लोगो
यूनियनपीडिया
संचार
Google Play पर पाएं
नई! अपने एंड्रॉयड डिवाइस पर डाउनलोड यूनियनपीडिया!
डाउनलोड
ब्राउज़र की तुलना में तेजी से पहुँच!
 

तापयुग्म

सूची तापयुग्म

डिजिटल मल्टीमीटर से जुड़ा एक तापयुगम: कमरे का ताप सीधे डिग्री सेल्सियस में प्रदर्शित कर रहा है। दो भिन्न धातुओं के जोड़ (junction) को तापयुग्म (thermocouple) कहते हैं। यह जंक्शन जितना ही अधिक ताप पर होता है उन दो धातुओं के खुले सिरों के बीच उतना ही अधिक विभवान्तर प्राप्त होता है। यही इसके कार्य करने का आधारभूत सिद्धान्त है। तापमापन एवं ताप नियंत्रण के लिये इसका खूब प्रयोग किया जाता है। इसका उपयोग उष्मा को विद्युत उर्जा में बदलने के लिये भी किया जा सकता है। तापयुग्म बहुत सस्ते होते है। ये विस्तृत परास (रेंज) के ताप मापने के लिये उपयुक्त हैं। इनके द्वारा लगभग १ डिग्री सेल्सियस तक परिशुद्धता से ताप मापा जा सकता है। .

7 संबंधों: ऊष्मा, तापमान, तापविद्युत प्रभाव, थर्मिस्टर, द्विधातु पट्टी, धातु, प्रतिरोध तापमापी

ऊष्मा

इस उपशाखा में ऊष्मा ताप और उनके प्रभाव का वर्णन किया जाता है। प्राय: सभी द्रव्यों का आयतन तापवृद्धि से बढ़ जाता है। इसी गुण का उपयोग करते हुए तापमापी बनाए जाते हैं। ऊष्मा या ऊष्मीय ऊर्जा ऊर्जा का एक रूप है जो ताप के कारण होता है। ऊर्जा के अन्य रूपों की तरह ऊष्मा का भी प्रवाह होता है। किसी पदार्थ के गर्म या ठंढे होने के कारण उसमें जो ऊर्जा होती है उसे उसकी ऊष्मीय ऊर्जा कहते हैं। अन्य ऊर्जा की तरह इसका मात्रक भी जूल (Joule) होता है पर इसे कैलोरी (Calorie) में भी व्यक्त करते हैं। .

नई!!: तापयुग्म और ऊष्मा · और देखें »

तापमान

आदर्श गैस के तापमान का सैद्धान्तिक आधार अणुगति सिद्धान्त से मिलता है। तापमान किसी वस्तु की उष्णता की माप है। अर्थात्, तापमान से यह पता चलता है कि कोई वस्तु ठंढी है या गर्म। उदाहरणार्थ, यदि किसी एक वस्तु का तापमान 20 डिग्री है और एक दूसरी वस्तु का 40 डिग्री, तो यह कहा जा सकता है कि दूसरी वस्तु प्रथम वस्तु की अपेक्षा गर्म है। एक अन्य उदाहरण - यदि बंगलौर में, 4 अगस्त 2006 का औसत तापमान 29 डिग्री था और 5 अगस्त का तापमान 32 डिग्री; तो बंगलौर, 5 अगस्त 2006 को, 4 अगस्त 2006 की अपेक्षा अधिक गर्म था। गैसों के अणुगति सिद्धान्त के विकास के आधार पर यह माना जाता है कि किसी वस्तु का ताप उसके सूक्ष्म कणों (इलेक्ट्रॉन, परमाणु तथा अणु) के यादृच्छ गति (रैण्डम मोशन) में निहित औसत गतिज ऊर्जा के समानुपाती होता है। तापमान अत्यन्त महत्वपूर्ण भौतिक राशि है। प्राकृतिक विज्ञान के सभी महत्वपूर्ण क्षेत्रों (भौतिकी, रसायन, चिकित्सा, जीवविज्ञान, भूविज्ञान आदि) में इसका महत्व दृष्टिगोचर होता है। इसके अलावा दैनिक जीवन के सभी पहलुओं पर तापमान का महत्व है। .

नई!!: तापयुग्म और तापमान · और देखें »

तापविद्युत प्रभाव

तापविद्युत का मापन तापविद्युत् (thermoelectricity) वह विद्युत है जो दो असमान धातुओं के तारों की संधि को गर्म करने पर इन तारों के परिपथ में प्रवाहित होने लगती है। इस तथ्य को सर्वप्रथम सीबेक (Seebeck) ने सन् 1821 में ताँबे एवं बिस्मथ के तारों की संधि को गर्म कर आविष्कृत किया। उपर्युक्त परिपथ में उत्पन्न विद्युतवाहक बल (Electromotive force) न्यून होता है और इसकी तीव्रता निम्नलिखित बातों पर निर्भर करती है-.

नई!!: तापयुग्म और तापविद्युत प्रभाव · और देखें »

थर्मिस्टर

थर्मिस्टर का प्रतीक 300pxकुछ थर्मिस्टर जिनका ताप बढ़ने पर प्रतिरोध कम होता है (NTC Thermister) थर्मिस्टर (thermistor) एक प्रकार का प्रतिरोधक है जिसका प्रतिरोध उसके ताप के साथ बहुत अधिक परिवर्तित होता है। अन्य प्रकार प्रतिरोधों का मान भी ताप के परिवर्तित होने पर परिवर्तित होता है किन्तु यह परिवर्तन बहुत कम होता है, जबकि थर्मिस्टर का ताप बदलने पर उसका प्रतिरोध बहुत अधिक बदल जाता है। 'थर्मिस्टर' शब्द 'थर्मल' और 'रेजिस्टर' को मिलाकर बना है। थर्मिस्टर का प्रयोग इनरश-धारा रोकने, ताप-संसूचक (टेम्परेचर-सेन्सर), सेल्फ-रीसेटिटिंग ओवरकरेण्ट प्रोटेक्टर, तथा स्वयं-नियंत्रित हीटिंग एलिमेण्ट में बहुतायत से होता है। ताप के परिवर्तन के साथ प्रतिरोध के परिवर्तन की दृष्टि से थर्मिस्टर दो प्रकार के होते हैं-.

नई!!: तापयुग्म और थर्मिस्टर · और देखें »

द्विधातु पट्टी

द्विधातु पट्टी (bimetallic strip) दो धातुओं से मिलकर निर्मित पट्टी होती है। यह ताप परिवर्तन को यांत्रिक विस्थापन में बदल देती है। इस प्रकार यह कई युक्तियों में ताप की अधिकतम मान को नियंत्रित करने के काम आती है, जैसे कपड़ा प्रेस करने वाली विद्युत इस्तरी में। इसके कार्य करने का सिद्धान्त यह है कि समान मात्रा में ताप बढ़ने पर दो भिन्न धातुओं में तापीय प्रसार अलग-अलग होता है। .

नई!!: तापयुग्म और द्विधातु पट्टी · और देखें »

धातु

'धातु' के अन्य अर्थों के लिए देखें - धातु (बहुविकल्पी) ---- '''धातुएँ''' - मानव सभ्यता के पूरे इतिहास में सर्वाधिक प्रयुक्त पदार्थों में धातुएँ भी हैं लुहार द्वारा धातु को गर्म करने पर रसायनशास्त्र के अनुसार धातु (metals) वे तत्व हैं जो सरलता से इलेक्ट्रान त्याग कर धनायन बनाते हैं और धातुओं के परमाणुओं के साथ धात्विक बंध बनाते हैं। इलेक्ट्रानिक मॉडल के आधार पर, धातु इलेक्ट्रानों द्वारा आच्छादित धनायनों का एक लैटिस हैं। धातुओं की पारम्परिक परिभाषा उनके बाह्य गुणों के आधार पर दी जाती है। सामान्यतः धातु चमकीले, प्रत्यास्थ, आघातवर्धनीय और सुगढ होते हैं। धातु उष्मा और विद्युत के अच्छे चालक होते हैं जबकि अधातु सामान्यतः भंगुर, चमकहीन और विद्युत तथा ऊष्मा के कुचालक होते हैं। .

नई!!: तापयुग्म और धातु · और देखें »

प्रतिरोध तापमापी

प्रतिरोध तापमापी (Resistance thermometers या resistance temperature detectors (RTDs)) ताप मापन के लिए प्रयुक्त संवेदक (sensors) हैं। बहुत से प्रतिरोध तापमापी किसी सिरामिक या काच के टुकड़े पर महीन तार के अनेकों फेरे लपेटकर बनाये जाते हैं। RTD के लिए प्रयुक्त तार शुद्ध पदार्थ का बना होता है, जैसे प्लेटिनम, निकल या ताम्र। इस पदार्थ का प्रतिरोध/ताप सम्बन्ध बहुत रैखिक होता है। RTD की यथार्थता (accuracy) तथा पुनरावर्तनीयता (repeatability) श्रेष्ठतर होती है। इस कारण 600 °C से कम ताप पर तापयुग्मों के स्थान पर इनका प्रचलन बढ़ रहा है। .

नई!!: तापयुग्म और प्रतिरोध तापमापी · और देखें »

निवर्तमानआने वाली
अरे! अब हम फेसबुक पर हैं! »