइबेरिया में काफ़ी दूर तक का इलाक़ा शामिल था। दक्षिण में यह कृष्ण सागर के तट और कॉकस क्षेत्र तक विस्तृत थी। इसकी दक्षिण सीमाएँ इलख़ानी साम्राज्य नाम की एक अन्य मंगोल ख़ानत से लगती थीं।, David Morgan, John Wiley & Sons, 2007, ISBN 978-1-4051-3539-9,...

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हलाकु ख़ान

इलख़ानी साम्राज्य का संस्थापक हलाकु ख़ान अपनी पत्नी दोक़ुज़ ख़ातून के साथ सन् १२५८ में हलाकु की फ़ौज बग़दाद को घेरे हुए हलाकु द्वारा ज़र्ब किया गया ख़रगोश के चिह्न वाला सिक्का हलाकु ख़ान या हुलेगु ख़ान (मंगोल: Хүлэг хаан, ख़ुलेगु ख़ान; फ़ारसी:, हूलाकू ख़ान; अंग्रेजी: Hülegü Khan;; जन्म: १२१७ ई अनुमानित; देहांत: ८ फ़रवरी १२६५ ई) एक मंगोल ख़ान (शासक) था जिसने ईरान समेत दक्षिण-पश्चिमी एशिया के अन्य बड़े हिस्सों पर विजय करके वहाँ इलख़ानी साम्राज्य स्थापित किया। यह साम्राज्य मंगोल साम्राज्य का एक भाग था। हलाकु ख़ान के नेतृत्व में मंगोलों ने इस्लाम के सबसे शक्तिशाली केंद्र बग़दाद को तबाह कर दिया। ईरान पर अरब क़ब्ज़ा इस्लाम के उभरने के लगभग फ़ौरन बाद हो चुका था और तबसे वहाँ के सभी विद्वान अरबी भाषा में ही लिखा करते थे। बग़दाद की ताक़त नष्ट होने से ईरान में फ़ारसी भाषा फिर पनपने लगी और उस काल के बाद ईरानी विद्वान और इतिहासकार फ़ारसी में ही लिखा करते थे।, Craig A. Lockard, Cengage Learning, 2010, ISBN 978-1-4390-8535-6,...

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हंगरी

हंगरी (हंगेरियाई: Magyarország), आधिकारिक तौर पर हंगरी गणराज्य (हंगेरियाई: Magyar Köztársaság, शाब्दिक अर्थ "हंगरी गणराज्य"), मध्य यूरोप के पैनोनियन बेसिन में स्थित एक स्थल-रुद्ध देश है। इसके उत्तर में स्लोवाकिया, पूर्व में यूक्रेन और रोमानिया, दक्षिण में सर्बिया और क्रोएशिया, दक्षिण पश्चिम में स्लोवेनिया और पश्चिम में ऑस्ट्रिया स्थित है। इसकी राजधानी और सबसे बड़ा शहर बुडापेस्ट है। हंगरी, यूरोपीय संघ, नाटो, ओईसीडी और विसेग्राद समूह का सदस्य है और एक शेंगन राष्ट्र है। इसकी आधिकारिक भाषा हंगेरियाई है, जो फिन्नो-उग्रिक भाषा परिवार का हिस्सा है और यूरोप में सबसे व्यापक रूप से बोली जाने वाली गैर भारोपीय भाषा है। हंगरी दुनिया के तीस सबसे अधिक लोकप्रिय पर्यटन स्थलों में से एक है और प्रति वर्ष लगभग 8.6 लाख पर्यटकों (2007 के आँकड़े) को आकर्षित करता है। देश में विश्व की सबसे बड़ी गर्म जल की गुफा प्रणाली स्थित है और गर्म जल की सबसे बड़ी झीलों में से एक हेविज़ झील यहीं पर स्थित है। इसके साथ मध्य यूरोप की सबसे बड़ी झील बलातोन झील भी यहीं पर है और यूरोप के सबसे बड़े प्राकृतिक घास के मैदान होर्टोबैगी भी हंगरी के अधिकार क्षेत्र में आते हैं। हंगरी की सरकार एक संसदीय गणतंत्र है, जिसे 1989 में स्थापित किया गया था। हंगरी की अर्थव्यवस्था एक उच्च-आय अर्थव्यवस्था है और कुछ क्षेत्रों में यह एक क्षेत्रीय अगुआ है। .

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जोची ख़ान

मंगोलिया में जोची ख़ान का बुत, जो चंगेज़ ख़ान और बोरते का पहला पुत्र था जोची ख़ान (मंगोल: Зүчи, ज़ूची; फ़ारसी:, जोजी, अंग्रेजी: Jochi;; जन्म: ११८१ ई अनुमानित; देहांत: १२२७ ई) मंगोल साम्राज्य के संस्थापक चंगेज़ ख़ान और उसकी मुख्य पत्नी बोरते का पहला पुत्र था। उसने अपने पिता के मध्य एशिया को मंगोल साम्राज्य के अधीन करने के अभियान में बहुत हिस्सा लिया। उसे एक क़ाबिल और सहासी सिपहसालार माना जाता है।, Leo de Hartog, Tauris Parke Paperbacks, 2004, ISBN 978-1-86064-972-1,...

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ईरान

ईरान (جمهوری اسلامی ايران, जम्हूरीए इस्लामीए ईरान) जंबुद्वीप (एशिया) के दक्षिण-पश्चिम खंड में स्थित देश है। इसे सन १९३५ तक फारस नाम से भी जाना जाता है। इसकी राजधानी तेहरान है और यह देश उत्तर-पूर्व में तुर्कमेनिस्तान, उत्तर में कैस्पियन सागर और अज़रबैजान, दक्षिण में फारस की खाड़ी, पश्चिम में इराक और तुर्की, पूर्व में अफ़ग़ानिस्तान तथा पाकिस्तान से घिरा है। यहां का प्रमुख धर्म इस्लाम है तथा यह क्षेत्र शिया बहुल है। प्राचीन काल में यह बड़े साम्राज्यों की भूमि रह चुका है। ईरान को १९७९ में इस्लामिक गणराज्य घोषित किया गया था। यहाँ के प्रमुख शहर तेहरान, इस्फ़हान, तबरेज़, मशहद इत्यादि हैं। राजधानी तेहरान में देश की १५ प्रतिशत जनता वास करती है। ईरान की अर्थव्यवस्था मुख्यतः तेल और प्राकृतिक गैस निर्यात पर निर्भर है। फ़ारसी यहाँ की मुख्य भाषा है। ईरान में फारसी, अजरबैजान, कुर्द और लूर सबसे महत्वपूर्ण जातीय समूह हैं .

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ख़ान (उपाधि)

ओगदाई ख़ान, चंग़ेज़ ख़ान का तीसरा पुत्र ख़ान या ख़ाँ (मंगोल: хан, फ़ारसी:, तुर्की: Kağan) मूल रूप से एक अल्ताई उपाधि है तो शासकों और अत्यंत शक्तिशाली सिपहसालारों को दी जाती थी। यह समय के साथ तुर्की-मंगोल क़बीलों द्वारा पूरे मध्य एशिया में इस्तेमाल होने लगी। जब इस क्षेत्र के सैन्य बलों ने भारतीय उपमहाद्वीप, ईरान, अफ़्ग़ानिस्तान और अन्य क्षेत्रों पर क़ब्ज़ा कर के अपने साम्राज्य बनाने शुरू किये तो इसका प्रयोग इन क्षेत्रों की कई भाषाओँ में आ गया, जैसे कि हिन्दी-उर्दू, फ़ारसी, पश्तो, इत्यादि। इसका एक और रूप 'ख़ागान' है जिसका अर्थ है 'ख़ानों का ख़ान' या 'ख़ान-ए-ख़ाना', जो भारत में कभी प्रचलित नहीं हुआ। इसके बराबरी की स्त्रियों की उपाधियाँ ख़ानम और ख़ातून हैं।, Elena Vladimirovna Boĭkova, R. B. Rybakov, Otto Harrassowitz Verlag, 2006, ISBN 978-3-447-05416-4 .

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ख़ानत

ख़ानत (अंग्रेज़ी: Khanate) तुर्की-मंगोल संस्कृति में किसी ऐसे राज्य को कहते हैं जिसपर किसी ख़ान की उपाधि वाले शासक का राज्य हो। इसकी तुलना हिन्दी के 'सल्तनत' शब्द से की जा सकती है जो किसी ऐसे राज्य को कहते हैं जहाँ 'सुलतान' का राज्य हो। इसी तरह 'बादशाहत' में 'बादशाह' का, 'रियासत' में किसी 'रईस' का और 'अमीरात' में किसी 'अमीर' का राज होता है। आधुनिक तुर्की भाषा में 'ख़ानत' को 'काग़ानलिक' (kağanlık) कहते हैं।, A. J. Haywood, Oxford University Press, 2010, ISBN 978-0-19-975418-2,...

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ओसेती भाषा

ओसेती भाषा (Ирон æвзаг, इरोन ऐवज़ग) कॉकस क्षेत्र के ओसेतिया भूखण्ड में बोली जाने वाली एक पूर्वी ईरानी भाषा है। इसे लगभग पांच लाख लोग बोलते हैं। .

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इलख़ानी साम्राज्य

अपने चरम पर इलख़ानी साम्राज्य इलख़ानी साम्राज्य या इलख़ानी सिलसिला (फ़ारसी:, सिलसिला-ए-इलख़ानी; मंगोल: Хүлэгийн улс, हुलेगु-इन उल्स; अंग्रेज़ी: Ilkhanate) एक मंगोल ख़ानत थी जो १३वीं सदी में ईरान और अज़रबेजान में शुरू हुई थी और जिसे इतिहासकार मंगोल साम्राज्य का हिस्सा मानते हैं। इसकी स्थापना चंगेज़ ख़ान के पोते हलाकु ख़ान ने की थी और इसके चरम पर इसमें ईरान, ईराक़, अफ़्ग़ानिस्तान, तुर्कमेनिस्तान, आर्मीनिया, अज़रबेजान, तुर्की, जोर्जिया और पश्चिमी पाकिस्तान शामिल थे। इलख़ानी बहुत से धर्मों के प्रति सहानुभूति रखते थे लेकिन इनमें बौद्ध धर्म और ईसाई धर्म को विशेष स्वीकृति हासिल थी।, Robert Marshall, University of California Press, 1993, ISBN 978-0-520-08300-4,...

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इस्लाम

इस्लाम (अरबी: الإسلام) एक एकेश्वरवादी धर्म है, जो इसके अनुयायियों के अनुसार, अल्लाह के अंतिम रसूल और नबी, मुहम्मद द्वारा मनुष्यों तक पहुंचाई गई अंतिम ईश्वरीय पुस्तक क़ुरआन की शिक्षा पर आधारित है। कुरान अरबी भाषा में रची गई और इसी भाषा में विश्व की कुल जनसंख्या के 25% हिस्से, यानी लगभग 1.6 से 1.8 अरब लोगों, द्वारा पढ़ी जाती है; इनमें से (स्रोतों के अनुसार) लगभग 20 से 30 करोड़ लोगों की यह मातृभाषा है। हजरत मुहम्मद साहब के मुँह से कथित होकर लिखी जाने वाली पुस्तक और पुस्तक का पालन करने के निर्देश प्रदान करने वाली शरीयत ही दो ऐसे संसाधन हैं जो इस्लाम की जानकारी स्रोत को सही करार दिये जाते हैं। .

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क़ुस्तुंतुनिया

क़ुस्तुंतुनिया या कांस्टैंटिनोपुल (यूनानी: Κωνσταντινούπολις कोन्स्तान्तिनोउपोलिस या Κωνσταντινούπολη कोन्स्तान्तिनोउपोली; लातीनी: Constantinopolis कोन्स्तान्तिनोपोलिस; उस्मानी तुर्कीयाई: قسطنطینية, Ḳosṭanṭīnīye कोस्तान्तिनिये‎), बोस्पोरुस जलसन्धि और मारमरा सागर के संगम पर स्थित एक ऐतिहासिक शहर है, जो रोमन, बाइज़ेंटाइन, और उस्मानी साम्राज्य की राजधानी थी। 324 ई. में प्राचीन बाइज़ेंटाइन सम्राट कोन्स्टान्टिन प्रथम द्वारा रोमन साम्राज्य की नई राजधानी के रूप में इसे पुनर्निर्मित किया गया, जिसके बाद इन्हीं के नाम पर इसे नामित किया गया। .

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कुत्ता

कुत्ता या श्वान भेड़िया कुल की एक प्रजाति है। यह मनुष्य के पालतू पशुओं में से एक महत्त्वपूर्ण प्राणी है। इनके द्वारा तंत्रिका तंत्र को प्रभावित करने वाली एक भयंकर बीमारी रेबीज होती है। इसकी मादा को कुतिया और शावक को पिल्ला कहते हैं। इसका औसत जीवनकाल लगभग 40 वर्ष होता है। .

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कॉकस

कॉकस या कौकसस यूरोप और एशिया की सीमा पर स्थित एक भौगोलिक और राजनैतिक क्षेत्र है। इस क्षेत्र में कॉकस पर्वत शृंखला भी आती है, जिसमें यूरोप का सबसे ऊंचा पहाड़, एल्ब्रुस पर्वत शामिल है। कॉकस के दो मुख्य खंड बताये जाते हैं: उत्तर कॉकस और दक्षिण कॉकस। उत्तर कॉकस में चेचन्या, इन्गुशेतिया, दाग़िस्तान, आदिगेया, काबारदीनो-बल्कारिया, काराचाए-चरकस्सिया, उत्तर ओसेतिया, क्रास्नोदार क्राय और स्ताव्रोपोल क्राय के क्षेत्र आते हैं। दक्षिण कॉकस में आर्मीनिया, अज़रबैजान और जॉर्जिया आते हैं, जिसमें दक्षिण ओसेतिया, अबख़ज़िया और नागोर्नो-काराबाख़ शामिल हैं। .

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अज़रबाइजान

आज़रबाइजान(अन्य वर्तनी:अज़रबैजान या अज़रबाइजान) (Respublikası), कॉकेशस के पूर्वी भाग में एक गणराज्य है, पूर्वी यूरोप और एशिया के मध्य में बसा हुआ। भौगोलिक रूप से यह एशिया का ही भाग है। इसके सीमांत देश हैं: अर्मेनिया, जॉर्जिया, रूस, ईरान, तुर्की और इसका तटीय भाग कैस्पियन सागर से लगता हुआ है। यह १९९१ तक भूतपूर्व सोवियत संघ का भाग था। अज़रबैजान एक धर्मनिरपेक्ष देश है और वर्ष २००१ से काउंसिल का सदस्य है। अधिकांश जनसंख्या इस्लाम धर्म की अनुयायी है और यह देश इस्लामी सम्मेलन संघ का सदस्य राष्ट्र भी है। यह देश धीरे-धीरे औपचारिक लेकिन सत्तावादी लोकतंत्र की ओर बढ़ रहा है। .

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अंग्रेज़ी भाषा

अंग्रेज़ी भाषा (अंग्रेज़ी: English हिन्दी उच्चारण: इंग्लिश) हिन्द-यूरोपीय भाषा-परिवार में आती है और इस दृष्टि से हिंदी, उर्दू, फ़ारसी आदि के साथ इसका दूर का संबंध बनता है। ये इस परिवार की जर्मनिक शाखा में रखी जाती है। इसे दुनिया की सर्वप्रथम अन्तरराष्ट्रीय भाषा माना जाता है। ये दुनिया के कई देशों की मुख्य राजभाषा है और आज के दौर में कई देशों में (मुख्यतः भूतपूर्व ब्रिटिश उपनिवेशों में) विज्ञान, कम्प्यूटर, साहित्य, राजनीति और उच्च शिक्षा की भी मुख्य भाषा है। अंग्रेज़ी भाषा रोमन लिपि में लिखी जाती है। यह एक पश्चिम जर्मेनिक भाषा है जिसकी उत्पत्ति एंग्लो-सेक्सन इंग्लैंड में हुई थी। संयुक्त राज्य अमेरिका के 19 वीं शताब्दी के पूर्वार्ध और ब्रिटिश साम्राज्य के 18 वीं, 19 वीं और 20 वीं शताब्दी के सैन्य, वैज्ञानिक, राजनीतिक, आर्थिक और सांस्कृतिक प्रभाव के परिणाम स्वरूप यह दुनिया के कई भागों में सामान्य (बोलचाल की) भाषा बन गई है। कई अंतरराष्ट्रीय संगठनों और राष्ट्रमंडल देशों में बड़े पैमाने पर इसका इस्तेमाल एक द्वितीय भाषा और अधिकारिक भाषा के रूप में होता है। ऐतिहासिक दृष्टि से, अंग्रेजी भाषा की उत्पत्ति ५वीं शताब्दी की शुरुआत से इंग्लैंड में बसने वाले एंग्लो-सेक्सन लोगों द्वारा लायी गयी अनेक बोलियों, जिन्हें अब पुरानी अंग्रेजी कहा जाता है, से हुई है। वाइकिंग हमलावरों की प्राचीन नोर्स भाषा का अंग्रेजी भाषा पर गहरा प्रभाव पड़ा है। नॉर्मन विजय के बाद पुरानी अंग्रेजी का विकास मध्य अंग्रेजी के रूप में हुआ, इसके लिए नॉर्मन शब्दावली और वर्तनी के नियमों का भारी मात्र में उपयोग हुआ। वहां से आधुनिक अंग्रेजी का विकास हुआ और अभी भी इसमें अनेक भाषाओँ से विदेशी शब्दों को अपनाने और साथ ही साथ नए शब्दों को गढ़ने की प्रक्रिया निरंतर जारी है। एक बड़ी मात्र में अंग्रेजी के शब्दों, खासकर तकनीकी शब्दों, का गठन प्राचीन ग्रीक और लैटिन की जड़ों पर आधारित है। .

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