नील जिह्वा रोग और बकरी
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नील जिह्वा रोग और बकरी के बीच अंतर
नील जिह्वा रोग vs. बकरी
नील जिह्वा रोग या ब्लू टंग (Bluetongue disease या catarrhal fever) मुख्यतः भेड़ को होने वाला रोग है। कभी-कभी यह बकरी, भैंस, एवं अन्य चौपायों को भी हो जाता है। यह कीटों के माध्यम से फैलने वाला रोग है जो ब्लूटंग विषाणु (BTV) के कारण होता है। यह छूत से नहीं फैलता। . बकरी और उसके बच्चे बकरी एक पालतू पशु है, जिसे दूध तथा मांस के लिये पाला जाता है। इसके अतिरिक्त इससे रेशा, चर्म, खाद एवं बाल प्राप्त होता है। विश्व में बकरियाँ पालतू व जंगली रूप में पाई जाती हैं और अनुमान है कि विश्वभर की पालतू बकरियाँ दक्षिणपश्चिमी एशिया व पूर्वी यूरोप की जंगली बकरी की एक वंशज उपजाति है। मानवों ने वरणात्मक प्रजनन से बकरियों को स्थान और प्रयोग के अनुसार अलग-अलग नस्लों में बना दिया गया है और आज दुनिया में लगभग ३०० नस्लें पाई जाती हैं। संयुक्त राष्ट्र खाद्य एवं कृषि संगठन के अनुसार सन् २०११ में दुनिया-भर में ९२.४ करोड़ से अधिक बकरियाँ थीं। .
नील जिह्वा रोग और बकरी के बीच समानता
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संदर्भ
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