कितने चौराहे एक उपन्यास है जिसके रचायिता फणीश्वर नाथ रेणु हैं। इस उपन्यास में आजादी के ठीक पहले तथा उसके अन्त में आजादी के तुरत बाद के ग्रामीण भारत में हो रही गतिविधियों को चित्रित किया गया है। उपन्यास का परिवेश, रेणु के अन्य उपन्यासों की तरह, उत्तरी बिहार का कोशी क्षेत्र है। रेणु इस उपन्यास को एक युवा बलिदानी को समर्पित करते हैं: किशोर शहीद ध्रुव कुण्डु को- उन्होंने कहा - आगे मत बढ़ो, लौट जाओ। तुमने कहा - झंडा फहराकर ही लौटूँगा। उन्होंने कहा - गोली मार दूँगा। तुमने छाती तान दी। झंडा तुमने फहराया उन्होंने गोली दाग दी, गोली दाग दी !...
2 संबंधों: फणीश्वर नाथ "रेणु", उपन्यास।
फणीश्वर नाथ 'रेणु' (४ मार्च १९२१ औराही हिंगना, फारबिसगंज - ११ अप्रैल १९७७) एक हिन्दी भाषा के साहित्यकार थे। इनके पहले उपन्यास मैला आंचल को बहुत ख्याति मिली थी जिसके लिए उन्हें पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। .
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उपन्यास गद्य लेखन की एक विधा है। .
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