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धनबाद

सूची धनबाद

धनबाद भारत के झारखंड में स्थित एक शहर है जो कोयले की खानों के लिये मशहूर है। यह शहर भारत में कोयला व खनन में सबसे अमीर है। पुर्व मैं यह मानभुम जिला के अधीन था। यहां कई ख्याति प्राप्त औद्योगिक, सामाजिक, सांस्कृतिक और अन्य संस्थान हैं। यह नगर कोयला खनन के क्षेत्र में भारत में सबसे प्रसिद्ध है। कई ख्याति प्राप्त औद्योगिक, सामाजिक, सांस्कृतिक और अन्य संसथान यहाँ पाए जाते हैं। यहां का वाणिज्य बहुत व्यापक है। झारखंड में स्थित धनबाद को भारत की कोयला राजधानी के नाम से भी जाना जाता है। यहां पर कोयले की अनेक खदानें देखी जा सकती हैं। कोयले के अलावा इन खदानों में विभिन्न प्रकार के खनिज भी पाए जाते हैं। खदानों के लिए धनबाद पूरे विश्‍व में प्रसिद्ध है। यह खदानें धनबाद की अर्थव्यवस्था की रीढ़ हैं। पर्यटन के लिहाज से भी यह खदानें काफी महत्वपूर्ण हैं क्योंकि पर्यटक बड़ी संख्या में इन खदानों को देखने आते हैं। खदानों के अलावा भी यहां पर अनेक पर्यटक स्थल हैं जो पर्यटकों को बहुत पसंद आते हैं। इसके प्रमुख पर्यटक स्थलों में पानर्रा, चारक, तोपचांची और मैथन प्रमुख हैं। पर्यटकों को यह पर्यटक स्थल और खदानें बहुत पसंद आती है और वह इनके खूबसूरत दृश्यों को अपने कैमरों में कैद करके ले जाते हैं। कम्बाइन्ड बिल्डिंग चौक .

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चासनाला खान दुर्घटना

दुनिया के दस बडी़ खान दुर्घटना में चासनाला खान दुर्घटना की भी गिनती होती है। 1975 के चासनाला खान दुर्घटना पर यश चोपड़ा ने 1979 में काला पत्थर (1979 फ़िल्म) नामक फिल्म बनाई थी। श्रेणी:दुर्घटनाएँ.

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चंद्रशेखर दुबे

चंद्रशेखर दुबे कांग्रेस के सांसद हैं, एवं झारखंड के धनबाद लोकसभा क्षेत्र का चौदहवीं लोकसभा में प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। श्रेणी:व्यक्तिगत जीवन श्रेणी:सांसद श्रेणी:झारखंड.

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चौदहवीं लोकसभा

भारत में चौदहवीं लोकसभा का गठन अप्रैल-मई 2004 में होनेवाले आमचुनावोंके बाद हुआ था। .

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टाटा पावर

टाटा पावर टाटा घराने की एक कम्पनी है जो निजी क्षेत्र में विद्युत का उत्पादन, संप्रेषण एवं वितरण का काम करती है। बिजली वितरण के क्षेत्र में तो यह पहले से कार्यरत थी लेकिन बिजली उत्पादने के क्षेत्र में इसकी विस्तार की महत्वाकांक्षी योजना है। जमशेदपुर के छोटागोविंदपुर से लगे जोजोबेड़ा में प्रायोगिक तौर पर बिजली के उत्पादन के बाद पहले चरण में धनबाद के मैथन, गुजरात के मुनरा व उड़ीसा के कटक (नारजमाथापुर) में नयी यूनिट लगा रही है। .

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टाटानगर जंक्शन रेलवे स्टेशन

टाटानगर जमशेदपुर शहर के रेलवे-स्टेशन का नाम है जो झारखंड प्रांत में स्थित है। पहले यह बिहार का हिस्सा हुआ करता था। टाटानगर दक्षिणपूर्व रेलवे का एक प्रमुख एवं व्यस्त स्टेशन है जो हावडा मुंबई मुख्य लाईन पर स्थित है। .

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टुंडी

टुंडी में स्थित एक पहाडी़ टुंडी के पास बराकर नदी धनबाद जिला के अन्तर्गत टुंडी एक विधानसभा क्षेत्र है। यह गोविंदपुर गिरीडीह मुख्य मार्ग पर स्थित है। यह क्षेत्र अभी भी आधुनिकता से अछुता है। ग्रामीण आदिवासी परिवेश समाज की झलक देखने को मिलती है। टुंडीवाशी जंगली हाथियों के कहर से परेशान है। किसानों के खेतो मे लगे धान की फसल उत्पाती हाथिंयो को रिहायशी इलाको में खींच लाती है। श्रेणी:झारखण्ड के गाँव.

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टी ए सरस्वती अम्मा

टी ए सरस्वती अम्मा (1918–2000) भारत के केरल राज्य में जन्मी गणितज्ञ थीं। उन्होने भारत के प्राचीन एवं मध्यकालीन ज्यामिति पर विशेष कार्य किया। टेक्कथाअमायन्कोथकलाम सरस्वती अम्मा ने मद्रास विश्वविद्यालय में वीराघवन के साथ काम किया और फिर रांची और धनबाद में शिक्षण किया। उनके शोध के आधार पर ही प्राचीन और मध्यकालीन भारत में ज्यामिति (1979) पर पहला प्रामाणिक और व्यापक अध्ययन प्रकाशित हुआ। उन्होंने राधाचरण गुप्त के ‘प्राचीन और मध्यकालीन भारत में त्रिकोणमिति’ नामक शोध प्रबंध का पर्यवेक्षण भी किया। .

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एशियाई राजमार्ग १

एशियाई राजमार्ग १ (ए एच १) एशियाई राजमार्ग जाल में सबसे लम्बा राजमार्ग है। इसकी कुल लम्बाई २०,५५७ किलोमीटर (१२,७७४ मील) है। यह टोक्यो, जापान से शुरू होकर कोरिया, चीन, हांगकांग, दक्षिण पूर्व एशिया, बांग्लादेश, भारत, पाकिस्तान, अफ़ग़ानिस्तान और ईरान से होता हुआ तुर्की और बुल्गारिया तक जाता है। इस्तांबुल के पश्चिम में यह यूरोपीय ई८० मार्ग से मिल जाता है। .

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झरिया

धनबाद के पास स्थित झरिया भारत के झारखंड प्रान्त का एक शहर है। शहर झरिया अपनी समृद्ध कोयला संसाधन के लिए प्रसिद्ध है। झरिया के कोयला से कोक बनाने के लिए प्रयोग किया जाता है, जिसका प्रयोग मुख्य रूप से लोह-इस्पात उधोग मे होता है। झरिया धनबाद शहर और अर्थव्यवस्था के विकास में एक बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है और धनबाद शहर के एक भाग के रूप में माना जा सकता है है। झरिया झारखंड राज्य में पन्द्रहवें सबसे बड़ा शहर है। 2001 मे भारत की जनगणना के अनुसार झरिया की आबादी 81,979 थी। नर और महिलाओं की जनसंख्या 46% का 54% का प्रतिशत था। झरिया साक्षरता दर 68% जो कि 74.5% के राष्ट्रीय औसत की तुलना में कम है: पुरुष साक्षरता 74% है और महिला साक्षरता 60% है। झरिया में, जनसंख्या के 14% उम्र के 6 वर्ष से कम है। .

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झारखण्ड

झारखण्ड यानी 'झार' या 'झाड़' जो स्थानीय रूप में वन का पर्याय है और 'खण्ड' यानी टुकड़े से मिलकर बना है। अपने नाम के अनुरुप यह मूलतः एक वन प्रदेश है जो झारखंड आंदोलन के फलस्वरूप सृजित हुआ। प्रचुर मात्रा में खनिज की उपलबध्ता के कारण इसे भारत का 'रूर' भी कहा जाता है जो जर्मनी में खनिज-प्रदेश के नाम से विख्यात है। 1930 के आसपास गठित आदिवासी महासभा ने जयपाल सिंह मुंडा की अगुआई में अलग ‘झारखंड’ का सपना देखा.

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झारखंड के शहर

झारखंड के प्रमुख शहरों की सूची.

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झारखंड के विश्वविद्यालयों की सूची

# बिरला प्रौद्योगिकी संस्थान, मेसरा, राँची.

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डायमण्ड क्रासिंग

डायमण्ड क्रासिंग उस तरह की संरचना को कहते हैं जिसमें रेल की दो पटरियां एक दुसरे को बिल्कुल सीधा 90 डिग्री में काटती है, यग इंजिनियरिंग का अदभुत नाजारा पेश करता है। पुरे भारत में मात्र दो जगह ही ऐसा देखने को मिलता है, एक धनबाद और दुसरा नागपुर के समीप।.

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दशरथ माँझी

दशरथ मांझी (जन्म: 1934 – 17 अगस्त 2007) जिन्हें "माउंटेन मैन"के रूप में भी जाना जाता है, बिहार में गया के करीब गहलौर गांव के एक गरीब मजदूर थे। केवल एक हथौड़ा और छेनी लेकर इन्होंने अकेले ही 360 फुट लंबी 30 फुट चौड़ी और 25 फुट ऊँचे पहाड़ को काट के एक सड़क बना डाली। 22 वर्षों परिश्रम के बाद, दशरथ के बनायी सड़क ने अतरी और वजीरगंज ब्लाक की दूरी को 55 किमी से 15 किलोमीटर कर दिया। .

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दसलाखी नगर

जो शहर मोटे अक्षरों में लिखे हैं वो अपने राज्य या केंद्रशासित प्रदेश की राजधानी भी हैं .

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दैनिक जागरण

दैनिक जागरण उत्तर भारत का सर्वाधिक लोकप्रिय समाचारपत्र है। पिछले कई वर्षोँ से यह भारत में सर्वाधिक प्रसार संख्या वाला समाचार-पत्र बन गया है। यह समाचारपत्र विश्व का सर्वाधिक पढ़ा जाने वाला दैनिक है। इस बात की पुष्टि विश्व समाचारपत्र संघ (वैन) द्वारा की गई है। वर्ष 2008 में बीबीसी और रॉयटर्स की नामावली के अनुसार यह प्रतिवेदित किया गया कि यह भारत में समाचारों का सबसे विश्वसनीय स्रोत दैनिक जागरण है। .

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देवेन शर्मा

देवेन शर्मा (अँग्रेजी: Deven Sharma) अमेरिका की अन्तर्राष्ट्रीय रेटिँग एजेन्सी स्टैण्डर्ड एण्ड पुअर्स के अध्यक्ष रह चुके हैं। इसी एजेन्सी ने 6 अगस्त 2011 को अमेरिकी साख की रेटिँग AAA से घटा कर AA+ कर दी थी। जिसके बाद अमरीकी अधिकारियों ने एजेंसी की कड़ी आलोचना की थी। अमेरिका की क्रेटिड रेटिंग घटाए जाने को लेकर शर्मा चर्चा में आए थे। उसके बाद शर्मा ने अपने पद से इस्तीफ़ा दे दिया है। एस एण्ड पी ने शर्मा की जगह सिटी बैंक के चीफ ऑपरेटिंग ऑफिसर डगलस पीटरसन को नया प्रेसिडेंट बनाने का ऐलान किया था जिन्होने 12 सितंबर 2011 को अपनी जिम्मेदारी सँभाला। शर्मा 2006 में कायर्कारी वाइस प्रेसिडेंट के तौर पर स्टैंडर्ड एंड पुअर्स में आए थे। इससे पहले, वह मैकग्रा-हिल कंपनीज में कार्यकारी उपाध्यक्ष (वैश्विक रणनीति) थे। शर्मा मूल रूप से झारखण्ड के निवासी हैं। .

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धनबाद जिला

धनबाद भारतीय राज्य झारखंड का एक जिला है। जिले का मुख्यालय धनबाद है। .

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धनबाद विमानक्षेत्र

धनबाद विमानक्षेत्र एक सार्वजनिक विमान क्षेत्र है। यह झारखंड राज्य के धनबाद शहर में स्थित है। फिलहाल यहाँ से कोई शैडयूल्ड विमान सेवाएँ नहीं हैं। यहाँ से आखरी बार सेवाएँ 1987 में वायुदूत कि थी। वायुदूत के से कोलकाता, पटना और राँची की सेवाएँ थी। झारखंड के उस समय के मुख्यमंत्री श्री सिबू सोरेन ने नयी यात्री प्रतीक्षा हॉल का उदघाटन अक्तूबर 2008 में किया।.

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परिकल्पना सम्मान

परिकल्पना सम्मान हिन्दी ब्लॉगिंग का एक ऐसा वृहद सम्मान है, जिसे बहुचर्चित तकनीकी ब्लॉगर रवि रतलामी ने हिन्दी ब्लॉगिंग का ऑस्कर कहा है। यह सम्मान प्रत्येक वर्ष आयोजित अंतर्राष्ट्रीय हिन्दी ब्लॉगर सम्मेलन में देशविदेश से आए हिन्दी के चिरपरिचित ब्लॉगर्स की उपस्थिति में प्रदान किया जाता है। .

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पाटलीपुत्र मेडीकल कालेज

पाटलीपुत्र मेडीकल कालेज एवं अस्पताल धनबाद में स्थित है। इसकी स्थापना सन 1969 में की गई थी। धनबाद जिले तथा उत्तरी नागपुर का एकमात्र मेडिकल कालेज है। पाटलिपुत्र मेडिकल कालेज (पीएमसी) धनबाद पाटलिपुत्र मेडिकल अशोक राजपथ पटना के रूप में 1971 में स्थापित किया गया था, कॉलेज बिहार के बगल अस्पताल में सरकार के अभाव के कारण किया गया था पर बाद में निजी प्रबंधन धनबाद कॉलेज का तबादला और सदर अस्पताल, अदालत और अधिक परिसर धनबाद संलग्न SSLNT अस्पताल पुराण बाजार धनबाद और केंद्रीय अस्पताल, शिक्षण उद्देश्य के लिए जगजीवन नगर धनबाद (भारत के विभाग के तहत सरकार के श्रम कल्याण.) सरायढेला, धनबाद में और भूमि की 60 एकड़ जमीन के आसपास मेडिकल कॉलेज अस्पताल के विस्तार के लिए अधिग्रहण कर लिया था, जहां चिकित्सा (1977 से कार्यात्मक) कॉलेज और अस्पताल (2001-2002 से funtional) के लिए 500 बेड की क्षमता के साथ नए भवनों का निर्माण किया गया। सरायढेला परिसर में वर्तमान में इस अस्पताल है सभी चिकित्सीय विभागों सर्जरी और हड्डी रोग है जो अभी भी सदर अस्पताल परिसर में पुरानी इमारत में funtioning, अदालत धनबाद की उम्मीद है। .

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पुरूलिया जिला

पुरूलिया जिला भारतीय राज्य पश्चिम बंगाल का एक प्रशासकीय जिला है। इसके उत्तर एवं उत्तर-पश्चिम में झारखंड राज्य के धनबाद एवं हजारीबाग जिले, पश्चिम में बोकारो एवं राँची, दक्षिण में सिंहभूम तथा पूर्व में पश्चिमी बंगाल राज्य का बाँकुड़ा जिला स्थित है। इस जिले का प्रमुख नगर पुरुलिया है। आद्रा, बलरामपुर, रघुनाथपुर, एवं झाल्दा आदि इस जिले के प्रमुख नगर हैं। इसके पूर्वी भाग में जलोढ़ मिट्टी मिलती है तथा यह एक उपजाऊ भाग है। धान की खेती जिले में अधिक की जाती है। यापार में यहाँ चावल का स्थान प्रमुख हैं। श्रेणी:पश्चिम बंगाल के जिले.

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पूर्व मध्य रेलेवे

पूर्व मध्य रेलेवे भारतीय रेल की एक इकाई है। इसे लघुरूप में ECR कहा जाता है। पूर्व मध्य रेलेवे भारतीय रेल की एक इकाई है। इसे लघुरूप में ECR कहा जाता है। इसकी स्थापना 1 अप्रैल 2003 में हुई थी। इसका मुख्यालय हाजीपुर में स्थित है। .

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बरवड्डा

बरवड्डा धनबाद शहर का एयरपोर्ट कहा जा सकता है। यंहा एक बड़ी एअर स्ट्रीप है, जिसका प्रयोग हेलीपैड के रूप मे भी होता है। यह धैया से ग्राण्ड ट्र्न्क रोड (जी टी रोड) (राष्टीय राजमार्ग संख्या 2) जाने के रास्ते के बायें तरफ स्थित है, इसकी सीमा हीरक प्यान्ट से जी टी रोड तक है। 1986 में तत्कालिन प्रधानमंत्री राजीव गांधी का आगमन और भाषण बरवड्डा मे ही हुआ था।.

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बर्धमान जिला

वर्धमान भारतीय राज्य पश्चिम बंगाल का एक जिला है। इसका मुख्यालय दामोदर नदी के किनारे २३ डिग्री २५' उत्तरी अक्षांश तथा ८७ डिग्री ८५' पूर्वी देशान्तर पर स्थित वर्धमान शहर में हैं। प्रदेश की राजधानी कोलकाता से १०० किलोमीटर दूर स्थित इस नगर का गौरवशाली पौराणिक इतिहास है। इसका नामकरण २४वें जैन तीर्थंकर महावीर के नाम पर हुआ है। मुगल काल में इसका नाम शरिफाबाद हुआ करता था। मुगल बादशाह जहांगीर के फरमान पर १७वीं शताब्दी में एक व्यापारी कृष्णराम राय ने वर्धमान में अपनी जमींदारी शूरू की। कृष्णराम राय के वंशजों ने १९५५ तक वर्धमान पर शासन किया। वर्धमान जिले में मिले पाषाण काल के अवशेष तथा सिंहभूमि, पुरूलिया, धनबाद और बांकुड़ा जिले के अवशेषों में समानताएँ हैं। इससे पता चलता है कि यह सम्पूर्ण क्षेत्र एक ही प्रकार की सभ्यता और संस्कृति का पोषक था। वर्धमान नाम अपने आप में ही जैन धर्म के २४वें तीर्थंकर महावीर वर्धमान से जुड़ा हुआ है। पार्श्वनाथ की पहाड़िया जैनों का एक महत्वपूर्ण धार्मिक केन्द्र था। यह भी वर्धमान जिले के सीमा से लगा हुआ है। ऐसा विश्वास किया जाता है कि महावीर अपने धर्म के प्रचार एवं प्रसार के सिलसिले में वर्धमान आए थे। जिले में विभिन्न तीर्थंकरो की पत्थर की बनी प्रतिमाएँ प्राप्त हुई हैं। गुप्त काल एवं सेन युग में वर्धमान का एक महत्वपूर्ण स्थान था। सल्तनत काल एवं मुगलकालों में वर्धमान एक महत्वपूर्ण प्रशासनिक केन्द्र था। जहांगीर की पत्नी नूरजहां वर्धमान की ही थी। नूरजहाँ का पहला पति शेर अफगान वर्धमान का जागीरदार था। जहांगीर ने नूरजहाँ को हासिल करने के लिए कुतुबुद्दीन को वर्धमान का सूबेदार नियुक्त किया। कुतुबुद्दीन और शेर अफगान के बीच वर्तमान वर्धमान रेलने स्टेशन के निकट भयंकर संग्राम हुआ। अंततः दोनो ही मारे गए। आज भी इनकी समाधियो को एक दूसरे के पास वर्धमान में देखा जा सकता है। अकबर के समय में अबुल फजल और फैजी के षडयंत्रों का शिकार होने से बचने के लिए पीर बहराम ने दिल्ली छोड़ दिया। पीर बहराम को इसी वर्धमान शहर ने आश्रय दिया। आज भी यहाँ के हिन्दू और मुस्लिम उन्हें श्रद्धा-पूर्वक स्मरण करते हैं। वर्धमान में एक बहुत बड़ा आम का बगीचा है। यह बगीचा सैकड़ों हिन्दू औरतों के अपने पति के साथ उनकी चिता पर सती होने का गवाह है। मुगलों ने इस्ट इंडिया कम्पनी को तीन ग्राम- सुतानती, गोविन्दपुर तथा कलिकाता एक संधि के जरिए हस्तांतरित कर दिए थे। इस संधि पर हस्ताक्षर वर्धमान में ही हुआ था। कालांतर में यही तीनो ग्राम विकसीत होकर कोलकाता के रूप में जाने गए। .

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भारत में दशलक्ष-अधिक शहरी संकुलनों की सूची

भारत दक्षिण एशिया में एक देश है। भौगोलिक क्षेत्र के अनुसार, वह सातवाँ सबसे बड़ा देश है, और १.२ अरब से अधिक लोगों के साथ, वह दूसरा सबसे अधिक जनसंख्या वाला देश है। भारत में उनतीस राज्य और सात संघ राज्यक्षेत्र हैं। वह विश्व की जनसंख्या के १७.५ प्रतिशत का घर हैं। .

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भारत में सर्वाधिक जनसंख्या वाले महानगरों की सूची

इस लेख में भारत के सर्वोच्च सौ महानगरीय क्षेत्रों की सूची (२००८ अनुसार) है। इन सौ महानगरों की संयुक्त जनसंख्या राष्ट्र की कुल जनसंख्या का सातवां भाग बनाती है। .

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भारत में विश्वविद्यालयों की सूची

यहाँ भारत में विश्वविद्यालयों की सूची दी गई है। भारत में सार्वजनिक और निजी, दोनों विश्वविद्यालय हैं जिनमें से कई भारत सरकार और राज्य सरकार द्वारा समर्थित हैं। इनके अलावा निजी विश्वविद्यालय भी मौजूद हैं, जो विभिन्न निकायों और समितियों द्वारा समर्थित हैं। शीर्ष दक्षिण एशियाई विश्वविद्यालयों के तहत सूचीबद्ध विश्वविद्यालयों में से अधिकांश भारत में स्थित हैं। .

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भारत का भूगोल

भारत का भूगोल या भारत का भौगोलिक स्वरूप से आशय भारत में भौगोलिक तत्वों के वितरण और इसके प्रतिरूप से है जो लगभग हर दृष्टि से काफ़ी विविधतापूर्ण है। दक्षिण एशिया के तीन प्रायद्वीपों में से मध्यवर्ती प्रायद्वीप पर स्थित यह देश अपने ३२,८७,२६३ वर्ग किमी क्षेत्रफल के साथ विश्व का सातवाँ सबसे बड़ा देश है। साथ ही लगभग १.३ अरब जनसंख्या के साथ यह पूरे विश्व में चीन के बाद दूसरा सबसे अधिक जनसंख्या वाला देश भी है। भारत की भौगोलिक संरचना में लगभग सभी प्रकार के स्थलरूप पाए जाते हैं। एक ओर इसके उत्तर में विशाल हिमालय की पर्वतमालायें हैं तो दूसरी ओर और दक्षिण में विस्तृत हिंद महासागर, एक ओर ऊँचा-नीचा और कटा-फटा दक्कन का पठार है तो वहीं विशाल और समतल सिन्धु-गंगा-ब्रह्मपुत्र का मैदान भी, थार के विस्तृत मरुस्थल में जहाँ विविध मरुस्थलीय स्थलरुप पाए जाते हैं तो दूसरी ओर समुद्र तटीय भाग भी हैं। कर्क रेखा इसके लगभग बीच से गुजरती है और यहाँ लगभग हर प्रकार की जलवायु भी पायी जाती है। मिट्टी, वनस्पति और प्राकृतिक संसाधनो की दृष्टि से भी भारत में काफ़ी भौगोलिक विविधता है। प्राकृतिक विविधता ने यहाँ की नृजातीय विविधता और जनसंख्या के असमान वितरण के साथ मिलकर इसे आर्थिक, सामजिक और सांस्कृतिक विविधता प्रदान की है। इन सबके बावजूद यहाँ की ऐतिहासिक-सांस्कृतिक एकता इसे एक राष्ट्र के रूप में परिभाषित करती है। हिमालय द्वारा उत्तर में सुरक्षित और लगभग ७ हज़ार किलोमीटर लम्बी समुद्री सीमा के साथ हिन्द महासागर के उत्तरी शीर्ष पर स्थित भारत का भू-राजनैतिक महत्व भी बहुत बढ़ जाता है और इसे एक प्रमुख क्षेत्रीय शक्ति के रूप में स्थापित करता है। .

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भारत के राष्ट्रीय राजमार्गों की सूची - संख्या अनुसार

भारत के राष्ट्रीय राजमार्गों की सूची (संख्या के क्रम में) भारत के राजमार्गो की एक सूची है। .

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भारत के शहरों की सूची

कोई विवरण नहीं।

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भारत के सर्वाधिक जनसंख्या वाले शहरों की सूची

यह सूचियों भारत के सबसे बड़े शहरों पर है। .

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भारत के सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम

कोई विवरण नहीं।

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भारत कोकिंग कोल लिमिटेड

भारत कोकिंग कोल लिमिटेड (BCCL) कोल इण्डिया लिमिटेड की सहायक इकाई है। इसका मुख्यालय धनबाद में है। इसकी स्थापना कोकिंग कोल की खानों (जिनकी संख्या २१४ है) को चलाने के लिए की गई थी। ये खानें मुख्यतः रानीगंज और झरिया कोयलाक्षेत्रों में स्थित हैं। भारत सरकार ने 16 अक्टूबर 1971 को इन खानों का राष्ट्रीयकरण कर दिया था। .

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भारतीय खनि विद्यापीठ विश्वविद्यालय

विश्वविद्यालय का लोगो भारतीय खनि विद्यापीठ विश्वविद्यालय या इंडियन स्कूल ऑफ़ माइन्स भारत के खनन संबंधी शोध संस्थानों में सबसे प्रमुख है। यह संस्थान नवनिर्मित झारखंड प्रान्त के धनबाद नामक शहर में स्थित है। इसकी स्थापना 1926 में लन्दन के रॉयल स्कूल ऑफ़ माईन्स के तर्ज पर की गई थी। .

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मैथन

मैथन भारत के झारखंड प्रांत का एक प्रमुख शहर है। जो किधनबाद जिले मे आता है। यहा पर दामोदर वैली कार्पोरेशन (डी वी सी) परियोजना (जो एक बहु उदेश्श्यी परियोजना है) के तहत बराकर नदी पर मैथन बांध का निर्माण किया गया है। इस बांध के निर्माण के पीछे उद्देश्य था, बाढ की विभिषिका को कम करना, जलविद्युत पैदा करना, नहर के जरिये दुर-दुरतक कृषि भुमि तक पानी पहुचाना। centre right दर्शनीय स्थल बांध के पास पहाडी़ के नीचे भुमिगत जल विद्युत पैदा की जाती है। बांध के पास ही सुन्दर पार्क का निर्माण किया गया है। धनबाद और आसपास के क्षेत्रों का प्रमुख पिकनीक स्पाट है। पास ही काली माता का एक बड़ा और प्राचीन मंदीर है, जिसे मां कल्यानेश्वरी का मंदिर भी कहा जाता है। दुर-दुर से लोग माता के दर्शन, मुंडन व शादी-विवाह के लिये आते है। मां कल्यानेश्वरी का मंदिर् .

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मैथन बांध

मैथन बांध भारतवर्ष के झारखंड प्रदेश में स्थित धनबाद से ५२ किमी दूर मैथन बांध दामोदर वैली कारपोरेशन का सबसे बड़ा जलाशय है। इसके आस-पास का सौंदर्य पर्यटकों को बरबस ही अपनी ओर आकर्षित कर लेता है। बराकर नदी के ऊपर बने इस बाँध का निर्माण बाढ़ को रोकने के लिए किया गया था। बाँध के नीचे एक पावर स्‍टेशन का भी निर्माण किया गया है, जो दक्षिण पूर्व एशिया में अपने आप में आधुनिकतम तकनीक का उदाहरण माना जाता है। इसकी परिकल्पना जवाहरलाल नेहरू ने की थी। इसके पास ही माँ कल्‍याणेश्‍वरी का एक अति प्राचीन मंदिर भी है। लगभग ६५ वर्ग कि॰मी॰ में फैले इस बाँध के पास एक झील भी है जहाँ नौकायन और आवासीय सुविधाएँ उपलब्‍ध है। इसके अतिरिक्त एक मृगदाव तथा पक्षी विहार भी है, जहाँ पर्यटक जंगल के प्राकृतिक सौन्‍दर्य तथा विभिन्‍न किस्‍म के पशु-पक्षियों को देख सकते है। १५,७१२ फीट लंबे और १६५ फीट ऊँचे इस बाँध से ६०,००० किलोवाट बिजली का उत्‍पादन होता है। वैसे य़े इलाका नक्सली प्रभावित भी है----इसलिए जाने से पहले थोड़ा सावधान .

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मैथिली भाषा

मैथिली भारत के उत्तरी बिहार और नेपाल के तराई क्षेत्र में बोली जाने वाली भाषा है। यह हिन्द आर्य परिवार की सदस्य है। इसका प्रमुख स्रोत संस्कृत भाषा है जिसके शब्द "तत्सम" वा "तद्भव" रूप में मैथिली में प्रयुक्त होते हैं। यह भाषा बोलने और सुनने में बहुत ही मोहक लगता है। मैथिली भारत में मुख्य रूप से दरभंगा, मधुबनी, सीतामढ़ी, समस्तीपुर, मुंगेर, मुजफ्फरपुर, बेगूसराय, पूर्णिया, कटिहार, किशनगंज, शिवहर, भागलपुर, मधेपुरा, अररिया, सुपौल, वैशाली, सहरसा, रांची, बोकारो, जमशेदपुर, धनबाद और देवघर जिलों में बोली जाती है| नेपाल के आठ जिलों धनुषा,सिरहा,सुनसरी, सरलाही, सप्तरी, मोहतरी,मोरंग और रौतहट में भी यह बोली जाती है। बँगला, असमिया और ओड़िया के साथ साथ इसकी उत्पत्ति मागधी प्राकृत से हुई है। कुछ अंशों में ये बंगला और कुछ अंशों में हिंदी से मिलती जुलती है। वर्ष २००३ में मैथिली भाषा को भारतीय संविधान की ८वीं अनुसूची में सम्मिलित किया गया। सन २००७ में नेपाल के अन्तरिम संविधान में इसे एक क्षेत्रीय भाषा के रूप में स्थान दिया गया है। .

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मेयांग चांग

मेयांग चांग भारत के एक प्रसिद्ध टीवी एवं फिल्म कलाकार तथा गायक हैं। वे प्रसिद्ध नृत्य शो झलक दिखला जा के सीज़न ४ के विजेता रह चुके हैं। वे एक दंत चिकित्सक हैं। .

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रणधीर प्रसाद वर्मा

रणधीर प्रसाद वर्मा भारतीय पुलिस अफसर थे जिनका धनबाद में एक बैंक डकैती को रोकते समय निधन हो गया था। उन्हें वीरता के लिए मरणोपरांत अशोक चक्र से सम्मानित किया गया। भारत सरकार ने उनके सम्मान में सन् २००४ में स्मारक डाक टिकट भी जारी किया था। उनका जन्म बिहार के सुपौल जिले (पूर्व सहरसा जिला) के जगतपुर नामक गाँव में हुआ। उनकी शिक्षा सेंट जॉन हाई स्कूल तथा पटना कॉलेज में हुई। वो १९७४ में भारतीय पुलिस सेवा से जुड़े। पुलिस अफसर के रूप में उन्होंने विभिन्न आपराधिक गिरोहों का सफाया किया। धनबाद में वो पुलिस अधीक्षक के रूप में कार्यरत थे उसी समय ३ जनवरी १९९१ को बैंक ऑफ़ इंडिया की शाखा में डकैती को विफल करने के प्रयास में उनका निधन हो गया। उनकी विधवा पत्नी रीता वर्मा बाद में राजनीति से जुड़ गयी और भाजपा उम्मीदवार के रूप में लोक सभा सांसद निर्वाचित हुई। .

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रणजी ट्रॉफी 2016-17 ग्रुप सी

रणजी ट्रॉफी 2016-17 की रणजी ट्रॉफी, भारत में प्रथम श्रेणी क्रिकेट टूर्नामेंट के 83 वें मौसम है। यह तीन समूहों में विभाजित 28 टीमों ने चुनाव लड़ा जा रहा है। ग्रुप ए और बी नौ टीमों का समावेश है और ग्रुप सी दस टीमों के शामिल हैं। .

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राष्ट्रीय राजमार्ग ३२

१७९ किलोमीटर लंबा यह राजमार्ग पूर्वी भारत में गोबिन्द्पुर के पास राष्ट्रीय राजमार्ग 2 से निकलकर धनबाद के रास्ते जमशेदपुर तक जाता है। श्रेणी:भारत के राष्ट्रीय राजमार्ग.

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राष्ट्रीय खनन शोध संस्थान

राष्ट्रीय खनन शोध संस्थान या इंडियन स्कूल ऑफ माइंस भारत के खनन संबंधी शोध संस्थानों में सबसे प्रमुख है। यह संस्थान नवनिर्मित झारखंड प्रान्त के धनबाद नामक शहर में स्थित है। .

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लुबी सर्कुलर रोड

लुबी सर्कुलर रोड धनबाद के महत्वपुर्ण के क्षेत्रो में से एक है। यह सड़क हीरापुर मोड़ के पास मेन रोड से सुरु होकर कँबाइन्ड बिल्डींग तक जाती है। यहा जिले कई महत्वपुर्ण कार्यालय और सरकारी अफसरो के आवास स्थान है मसलन जिले से पुलिस कप्तान (एस पी) का सरकारी निवास, महिला कालेज एस एस एल एन टी कालेज, माडा (मिनरल एरिआ डेव्पलमेन्ट आथरिटी) का मुख्य कार्यालय, धनबाद कल्ब, राज्कीय लाईब्ररेरी, कई राजनितिक पार्टीयो का जिला स्तर्रीय कार्यालय। लुबी सर्कुलर रोड में रणधीर वर्मा चोक की तरफ कई बैंक तथा होटल भी है। इसी रोड पर मुर्तिकार पाल की दुकान है, जहां से पुरे जिले को वर्षो से पुजा के लिए मुर्तिया भेजी जाती रही है, श्री पाल की देवी दुर्गा की मुर्ती पुरे धनबाद में प्रसिध्द है।.

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शान्ति स्वरूप भटनागर

सर शांति स्वरूप भटनागर, OBE, FRS (२१ फरवरी १८९४ – १ जनवरी १९५५) जाने माने भारतीय वैज्ञानिक थे। इनका जन्म शाहपुर (अब पाकिस्तान में) में हुआ था। इनके पिता परमेश्वरी सहाय भटनागर की मृत्यु तब हो गयी थी, जब ये केवल आठ महीने के ही थे। इनका बचपन अपने ननिहाल में ही बीता। इनके नाना एक इंजीनियर थे, जिनसे इन्हें विज्ञान और अभियांत्रिकी में रुचि जागी। इन्हें यांत्रिक खिलौने, इलेक्ट्रानिक बैटरियां और तारयुक्त टेलीफोन बनाने का शौक रहा। इन्हें अपने ननिहाल से कविता का शौक भी मिला और इनका उर्दु एकांकी करामाती प्रतियोगिता में प्रथम स्थान पाया था। भारत में स्नातकोत्तर डिग्री पूर्ण करने के उपरांत, शोध फ़ैलोशिप पर, ये इंगलैंड गये। इन्होंने युनिवर्सिटी कालेज, लंदन से १९२१ में, रसायन शास्त्र के प्रोफ़ैसर फ़्रेड्रिक जी डोन्नान की देख रेख में, विज्ञान में डाक्टरेट की उपाधि प्राप्त की। भारत लौटने के बाद, उन्हें बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय से प्रोफ़ैसर पद हेतु आमंत्रण मिला। सन १९४१ में ब्रिटिश सरकार द्वारा इनकी शोध के लिये, इन्हें नाइटहुड से सम्मानित किया गया। १८ मार्च १९४३ को इन्हें फ़ैलो आफ़ रायल सोसायटी चुना गया। इनके शोध विषय में एमल्ज़न, कोलाय्ड्स और औद्योगिक रसायन शास्त्र थे। परन्तु इनके मूल योगदान चुम्बकीय-रासायनिकी के क्षेत्र में थे। इन्होंने चुम्बकत्व को रासायनिक क्रियाओं को अधिक जानने के लिये औजार के रूप में प्रयोग किया था। इन्होंने प्रो॰ आर.एन.माथुर के साथ भटनागर-माथुर इन्टरफ़ेयरेन्स संतुलन का प्रतिपादन किया था, जिसे बाद में एक ब्रिटिश कम्पनी द्वारा उत्पादन में प्रयोग भी किया गया। इन्होंने एक सुन्दर कुलगीत नामक विश्वविद्यालय गीत की रचना भी की थी। इसका प्रयोग विश्वविद्यालय में कार्यक्रमों के पहले होता आया है। भारत के प्रधान मंत्री जवाहर लाल नेहरू वैज्ञानिक प्रसार के प्रबल समर्थक थे। १९४७ में, भारतीय स्वतंत्रता के उपरांत, वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद (सीएसआईआर) की स्थापना, श्री भटनागर की अध्यक्षता में की गयी। इन्हें सी.एस.आई.आर का प्रथम महा-निदेशक बनाया गया। इन्हें शोध प्रयोगशालाओं का जनक कहा जाता है व भारत में अनेकों बड़ी रासायनिक प्रयोगशालाओं के स्थापन हेतु स्मरण किया जाता है। इन्होंने भारत में कुल बारह राष्ट्रीय प्रयोगशालाएं स्थापित कीं, जिनमें प्रमुख इस प्रकार से हैं.

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सय्यद मुश्ताक अली ट्रॉफी

सय्यद मुश्ताक अली ट्रॉफी भारत में ट्वेंटी-20 क्रिकेट घरेलू चैंपियनशिप, भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) द्वारा आयोजित रणजी ट्रॉफी से टीमों के बीच था। 2008-09 सत्र में इस ट्रॉफी के लिए उद्घाटन सत्र था। यह एक प्रसिद्ध भारतीय क्रिकेटर के नाम पर है, सय्यद मुश्ताक अली। जून 2016 में बीसीसीआई ने घोषणा की है कि चैम्पियनशिप खत्म कर दिया है और एक जोनल आधारित प्रतियोगिता के साथ प्रतिस्थापित किया जाएगा। .

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सरायढेला

सरायढेला झारखण्ड के धनबाद जिले के अन्तर्गत आनेवाला एक शहरी कस्बा है, जो अत्यन्त तेजी से विकास कर रहा है। जिले के नामी शिक्षण संस्थान, कई सरकारी कंपनियो की रिहायशी इलाका और कार्यालय, छोटे-मोटे दुकानो के साथ बिग बाजार, मेगामार्ट जैसी बडी रिटेल क्षेत्र, कई मन्दिर साथ बैंक आदि इस क्षेत्र मे खुले है। .

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सिंदरी

अवलोकन सिंदरी धनबाद झारखंड राज्य के धनबाद जिला के नगरपालिका सीमा के भीतर एक औद्योगिक नगरी है। जल्दी औद्योगिक भारत में यहाँ कल्पना - सिंदरी अच्छी तरह से एक बड़ी उर्वरक कारखाना (FCIL, 2002 में बंद भारत का उर्वरक निगम) की वजह से जाना जाता था। यह भी जाना जाता था एसोसिएटेड सीमेंट कंपनी (एसीसी), इंडियन आयरन एंड स्टील कंपनी (इस्को) है, जो स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड द्वारा किया गया है पर ले लिया की कोयला खान जैसे यहां स्थित कुछ अन्य कंपनियों के लिए सेल और परियोजनाओं और विकास इंडिया लिमिटेड पीडीआईएल, पूर्व योजना एवं विकास प्रभाग भारत कोकिंग कोल लिमिटेड की एक सहायक कंपनी कोल इंडिया लिमिटेड के FCIL और कोयला खान के.

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स्टील गेट

left राजमार्ग क्र 32 पर अवस्थित स्टील गेट धनबाद के प्रमुख उभरते स्थानो में एक है। यह सरायधेला थाना के अन्तर्गत आता है। कई व्वासायिक सन्स्थान, सरकारी कलोनियो के कारण स्टील गेट तेजी से प्रगति कर रहा है। स्टील गेट के आसपास सी सी ड्ब्बलु ओ (पुर्व में हिन्दुस्तान स्टील कलोनी), कोयलानगर, न्यु कलोनी आदि अव्स्थित है। .

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स्वच्छ भारत अभियान

स्वच्छ भारत अभियान भारत सरकार द्वारा आरंभ किया गया राष्ट्रीय स्तर का अभियान है जिसका उद्देश्य गलियों, सड़कों तथा अधोसंरचना को साफ-सुथरा करना है। यह अभियान महात्मा गाँधी के जन्मदिवस 02 अक्टूबर 2014 को आरंभ किया गया। राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी ने देश को गुलामी से मुक्त कराया, परन्तु 'स्वच्छ भारत' का उनका सपना पूरा नहीं हुआ। महात्मा गांधी ने अपने आसपास के लोगों को स्वच्छता बनाए रखने संबंधी शिक्षा प्रदान कर राष्ट्र को एक उत्कृष्ट संदेश दिया था। स्वच्छ भारत का उद्देश्य व्यक्ति, क्लस्टर और सामुदायिक शौचालयों के निर्माण के माध्यम से खुले में शौच की समस्या को कम करना या समाप्त करना है। स्वच्छ भारत मिशन लैट्रिन उपयोग की निगरानी के जवाबदेह तंत्र को स्थापित करने की भी एक पहल करेगा। सरकार ने 2 अक्टूबर 2019, महात्मा गांधी के जन्म की 150 वीं वर्षगांठ तक ग्रामीण भारत में 1.96 लाख करोड़ रुपये की अनुमानित लागत (यूएस $ 30 बिलियन) के 1.2 करोड़ शौचालयों का निर्माण करके खुले में शौंच मुक्त भारत (ओडीएफ) को हासिल करने का लक्ष्य रखा है। .

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हिन्दी पत्रिकाएँ

हिन्दी पत्रिकाएँ सामाजिक व्‍यवस्‍था के लिए चतुर्थ स्‍तम्‍भ का कार्य करती हैं और अपनी बात को मनवाने के लिए एवं अपने पक्ष में साफ-सूथरा वातावरण तैयार करने में सदैव अमोघ अस्‍त्र का कार्य करती है। हिन्दी के विविध आन्‍दोलन और साहित्‍यिक प्रवृत्तियाँ एवं अन्‍य सामाजिक गतिविधियों को सक्रिय करने में हिन्दी पत्रिकाओं की अग्रणी भूमिका रही है।; प्रमुख हिन्दी पत्रिकाएँ- .

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हिन्दी समाचारपत्रों की सूची

इंटरनेट एवं प्रिंट दोनो पर उपलब्ध हिन्दी समाचार पत्र.

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जोधपुर

जोधपुर भारत के राज्य राजस्थान का दूसरा सबसे बड़ा नगर है। इसकी जनसंख्या १० लाख के पार हो जाने के बाद इसे राजस्थान का दूसरा "महानगर " घोषित कर दिया गया था। यह यहां के ऐतिहासिक रजवाड़े मारवाड़ की इसी नाम की राजधानी भी हुआ करता था। जोधपुर थार के रेगिस्तान के बीच अपने ढेरों शानदार महलों, दुर्गों और मन्दिरों वाला प्रसिद्ध पर्यटन स्थल भी है। वर्ष पर्यन्त चमकते सूर्य वाले मौसम के कारण इसे "सूर्य नगरी" भी कहा जाता है। यहां स्थित मेहरानगढ़ दुर्ग को घेरे हुए हजारों नीले मकानों के कारण इसे "नीली नगरी" के नाम से भी जाना जाता था। यहां के पुराने शहर का अधिकांश भाग इस दुर्ग को घेरे हुए बसा है, जिसकी प्रहरी दीवार में कई द्वार बने हुए हैं, हालांकि पिछले कुछ दशकों में इस दीवार के बाहर भी नगर का वृहत प्रसार हुआ है। जोधपुर की भौगोलिक स्थिति राजस्थान के भौगोलिक केन्द्र के निकट ही है, जिसके कारण ये नगर पर्यटकों के लिये राज्य भर में भ्रमण के लिये उपयुक्त आधार केन्द्र का कार्य करता है। वर्ष २०१४ के विश्व के अति विशेष आवास स्थानों (मोस्ट एक्स्ट्रा ऑर्डिनरी प्लेसेज़ ऑफ़ द वर्ल्ड) की सूची में प्रथम स्थान पाया था। एक तमिल फ़िल्म, आई, जो कि अब तक की भारतीय सिनेमा की सबसे महंगी फ़िल्मशोगी, की शूटिंग भी यहां हुई थी। .

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विनोबा भावे विश्वविद्यालय

right विनोबा भावे विश्वविद्यालय झारखण्ड राज्य का एक विश्वविद्यालय है। इसका मुख्यालय हजारीबाग में है एवं इसमें हजारीबाग सहित कोडरमा, चतरा एवं धनबाद अर्थात सम्पूर्ण उत्तरी झारखण्ड के कई महाविद्यालय एवं शिक्षण संस्थान संबद्ध हैं। पहले यह विश्वविद्यालय रांची विश्वविद्यालय का अंग हुआ करता था। विनोबा भावे विश्वविद्यालय, झारखंड, एक शिक्षण एवं संबद्धन के राज्य विश्वविद्यालय,17 सितंबर 1992 के रूप में राँची विश्वविद्यालय के विभाजन के बाद अस्तित्व में आया, 1990 के अधिनियम द्वारा 3 बिहार द्वारा पारित विधानसभा.

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वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद

वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद भारत का सबसे बड़ा विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी पर अनुसंधान एवं विकास संबंधी संस्थान है। इसकी स्थापना १९४२ में हुई थी। इसकी ३९ प्रयोगशालाएं एवं ५० फील्ड स्टेशन भारत पर्यन्त फैले हुए हैं। इसमें १७,००० से अधिक कर्मचारी कार्यरत हैं। आधिकारिक जालस्थल हालांकि इसकी वित्त प्रबंध भारत सरकार के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय द्वारा होता है, फिर भी ये एक स्वायत्त संस्था है। इसका पंजीकरण भारतीय सोसायटी पंजीकरण धारा १८६० के अंतर्गत हुआ है। वैज्ञानिक तथा औद्योगिक अनुसंधान परिषद राष्ट्रीय प्रयोगशालाओं/संस्थानों का एक बहुस्थानिक नेटवर्क है जिसका मैंडेट विज्ञान और प्रौद्योगिकी के विभिन्न क्षेत्रों में अनुप्रयुक्त अनुसंधान तथा उसके परिणामों के उपयोग पर बल देते हुए अनुसंधान एवं विकास परियोजनाएं प्रारंभ करना है। वतर्मान में ३९ अनुसंधान संस्थान हैं जिनमें पाँच क्षेत्रीय अनुसंधान प्रयोगशालाएं शामिल हैं। इनमें से कुछेक संस्थानों ने अपने अनुसंधान क्रियाकलापों को और गति प्रदान करने के लिए प्रायोगिक, सर्वेक्षण क्षेत्रीय केन्द्रों की भी स्थापना की है तथा वतर्मान में 16 प्रयोगशालाओं से सम्बद्ध ऐसे 39 केन्द्र कायर्रत हैं। सीएसआईआर की गिनती विश्‍व में इस प्रकार के 2740 संस्‍थानों में 81वें स्‍थान पर होती है।(सितंबर २०१४) .

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ग्रैंड ट्रंक रोड

ग्रैंड ट्रंक रोड, दक्षिण एशिया के सबसे पुराने एवं सबसे लम्बे मार्गों में से एक है। दो सदियों से अधिक काल के लिए इस मार्ग ने भारतीय उपमहाद्वीप के पूर्वी एवं पश्चिमी भागों को जोड़ा है। यह हावड़ा के पश्चिम में स्थित बांगलादेश के चटगाँव से प्रारंभ होता है और लाहौर (पाकिस्तान) से होते हुए अफ़ग़ानिस्तान में काबुल तक जाता है। पुराने समय में इसे, उत्तरपथ,शाह राह-ए-आजम,सड़क-ए-आजम और बादशाही सड़क के नामों से भी जाना जाता था। यह मार्ग, मौर्य साम्राज्य के दौरान अस्तित्व में था और इसका फैलाव गंगा के मुँह से होकर साम्राज्य के उत्तर-पश्चिमी सीमा तक हुआ करता था। आधुनिक सड़क की पूर्ववर्ती का पुनःनिर्माण शेर शाह सूरी द्वारा किया गया था। सड़क का काफी हिस्सा १८३३-१८६० के बीच ब्रिटिशों द्वारा उन्नत बनाया गया था। .

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गैंग्स ऑफ वासेपुर – भाग 2

गैंग्स ऑफ वासेपुर – भाग 2 (या Gangs of वासेपुर II) 2012 की एक भारतीय अपराध फिल्म है, जिसे अनुराग कश्यप द्वारा सह-लिखित, निर्मित और निर्देशित किया गया है। यह धनबाद, झारखंड के कोयला माफिया और तीन अपराधिक परिवारों के बीच अंतर्निहित शक्ति संघर्ष, राजनीति और प्रतिशोध पर केंद्रित फ़िल्म गैंग्स ऑफ वासेपुर श्रृंखला की दूसरी किस्त है। फ़िल्म के दूसरे भाग में प्रमुख भूमिकाओं में नवाज़ुद्दीन सिद्दीकी, ऋचा चड्ढा, हुमा कुरेशी, तिग्मांशु धूलिया, पंकज त्रिपाठी, राजकुमार राव और ज़ीशन कादरी आदि कलाकार शामिल है। इसकी कहानी 1990 से 2009 तक के कालक्रम में फैली हुई है। फिल्म के दोनों हिस्सों को एक फिल्म के रूप में शूट किया गया था, जो कुल 319 मिनट की थी और इसे 2012 के कान फ़िल्मोत्सव में प्रदर्शित किया गया था, लेकिन चूंकि कोई भी भारतीय सिनेमाघर पांच घंटे की फिल्म को नहीं दिखाना चाहते थे, इसिलिये इसे भारतीय बाजार के लिए दो भागों (160 मिनट और 159 मिनट क्रमशः) में विभाजित किया गया था। फिल्म में भारी मात्रा में अश्लील शब्द और हिंसा के कई दृश्य होने के कारण केन्द्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड से इसे केवल वयस्क प्रमाणीकरण मिला। फिल्म का संगीत, पारंपरिक भारतीय लोक गीतों से बहुत प्रभावित था। भाग 2 को पूरे भारत में 8 अगस्त 2012 को प्रदर्शित किया गया था। फिल्म के दोनों भागों का आलोचकों द्वारा प्रशंसित किया गया था। संयुक्त फिल्म ने 60वीं राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कारों में सर्वश्रेष्ठ ऑडिगोग्राफी, फाइनल मिश्रित ट्रैक (आलोक डी, सिनोई जोसेफ और श्रीजेश नायर) के पुन: रिकॉर्डिस्ट और अभिनय (नवाजुद्दीन सिद्दीकी) के लिए विशेष उल्लेख जीता था। फिल्म ने 58वें फिल्मफेयर अवॉर्ड्स में सर्वश्रेष्ठ फिल्म (आलोचकों) और सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री (आलोचकों) समेत चार फिल्मफेयर पुरस्कार जीते, हालांकि किसी भी वित्तीय मानक से भारी सफल नहीं होने के बावजूद, 18.5 करोड़ के कम संयुक्त बजट के कारण, 50.81 करोड़ (2 भागों के संयुक्त) की शुद्ध घरेलू कमाई के साथ व्यावसायिक रूप से सफल रही। इसे कई आधुनिक पंथ फिल्म के रूप में माना जाता है। .

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गोमो

गोमो झारखंड प्रान्त के धनबाद जिला का एक प्रखंड एवं छोटा शहर है। thumb धनबाद से लगभग २३ किमी दुरी पर स्थित एक कस्बा है। कोलकाता दिल्ली रेलमार्ग पर स्थित गोमो रेलवे स्टेशन का नामाकरण नेतानी सुभाष चन्द्र बोस २३ जनवरी २००९ को कर दिया गया। नेतानी सुभाष चन्द्र बोस १८ जनवरी १९४१ को कालका मेल से पेशावर के लिये प्रस्थान यही से किये थे। उन्के सम्मान मे गोमो रेल्वे स्टेशन का नाम बदल दिया गया। नेताजी के जन्मदिन २३ जनवरी को हर साल स्टेशन परिसर मे सान्सकृतिक क्रार्यक्रम का आयोजन होता है। गोमो में दो बड़े खेल के मैदान हैं। भूगोल गोमो 23.87 ° N 86.17 ° E में स्थित है। गोमो की औसत ऊंचाई 245 मीटर (803 फीट) है। गोमो का वातावरण सुखद मौसम की स्थिति के साथ एक धूल मुक्त क्षेत्र (बहुत प्रदूषित numersous कोयला खानों के कारण आसपास के विपरीत) है। गोमो की जनसन्खया 2001 के अनुसार 28,576 की आबादी थी। इसमे पुरुस और महिलाओं की जनसंख्या का प्रतिशत क्रमश: 46% का 54% है। गोमो की साक्षरता दर 70% जो की औसत 65% के राष्ट्रीय औसत की तुलना में अधिक है। पुरुष साक्षरता 78% है और महिला साक्षरता 60% है। गोमो 6 वर्ष उम्र से कम की जनसंख्या 14% है। सामाजिक संरचना गोमोह विविध धार्मिक और व्यावसायिक पृष्ठभूमि से आये लोगो का निवास स्थान हैं। वहाँ जो राष्ट्रीय / अंतरराष्ट्रीय स्तर पर तरंगों बना रहे हैं इस जगह से कई युवा मन के हैं। उनमें से कुछ पर अध्ययन कर रहे हैं भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान.

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आवाज

जमशेदपुर एवं धनबाद से प्रकाशित हिन्दी दैनिक। श्रेणी:हिन्दी प्रकाशन.

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काला पत्थर (१९७९ फ़िल्म)

काला पत्थर 1979 में बनी हिन्दी भाषा की फिल्म है। इस फिल्म की कहानी धनबाद में 1975 के चासनाला के खान दुर्घटना से प्रेरित थी। इस दुर्घटना मे सरकारी आँकडो़ के अनुसार 375 लोग मारे गये थे। .

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कालका मेल

1906 में कालका स्टेशन से रवाना होती ईस्ट इंडिया रेलवे मेल। कालका मेल, भारतीय रेल द्वारा संचालित एक रेलगाड़ी है जो भारत के पूर्वी राज्य पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता के निकट स्थित हावड़ा को एक अन्य राज्य हरियाणा के पंचकुला में स्थित कालका, रेलवे स्टेशन से जोड़ती है, जो एक समय भारत की ग्रीष्मकालीन राजधानी शिमला, जाने वाली रेलवे लाइन का प्रारंभिक स्टेशन भी है। .

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कुमारधुबी

कुमारधुबी भारत के झारखंड राज्य में धनबाद के निकट एक रेलवे स्टेशन है। श्रेणी:झारखंड.

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केन्‍द्रीय कांच एवं सिरामिक अनुसन्धान संस्‍थान

केन्‍द्रीय कांच एवं सिरामिक अनुसंधान संस्‍थान (सीजीसीआरआई) भारत की कांच एवं सिरामिक से सम्बन्धित अनुसंधान की प्रमुख प्रयोगशाला है। यह पश्चिम बंगाल के यादवपुर (जादवपुर) में स्थित है। यह वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद के अन्तर्गत है। इसका उद्देश्य कांच, सिरामिकी एवं संबन्धित पदार्थों के क्षेत्र में वैज्ञानिक-औद्योगिक अनुसंधान एवं विकास करना है ताकि देश की जनता को अधिकतम आर्थिक, पर्यावरणीय एवं सामाजिक लाभ मिल सके। आरंभिक चरण में देश में उपलब्‍ध खनिज संसाधनों का पता लगाना एवं विशेष उत्पादों के विकास में उनका उपयोग करना ही मुख्‍य उद्देश्‍य था। इस संस्‍थान ने सन् 1944 में सीमित रूप में काम करना आरंभ तो कर दिया था परंतु औपचारिक रूप से इसका उद्घाटन 26 अगस्‍त 1950 को किया गया। आरंभिक समय में यह सेन्‍ट्रल ग्‍लास एण्‍ड सिलिकेट रिसर्च इंस्‍टट्यूट के नाम से बना था और यह संस्‍थान वैज्ञानिक तथा औद्योगिक अनुससंधान परिषद के अंतर्गत आरंभ की गई सबसे पहली चार प्रस्‍तावित प्रयोगशालाओंमें से एक है। अन्‍य तीन प्रयोगशालाएं हैं एन.सी.एल.-पुणे, एन.पी.एल-नई दिल्‍ली एवं सीएफआरआई-धनबाद। .

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केंद्रीय खनन एवं ईंधन अनुसंधान संस्थान

केंद्रीय खनन एवं ईंधन अनुसंधान संस्थान केंद्रीय खनन एवं ईंधन अनुसंधान संस्थान (अंग्रेजी -Central Institute of Mining and Fuel Research) धनबाद, झारखण्ड में स्थित है। यह भारत की वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद की एक अंगीभूत प्रयोगशाला है। यह खनन से खपत तक अर्थात सम्पूर्ण कोयला ऊर्जा श्रृंखला को अनुसंधान व विकास से संबंधित निवेश उपलब्ध कराने के लिए समर्पित है। सीएफआरआई (केंद्रीय ईंधन अनुसंधान संस्थान) तथा सीएमआरआई (केंद्रीय खनन अनुसंधान संस्थान) के एकीकरण के बाद सीआईएमएफआर (केंद्रीय खनन एवं ईंधन अनुसंधान संस्थान) का गठन हुआ। राँची, बिलासपुर (मध्य प्रदेश), नागपुर व रुड़की में इस संस्थान के यूनिट हैं। http://www.cmriindia.nic.in/hindi/hindex.html .

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कोयला नगर

कोयला नगर कोयला नगर कोल इण्डिया लिमिटेड की एक अनुषांगिक कम्प्नी भारत कोकिंग कोल लिमीटेड (बी सी सी एल) का मुख्यालय है। कोयला नगर मे बी सी सी एल की मुख्य कार्यालय के साथ एक बहुत बडी क्लोनी है, जहा कर्मचारी रहते है। बी सी सी एल ने लगभग हर सुविधा उपलब्ध कराई है, मसलन खेलने के लिये ईण्डोर और आउटडोर स्टेडियम, तरणताल, डी ए वी विध्यालय, कई सरकारी बैंक, पोस्ट आफिस, शापिंग सेन्टर, समुदायिक भवन आदि। यहा धनबाद जिले का दुरदर्शन केन्द्र है, जिसका उदघाटन तत्कालिन प्रधानमंत्री स्व इन्दिरा गांधी जी के हाथो 1984 ने हुआ था। श्रेणी:संस्थान.

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