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प्रावस्था संक्रमण

सूची प्रावस्था संक्रमण

भिन्न प्रकार के फेज़ परिवर्तन प्रावस्था संक्रमण या फेज़ ट्रांजिसन (phase transition) किसी उष्मागतिकी मंडल में उस प्रक्रिया को कहते हैं जिसमें कोई पदार्थ अपनी प्रकृति बदल लेता है। उदाहरण के लिए बर्फ़ एक ठोस चीज़ होती है लेकिन गरम करने पर अवस्था परिवर्तन करके पानी नामक द्रव बन जाती है। अगर और गरम किया जाए तो यह फिर से परिवर्तित होकर भाप नामक गैस बन जाती है। कई गैसों को और भी उत्तेजित करने से वह प्लाज़्मा का रूप धारण कर लेती हैं।, Michael Plischke, Birger Bergersen, World Scientific, 2006, ISBN 978-981-256-048-3, Pierre Papon, Jacques Leblond, Paul Herman Ernst Meijer, Springer, 2006, ISBN 978-3-540-33389-0 .

8 संबंधों: धातु हाइड्रोजन, पदार्थ की अवस्थाएँ, प्रावस्था, भौतिकी की शब्दावली, हिमीकरण, वाष्पन की पूर्ण उष्मा, गुप्त ऊष्मा, कैलोरीमिति

धातु हाइड्रोजन

बृहस्पति जैसे कुछ गैस दानव ग्रहों के केन्द्रों में धातु हाइड्रोजन है धातु हाइड्रोजन (metallic hydrogen) हाइड्रोजन की ऐसी अवस्था को कहते हैं जब वह भयंकर दबाव में कुचली जाकर अवस्था परिवर्तन (phase transition) करके विकृत हो जाए।, Gabor Kalman, J. Martin Rommel, Krastan Blagoev, Kastan Blagoev, Springer, 1998, ISBN 978-0-306-46031-9,...

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पदार्थ की अवस्थाएँ

300px पदार्थ की अवस्थायें (States of matter) वह विशिष्ट रूप हैं, जो कोई पदार्थ धारण या ग्रहण कर सकता है। ऐतिहासिक संदर्भ मे, इन अवस्थाओं का अंतर पदार्थ के समग्र गुणों के आधार पर किया जाता था। ठोस वह अवस्था है जिसमें पदार्थ एक निश्चित आकार और आयतन ग्रहण करता है, द्रव अवस्था में पदार्थ का आयतन तो निश्चित होता है पर आकार यह उस पात्र का ग्रहण करता है जिसमे इसे रखा जाता है, गैस के मामले में ना तो कोई निश्चित आकार ना ही कोई निश्चित आयतन होता है और पदार्थ फैल कर उपलब्ध आयतन को ग्रहण कर लेता है। .

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प्रावस्था

एक जार में रखा जल तथा तेल का मिश्रण 'द्रव' अवस्था में है किन्तु इसकी दो पूर्नतः भिन्न प्रास्थाएँ हैं। भौतिक विज्ञानों में प्रावस्था (phase) से तात्पर्य किसी ऊष्मागतिकीय प्रणाली के उस प्रक्षेत्र से है जिसमें पदार्थ के सभी भौतिक गुण अपरिवर्तित रहते हैं। घनत्व, परावर्तन गुणांक, रासायनिक संरचना आदि भौतिक गुणों के अन्तर्गत आते हैं। .

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भौतिकी की शब्दावली

* ढाँचा (Framework).

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हिमीकरण

हिमीकरण (Freezing या solidification) पदार्थ के प्रावस्था संक्रमण की वह प्रक्रिया है जिसमें कोई द्रव, ठोस प्रावस्था में बदलता है। हिमीकरण के लिये उस पदार्थ का ताप उसके गलनांक से नीचे लाना पड़ता है। .

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वाष्पन की पूर्ण उष्मा

वाष्पन की पूर्ण ऊष्मा या वाष्पन की एन्थैल्पी (enthalpy of vaporization; प्रतीक ∆Hvap) ऊर्जा की वह मात्रा है जो द्रव के इकाई मात्रा को गैस में बदलने के लिये आवश्यक होती है। इसे वाष्पन की गुप्त ऊष्मा भी कहते हैं। वाष्पन की एन्थैल्पी, उस दाब पर भी निर्भर करती है जिस पर यह अवस्था परिवर्तन किया जाता है। .

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गुप्त ऊष्मा

जब कोई पदार्थ एक भौतिक अवस्था (जैसे ठोस) से दूसरी भौतिक अवस्था (जैसे द्रव) में परिवर्तित होता है तो एक नियत ताप पर उसे कुछ उष्मा प्रदान करनी पड़ती है या वह एक नियत ताप पर उष्मा प्रदान करता है। किसी पदार्थ की गुप्त उष्मा (latent heat), उष्मा की वह मात्रा है जो उसके इकाई मात्रा द्वारा अवस्था परिवर्तन (change of state) के समय अवषोषित की जाती है या मुक्त की जाती है। इसके अलावा पदार्थ जब अपनी कला (फेज) बदलते हैं तब भी गुप्त उष्मा के बराबर उष्मा का अदान/प्रदान करना पड़ता है। इस शब्द का सर्वप्रथम प्रयोग सन् १७५० के आसपास जोसेफ ब्लैक ने किया था। आजकल इसके स्थान पर "इन्थाल्पी ऑफ ट्रान्सफार्मेशन" का प्रयोग किया जाता है। .

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कैलोरीमिति

'''विश्व का सबसे पहला हिम-कैलोरीमापी''': इसे सन् 1782-83 में लैवाशिए और लाप्लास ने विभिन्न रासायनिक परिवर्तनों में उत्पन्न ऊष्मा की मात्रा के निर्धारण के लिये प्रयोग किया था। किसी रीति से उष्मा के मापन को उष्मामिति या 'कैलोरीमिति' (calorimetry) कहते हैं। किसी रासायनिक अभिक्रिया में या अवस्था परिवर्तन में या किसी भौतिक या रासायनिक परिवर्तन में या किसी जैविक प्रक्रम (बायोलॉजिकल प्रॉसेस) जो ऊष्मा उत्पन्न होती है अवशोषित होती है उसकी मात्रा की माप करके पदार्थों अथवा प्रक्रमों की की विशिष्ट ऊष्मा, ऊष्मा धारिता, गुप्त ऊष्मा आदि का निर्धारण किया जा सकता है। ऊष्मामिति का आरम्भ जूल (Joule) के उस प्रयोग से आरम्भ हुआ जो 'कैलोरी के यांत्रिक तुल्यांक' के निर्धारण के लिये किया गया था। वास्तव में यह प्रयोग ऊर्जा के संरक्षण के सिद्धान्त पर आधारित था। कैलोरीमिति के लिये जो उपकरण उपयोग में लाये जाते हैं उन्हें 'कैलोरीमापी' (calorimeters) कहते हैं! कैलोरीमिति सिद्धांत(principle of calorimetry): जब दो भिन्न भिन्न तापों वाली वस्तुओं को परस्पर रखा जाता है, तो ऊष्मा का प्रवाह उच्च ताप वाली वस्तु से निम्न ताप वाली वस्तु में होता है! .

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यहां पुनर्निर्देश करता है:

फेज़ परिवर्तन, अवस्था परिवर्तन

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