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अनिल कुमार गुप्त

सूची अनिल कुमार गुप्त

प्रोफेसर अनिल कुमार गुप्त अनिल कुमार गुप्त जमीनी स्तर के नवाचारों के क्षेत्र में विश्वप्रसिद्ध व्यक्ति हैं। वे हनी बी नेटवर्क नामक संस्था के संस्थापक तथा भारतीय प्रबंधन संस्थान, अहमदाबाद में प्राध्यापक हैं। इसके अतिरिक्त वे राष्ट्रीय नवप्रवर्तन संस्थान के उप कार्यकारी अध्यक्ष भी हैं। उन्हें सन २००४ में पद्मश्री से सम्मानित किया गया था। .

4 संबंधों: नवाचार, पद्म श्री, भारतीय प्रबंध संस्थान, अहमदाबाद, राष्ट्रीय नवप्रवर्तन संस्थान

नवाचार

नवाचार अर्थशास्त्र, व्यापार, तकनीकी एवं समाज शास्त्र में बहुत महत्व का विषय है। नवाचार (नव+आचार) का अर्थ किसी उत्पाद, प्रक्रिया या सेवा में थोडा या बहुत बडा परिवर्तन लाने से है। नवाचार के अन्तर्गत कुछ नया और उपयोगी तरीका अपनाया जाता है, जैसे- नयी विधि, नयी तकनीक, नयी कार्य-पद्धति, नयी सेवा, नया उत्पाद आदि। नवाचार को अर्थतंत्र का सारथी माना जाता है। किसी संस्था के संदर्भ में नवाचार के द्वारा दक्षता, उत्पादकता, गुणवता, बाजार में पकड आदि के सुधार सम्मिलित हैं। अस्पताल, विश्वविद्यालय, ग्राम-पंचायतें आदि सभी संस्थायें नवाचारी हो सकती हैं। जो संस्थायें नवाचार नहीं कर पातीं वे नाश को प्राप्त होती हैं। उनका स्थान नवाचार में सफल हुई संस्थायें ले लेतीं हैं। नवाचार में सबसे महत्वपूर्ण चुनौती प्रक्रिया-नवाचार तथा उत्पाद-नवाचार में सामंजस्य बैठाना होता है। .

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पद्म श्री

पद्म श्री या पद्मश्री, भारत सरकार द्वारा आम तौर पर सिर्फ भारतीय नागरिकों को दिया जाने वाला सम्मान है जो जीवन के विभिन्न क्षेत्रों जैसे कि, कला, शिक्षा, उद्योग, साहित्य, विज्ञान, खेल, चिकित्सा, समाज सेवा और सार्वजनिक जीवन आदि में उनके विशिष्ट योगदान को मान्यता प्रदान करने के लिए दिया जाता है। भारत के नागरिक पुरस्कारों के पदानुक्रम में यह चौथा पुरस्कार है इससे पहले क्रमश: भारत रत्न, पद्म विभूषण और पद्म भूषण का स्थान है। इसके अग्रभाग पर, "पद्म" और "श्री" शब्द देवनागरी लिपि में अंकित रहते हैं। 2010 (आजतक) तक, 2336 व्यक्ति इस पुरस्कार को प्राप्त कर चुके हैं। .

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भारतीय प्रबंध संस्थान, अहमदाबाद

भारतीय प्रबंधन संस्थान, अहमदाबाद भारत का प्रमुख प्रबन्धन विद्यालय है। भारत सरकार, गुजरात सरकार और औद्योगिक क्षेत्रों की के सक्रिय सहयोग से एक स्वायत्त निकाय के रूप में 1961 में इसकी स्थापना हुई। चार दशकों में यह भारत के प्रमुख प्रबंधन संस्थान से एक उल्लेखनीय अंतरराष्ट्रीय प्रबंधन स्कूल के रूप में विकसित हुआ है। संस्थान ने हार्वर्ड बिजनेस स्कूल के साथ प्रारंभिक सहयोग किया था। इस सहयोग ने संस्थान के शिक्षा के दृष्टिकोण को काफी प्रभावित किया। धीरे-धीरे, यह पूर्वी और पश्चिमी मूल्यों के सर्वोत्तम संगम के रूप में उभरा। .

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राष्ट्रीय नवप्रवर्तन संस्थान

विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग, भारत सरकार का स्वायत्तशासी संस्थान राष्ट्रीय नवप्रवर्तन प्रतिष्ठान- भारत, भारत सरकार के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग का स्वायत्तशासी संस्थान है। इसका मुख्यालय भारत के गुजरात राज्य के गांधीनगर शहर में स्थित है। हनी बी नेटवर्क के दर्शन पर आधारित व संस्थापित राष्ट्रीय नवप्रवर्तन प्रतिष्ठान-भारत (रानप्र) ने मार्च, 2000 में तृणमूल प्रौद्योगिकीय नवप्रवर्तनों एवं विशिष्ठ पारंपरिक ज्ञान को सशक्त करने की राष्ट्रीय पहल के रूप में कार्य करना आरंभ किया। इसका ध्येय तृणमूल प्रौद्योगिकीय नवप्रवर्तकों के लिए नीतियों के विस्तार और सांस्थानिक फैलाव के जरिए एक सृजनात्मक एवं ज्ञान आधारित समाज बनाने का है। रानप्र तृणमूल नवप्रवर्तकों एवं विशिष्ठ पारम्परिक ज्ञानधारकों को पहचान दिलाने के साथ उन्हें सम्मानित और पुरस्कृत करता है। दस्तावेजीकरण, मूल्य परिवर्धन, बौद्धिक संपदा प्रबंधन के साथ नवप्रवर्तनों के व्यवसायिक व गैरव्यवसायिक प्रसार के जरिए रानप्र भारत को नवप्रवर्तनशील राष्ट्र बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।   परिकल्पना या दृष्टि  भारत को नवप्रवर्तनशील राष्ट्र बनाने के साथ इसके विशिष्ठ पारम्परिक ज्ञान के आधार को आगे बढ़ाना।   ध्येय रानप्र का ध्येय नवप्रवर्तनशील एवं सृजनशील समाज के जरिए भारत को वहनीय प्रौद्योगिकियों में विश्व में अग्रणी देश के रूप में स्थापित करने का है, जिससे बिना किसी सामाजिक और आर्थिक बाधाओं के नए तृणमूल नवप्रवर्तनों का क्रम विकास और प्रसार होता रहे। विषय सूची 1   नवप्रवर्तकों को मिल रही पहचान 1.1.    राष्ट्रीय द्विवार्षिक प्रतियोगिता 1.2.    डॉ.

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