7 संबंधों: तेज सप्रू, धर्मेन्द्र द्वारा अभिनीत फ़िल्में, परीक्षत साहनी, फरहा, मुकेश खन्ना, के॰ सी॰ बोकाड़िया, अमरीश पुरी।
तेज सप्रू
तेज सप्रू हिन्दी फ़िल्मों के एक अभिनेता हैं। मुख्यत: खलनायक की भूमिका के लिए जाने जाते है। .
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धर्मेन्द्र द्वारा अभिनीत फ़िल्में
धर्मेन्द्र (पंजाबी: ਧਰਮਿੰਦਰ ਸਿੰਘ ਦਿਉਲ जन्म: ८ दिसंबर, १९३५) हिन्दी फ़िल्मों के एक अभिनेता हैं। इनकी पत्नी हेमा मालिनी, पुत्र बॉबी देओल और सनी देओल भी फ़िल्मों में काम करते हैं। धर्मेन्द्र 2004 से 2009 तक भारतीय राज्य राजस्थान के बीकानेर जिले से भारतीय जनता पार्टी के लोकसभा सांसद थे। इन्होंने अपने फ़िल्मी कैरियर की शुरुआत १९६१ में बॉयफ्रैंडनामक फिल्म से की थी। .
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परीक्षत साहनी
परीक्षत साहनी हिन्दी फ़िल्मों के एक अभिनेता हैं। वह विख्यात अभिनेता बलराज साहनी के पुत्र हैं। .
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फरहा
फरहा हिन्दी फिल्मों की एक प्रसिद्ध अभिनेत्री हैं। .
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मुकेश खन्ना
मुकेश खन्ना (अंग्रेजी:Mukesh Khanna) एक भारतीय धारावाहिक तथा फ़िल्म अभिनेता है जिनका जन्म 19 जून, 1958 को मुम्बई, महाराष्ट्र में हुआ था। इन्होंने कई हिन्दी धारावाहिकों तथा फ़िल्मों में अभिनय किया है। इन्होंने अपने फ़िल्मी कैरियर की शुरुआत 1981 में बनी रूही फ़िल्म से की थी तथा इन्होंने अपनी छवि महाभारत धारावाहिक जो 1988 में दूरदर्शन पर चलता था उस धारावाहिक में इन्होंने भीष्म का अभिनय किया था तथा शक्तिमान धारावाहिक में शक्तिमान तथा गंगाधर का किरदार निभाया था से बनाई थी और इन्हीं टेलीविज़न धारावाहिकों से ये प्रसिद्ध हुए। .
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के॰ सी॰ बोकाड़िया
के सी बोकाड़िया हिन्दी फ़िल्मों के एक निर्देशक हैं। .
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अमरीश पुरी
अमरीश पुरी (जन्म:२२ जून १९३२ -मृत्यु:१२ जनवरी २००५) चरित्र अभिनेता मदन पुरी के छोटे भाई अमरीश पुरी हिन्दी फिल्मों की दुनिया का एक प्रमुख स्तंभ रहे हैं। अभिनेता के रूप निशांत, मंथन और भूमिका जैसी फ़िल्मों से अपनी पहचान बनाने वाले श्री पुरी ने बाद में खलनायक के रूप में काफी प्रसिद्धी पायी। उन्होंने १९८४ मे बनी स्टीवेन स्पीलबर्ग की फ़िल्म "इंडियाना जोन्स एंड द टेम्पल ऑफ़ डूम" (अंग्रेज़ी- Indiana Jones and the Temple of Doom) में मोलाराम की भूमिका निभाई जो काफ़ी चर्चित रही। इस भूमिका का ऐसा असर हुआ कि उन्होंने हमेशा अपना सिर मुँडा कर रहने का फ़ैसला किया। इस कारण खलनायक की भूमिका भी उन्हें काफ़ी मिली। व्यवसायिक फिल्मों में प्रमुखता से काम करने के बावज़ूद समांतर या अलग हट कर बनने वाली फ़िल्मों के प्रति उनका प्रेम बना रहा और वे इस तरह की फ़िल्मों से भी जुड़े रहे। फिर आया खलनायक की भूमिकाओं से हटकर चरित्र अभिनेता की भूमिकाओं वाले अमरीश पुरी का दौर। और इस दौर में भी उन्होंने अपनी अभिनय कला का जादू कम नहीं होने दिया .