लोगो
यूनियनपीडिया
संचार
Google Play पर पाएं
नई! अपने एंड्रॉयड डिवाइस पर डाउनलोड यूनियनपीडिया!
मुक्त
ब्राउज़र की तुलना में तेजी से पहुँच!
 

द्रविड़ स्थापत्य शैली और मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर

शॉर्टकट: मतभेद, समानता, समानता गुणांक, संदर्भ

द्रविड़ स्थापत्य शैली और मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर के बीच अंतर

द्रविड़ स्थापत्य शैली vs. मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर

'''द्रविड़ शैली''' दक्षिण भारतीय हिन्दू स्थापत्य कला की तीन में से एक शैली है। यह शैली दक्षिण भारत में विकसित होने के कारण द्रविड़ शैली कहलाती है। तमिलनाडु व निकटवर्ती क्षेत्रों के अधिकांश मंदिर इसी श्रेणी के होते हैं। . मीनाक्षी सुन्दरेश्वरर मन्दिर या मीनाक्षी अम्मां मन्दिर या केवल मीनाक्षी मन्दिर (மீனாக்ஷி அம்மன் கோவில்) भारत के तमिल नाडु राज्य के मदुरई नगर, में स्थित एक ऐतिहासिक मन्दिर है। यह हिन्दू देवता शिव (“‘सुन्दरेश्वरर”’ या सुन्दर ईश्वर के रूप में) एवं उनकी भार्या देवी पार्वती (मीनाक्षी या मछली के आकार की आंख वाली देवी के रूप में) दोनो को समर्पित है। यह ध्यान योग्य है कि मछली पांड्य राजाओं को राजचिह्न है। यह मन्दिर तमिल भाषा के गृहस्थान 2500 वर्ष पुराने मदुरई नगर, की जीवनरेखा है। हिन्दु पौराणिक कथानुसार भगवान शिव सुन्दरेश्वरर रूप में अपने गणों के साथ पांड्य राजा मलयध्वज की पुत्री राजकुमारी मीनाक्षी से विवाह रचाने मदुरई नगर में आये थे। मीनाक्षी को देवी पार्वती का अवतार माना जाता है। इस मन्दिर को देवी पार्वती के सर्वाधिक पवित्र स्थानों में से एक माना जाता है। अन्य स्थानों में कांचीपुरम का कामाक्षी मन्दिर, तिरुवनैकवल का अकिलन्देश्वरी मन्दिर एवं वाराणसी का विशालाक्षी मन्दिर प्रमुख हैं। इस मन्दिर का स्थापत्य एवं वास्तु आश्चर्यचकित कर देने वाला है, जिस कारण यह आधुनिक विश्व के सात आश्चर्यों की सूची में प्रथम स्थान पर स्थित है, एवं इसका कारण इसका विस्मयकारक स्थापत्य ही है। इस इमारत समूह में 12 भव्य गोपुरम हैं, जो अतीव विस्तृत रूप से शिल्पित हैं। इन पर बडी़ महीनता एवं कुशलतापूर्वक रंग एवं चित्रकारी की गई है, जो देखते ही बनती है। यह मन्दिर तमिल लोगों का एक अति महत्वपूर्ण द्योतक है, एवं इसका वर्णन तमिल साहित्य में पुरातन काल से ही होता रहा है। हालांकि वर्तमान निर्माण आरम्भिक सत्रहवीं शताब्दी का बताया जाता है। .

द्रविड़ स्थापत्य शैली और मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर के बीच समानता

द्रविड़ स्थापत्य शैली और मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर आम में 2 बातें हैं (यूनियनपीडिया में): द्रविड़ स्थापत्य शैली, गोपुरम

द्रविड़ स्थापत्य शैली

'''द्रविड़ शैली''' दक्षिण भारतीय हिन्दू स्थापत्य कला की तीन में से एक शैली है। यह शैली दक्षिण भारत में विकसित होने के कारण द्रविड़ शैली कहलाती है। तमिलनाडु व निकटवर्ती क्षेत्रों के अधिकांश मंदिर इसी श्रेणी के होते हैं। .

द्रविड़ स्थापत्य शैली और द्रविड़ स्थापत्य शैली · द्रविड़ स्थापत्य शैली और मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर · और देखें »

गोपुरम

मदुरई में एक गोपुरम गोपुरम या गोपुर (जिसे विमानम भी कहते हैं) एक स्मारकीय अट्टालिका होती है, प्रायः शिल्प से सज्जित, एवं अधिकतर दक्षिण भारत के मन्दिरों के द्वार पर स्थित होता है। यह हिन्दु मन्दिरों के स्थापत्य का प्रमुख अंग है। ्यह ऊपर किरीट कलश से शोभायमान होता है। यह मन्दिरों की चारदीवारी में बने द्वार का काम देते हैं। गोपुरमों का इतिहार आरम्भिक पल्लव वंश के निर्माणों एवं बारहवीं शताब्दी के पांड्य शासकओं द्वारा बनवाए गए प्रधान अंगों में जाता है। इनसे मन्दिर के अंदरूनी भाग ढंक जाते हैं, क्योंकि ये प्रायः मुख्य मन्दिर से काफ़ी बडे़ होते हैं। It also dominated the inner sanctum in amount of ornamentation.

गोपुरम और द्रविड़ स्थापत्य शैली · गोपुरम और मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर · और देखें »

सूची के ऊपर निम्न सवालों के जवाब

द्रविड़ स्थापत्य शैली और मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर के बीच तुलना

द्रविड़ स्थापत्य शैली 8 संबंध है और मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर 27 है। वे आम 2 में है, समानता सूचकांक 5.71% है = 2 / (8 + 27)।

संदर्भ

यह लेख द्रविड़ स्थापत्य शैली और मीनाक्षी सुन्दरेश्वर मन्दिर के बीच संबंध को दर्शाता है। जानकारी निकाला गया था, जिसमें से एक लेख का उपयोग करने के लिए, कृपया देखें:

अरे! अब हम फेसबुक पर हैं! »