भारत रत्न और विश्वेश्वरय्या प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय
शॉर्टकट: मतभेद, समानता, समानता गुणांक, संदर्भ।
भारत रत्न और विश्वेश्वरय्या प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के बीच अंतर
भारत रत्न vs. विश्वेश्वरय्या प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय
भारत रत्न भारत का सर्वोच्च नागरिक सम्मान है। यह सम्मान राष्ट्रीय सेवा के लिए दिया जाता है। इन सेवाओं में कला, साहित्य, विज्ञान, सार्वजनिक सेवा और खेल शामिल है। इस सम्मान की स्थापना 2 जनवरी 1954 में भारत के तत्कालीन राष्ट्रपति श्री राजेंद्र प्रसाद द्वारा की गई थी। अन्य अलंकरणों के समान इस सम्मान को भी नाम के साथ पदवी के रूप में प्रयुक्त नहीं किया जा सकता। प्रारम्भ में इस सम्मान को मरणोपरांत देने का प्रावधान नहीं था, यह प्रावधान 1955 में बाद में जोड़ा गया। तत्पश्चात् 13 व्यक्तियों को यह सम्मान मरणोपरांत प्रदान किया गया। सुभाष चन्द्र बोस को घोषित सम्मान वापस लिए जाने के उपरान्त मरणोपरान्त सम्मान पाने वालों की संख्या 12 मानी जा सकती है। एक वर्ष में अधिकतम तीन व्यक्तियों को ही भारत रत्न दिया जा सकता है। उल्लेखनीय योगदान के लिए भारत सरकार द्वारा दिए जाने वाले सम्मानों में भारत रत्न के पश्चात् क्रमशः पद्म विभूषण, पद्म भूषण और पद्मश्री हैं। . विश्वेश्वरय्या प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (वीटीयू) कर्नाटक राज्य में स्थित एक विश्वविद्यालय है। यह कर्नाटक सरकार द्वारा 1 अप्रैल 1998 को वीटीयू अधिनियम 1994 के अनुसार, राज्य में तकनीकी शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार करने के लिए स्थापित किया गया था। वीटीयू के पास कुछ अपवादो को छो़ड़ कर्नाटक राज्य का पूरा अधिकार है। कर्नाटक राज्य में इंजीनियरिंग या प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में शिक्षा प्रादान करने वाले हर कॉलेज को वीटीयू के तहत होना अनीवार्य है।http://vtu.ac.in/pdf/academic/publicnotice.pdf इस विश्वविद्यालय का नाम मोक्षगुंडम विश्वेश्वरय्या के नाम पर रखा गया है। वे एकलौते इंजीनियर है जिन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया गया है। ज्ञान संगम, बेलगाम वीटीयू का मुख्यालय है। साथ ही विश्वविद्यालय का तीन क्षेत्रीय केंद्र बंगलौर, गुलबर्ग और मैसूर में स्थित है। ६७१०० पूर्वस्नातक और १२६६६ स्नातक शिक्षको का सेवन करने की क्षमता रखते हुए यह भारत में सबसे बड़े विश्वविद्यालयों में से एक है। २०८ कॉलेज इसके तहत है। यह विश्वविद्यालय ३० पूर्वस्नातक और १७ स्नातक पाठ्यक्रम प्रादान करता है। विश्वविद्यालय में लगभग 1800 पीएचडी के उम्मीदवार है। वर्तमान में, वीटीयू के पास १३ क्यूआईपी केंद्र और 17 विस्तार केन्द्र है। यह भारत के उन चंद विश्वविद्यालयों में से है जिसके तहत १६ कॉलेजो को विश्व बैंक के टीईक्यूआईपी (टेक्निकल एड़यूकेषन कॉलिटी इम्प्रूवमेंट प्रोग्राम, भारत सरकार की पहल) कार्यक्रम के तहत कला प्रयोगशालाओं, परिसर में सुविधाओं और अनुसंधान केंद्रों को स्थापित करने में सहायता प्राप्त करने के लिए चुना गया है। विश्वविद्यालय मे न्याय-प्रशासन के लिए सदस्य शैक्षिक समुदाय और सरकारी अधिकारियों मे से चुने जते है। विश्वविद्यालय के वर्तमान चांसलर श्री एच् हंसराज भारद्वाज हैं। इस विश्वविद्यालय ने कई बहुराष्ट्रीय निगमो, जैसे, आईबीएम, इंटेल एशिया इलेक्ट्रॉनिक्स इंक, इंगरसोल रैंड (इंडिया) लिमिटेड, बंगलौर, नोकिया, बॉश रेक्सरोत और माइक्रोसॉफ्ट, के साथ सम्बन्ध बनाए है जिस्से छात्रों और शिक्षकों दोनों के उद्योग बातचीत में सुधार होगा। वीटीयू असोसिएशन ऑफ इंडियन यूनीवर्सिटी और असोसिएशन ऑफ कॉमनवेल्थ यूनीवर्सिटी का सदस्य है। .
भारत रत्न और विश्वेश्वरय्या प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के बीच समानता
भारत रत्न और विश्वेश्वरय्या प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय आम में एक बात है (यूनियनपीडिया में): मोक्षगुंडम विश्वेश्वरय्या।
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संदर्भ
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